Hindi Newsउत्तराखंड न्यूज़Dengue graph increased in plains if these symptoms are seen then get health test done life will saved

मैदानों में बढ़ा डेंगू का ग्राफ, दिखे यह लक्षण तो कराएं स्वास्थ्य परीक्षण-बच जाएगी जान

  • सीएमओ डॉ. मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि जिले में अब तक डेंगू के 6 केस आ चुके हैं। इनमें से 5 स्वस्थ होकर अपने घर लौट चुके हैं और अभी तक डेंगू का एक ही केस एक्टिव है।

Himanshu Kumar Lall लाइव हिन्दुस्तानSat, 2 Nov 2024 06:11 PM
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उत्तराखंड के मैदानी शहरों में डेंगू का ग्राफ बढ़ता जा रहा है। तराई में धीरे-धीरे डेंगू के केसों में इजाफा हो रहा है। डेंगू केसों ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की चिंता का विषय बना हुआ है। बीते दिनों 26 सिंतबर को ही बाजपुर निवासी एक महिला डेंगू पॉजिटिव आई है।

इसका सुशीला तिवारी अस्पताल में उपचार चल रहा है। सीएमओ डॉ. मनोज कुमार शर्मा ने बताया कि जिले में अब तक डेंगू के 6 केस आ चुके हैं। इनमें से 5 स्वस्थ होकर अपने घर लौट चुके हैं और अभी तक डेंगू का एक ही केस एक्टिव है।

इसका हल्द्वानी सुशीला तिवारी अस्पाताल में उपचार चल रहा है। उन्होंने बताया कि डेंगू का सीजन अगस्त माह से शुरू होता है, जोकि नवबंर माह के आखिर तक पहुंचने तक चरम सीमा में रहता है।

ऐसे में लोगों को इस महीने में खुद से भी सावधानी बरतने की जरूरत है, नहीं तो यह लोगों के लिए खतरनाक साबित हो सकता है। उन्होंने बताया कि स्वास्थ्य विभाग जनपद में अभियान चलाकर लोगों को डेंगू के प्रति लगातार जागरूक किया जा रहा है।

उन्होंने बताया कि जनपद में 1346 आशाओं के साथ रुद्रपुर में 4 काशीपुर 3 और खटीमा में 3 वॉलंटियर मिलकर अपने-अपने क्षेत्र में सोर्स रिडक्शन के कार्य में जुटे हैं। साथ ही लोगों को डेंगू की रोकथाम और इससे बचाव को लेकर जागरूक भी कर रहे हैं।

शरीर में ऐसे लक्षण मिलने पर तुरंत डॉक्टर को दिखाएं

-अचानक तेज बुखार का होना।

-सिर में जोर का दर्द होना।

-आंखों में जलन के साथ पिछले हिस्से में दर्द।

-शरीर के जोड़ों में दर्द।

-भूख न लगना, जी मिचलाना व उल्टी आना।

मरीज खुद से न करें अपना इलाज

जिला अस्पताल के वरिष्ठ फिजिशियन, डॉ.मनोज कुमार तिवारी ने बताया ज्यादातर मरीज हालत ज्यादा बिगड़ने के बाद ही उपचार के लिए आते हैं। यह वह लोग होते हैं, जो कई दिनों तक खुद ही डॉक्टर बनकर अपनी समझ के अनुसार दवा की दुकानों से एंटीबायोटिक्स लेते रहते हैं। एंटी बायोटिक्स से बुखार ठीक तो हो जाता, लेकिन वायरस पर यह असर नहीं करती। वायरल फीवर के लक्षण सामने आते ही अच्छे मेडीसिन विशेषज्ञ से इलाज करवाकर इसे गंभीर रूप धारण करने से रोका जा सकता है।

रुड़की में डेंगू के खिलाफ जागरूकता

रुड़की में डेंगू बीमारी के खिलाफ शनिवार को जागरूकता अभियान चलाया गया। जिला मलेरिया अधिकारी गुरनाम सिंह ने बताया कि एक हजार घरों में डोर टू डोर जागरूकता अभियान चलाया गया। अभियान के दौरान सभी को डेंगू के प्रति जागरूक किया गया। उन्होंने बताया कि अभीतक रुड़की नगर निगम क्षेत्र में डेंगू के चार मरीज मिले हैं। बताया कि ये अभियान आगे भी जारी रहेगा।

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