खीरी जिले को शारदा नदी की बाढ़ से बचाने व उसकी डीसिल्टिंग कराने के लिए जल शक्ति मंत्रालय के केंद्रीय जल व विद्युत अनुसंधानशाला पुणे की टीम पलिया पहुंच गई। इसी क्रम में बुधवार को संस्था के संयुक्त आयुक्त ने शारदा के दोनों तटों का निरीक्षण किया।
राप्ती व रोहिन नदी उफान पर हैं। 29 गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है। गोरखपुर शहर से सटे एक दर्जन से अधिक गांवों में भी बाढ़ का पानी घुसा। पशुओं के साथ बाढ़ प्रभावित लोग बांध पर शरण ले रहे हैं।
बारिश के कारण यूपी की नदियां उफान पर हैं। नेपाल से छोड़े जा रहे पानी के कारण नदियों का जलस्तर तेजी से बढ़ा है। रविवार को कन्नौज में बारिश के बीच कच्चा मकान ढहने से दो, सुलतानपुर में दीवार गिरने से एक और ऊंचाहार, सोनभद्र, गाजीपुर में आकाशीय बिजली एक-एक व्यक्ति की मौत हो गई है।
यूपी में हो रही लगातार भारी बारिश से राप्ती, घाघरा और सरयू नदियों का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, जिससे कई जिलों में बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए हैं। अगर नेपाल से पानी छोड़ा गया तो हालात गंभीर हो सकत हैं।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने बारिश से उत्पत्न बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों को लेकर अधिकारियों के साथ मीटिंग की। इस दौरान उन्होंने प्रभावित लोगों को हर संभव सहायता मुहैया कराने का निर्देश दिया।
यूपी में बादल छाए रहने और बारिश का सिलसिला रविवार को भी चलेगा। तापमान भी कम रहेगा। 30 सितंबर के बाद आसमान साफ हो सकता है। इसके बाद तापमान में फिर बढ़ोत्तरी हो सकती है।
शनिवार की सुबह कसया थाना क्षेत्र में कुड़वा दिलीपनगर के सोनरा नदी पर बने पुल के एप्रोच का काफी हिस्सा बारिश में बह गया। उधर, बाल्मीकि गडंक बैराज से फिर 3 लाख 21 हजार क्यूसेक पानी छोडा गया है। नारायणी नदी खतरे के लाल निशान 96 मी. से सिर्फ 8 सेमी नीचे रह गई है।
यूपी में बुधवार शाम को मौसम ने करवट ली है। बादल छाए और ठंडी हवाएं चलीं। मौसम विभाग के अनुमान के मुताबिक अगले चार दिनों तक हल्की बारिश हो सकती है। तापमान में हल्की गिरावट भी दर्ज की जएगी।
यूपी में गंगा के साथ पांडु नदी भी उफान पर है। गंगा अभी भी चेतावनी बिंदु से ऊपर बह रही हैं, पिछले 24 घंटे में 23 सेंटीमीटर जलस्तर और बढ़ गया है। कानपुर बैराज पर इतना दबाव बढ़ चुका है कि गुरुवार को यहां से इस सीजन का सबसे अधिक 3,89,177 क्यूसेक पानी छोड़ा गया।
यूपी के बलिया में सरयू नदी तबाही मच रही है। नदी की लहरों के दबाव के कारण बुधवार की मध्य रात्रि के बाद करीब दो बजे एनएच 31 का एक हिस्सा बैरिया से माझी के बीच चांददियर के पास टूट गया। माझी के रास्ते यूपी का बिहार से संपर्क कट गया।
यूपी में बुधवार को दिन में शुरू हुई बारिश देर रात तक रही। हालांकि, आज बारिश से राहत मिलेगी। सुबह को हल्की बारिश के बाद अब दोपहर में मौसम खुलने के आसार हैं। दोपहर तक मौसम पूरी तरह से साफ होने की उम्मीद है। बारिश के कारण अचानक 8 डिग्री पारा गिर गया।
प्रयागराज में राहत की उम्मीद लगाए गंगा किनारे रहने वालों की मुश्किलें और बढ़ सकती हैं। गंगा का जलस्तर ढाई मिमी प्रति घंटा की गति से घट रहा है। नैनी में यमुना दोपहर से रात तक स्थिर रहीं। गंगा के धीमी गति से घटने और यमुना के स्थिर होने से एकबार फिर जलस्तर बढ़ने की संभावना जताई जा रही है।
बरेली के मीरगंज में दो जोड़ा नदी करनपुर में लगातार कटान कर रही है। नदी अब आबादी के नजदीक पहुंच गई है। जमीन को काटते हुए लोगों के घरों तक नदी का पानी पहुंचने लगा है।
एक दर्जन मछुआरे उफनाई गंगा की लहरों में फंस गए। जोरदार बारिश और तूफानी हवा के बीच गंगा के तेज बहाव में चार छोटी नावें बहती हुईं बबूल के पेड़ व पंपिंग सेट हाउस से टकरा गईं। लगभग छह घंटे तक मछुआरों की जान अटकी रही।
प्रयागराज में गंगा-यमुना का बढ़ा जलस्तर कम हो रहा है। बाढ़ की चपेट में आए हजारों परिवारों को तुरंत राहत मिलने की संभावना कम है। गंगा-यमुना का जलस्तर धीमी गति से कम हो रहा है। बैराजों से गंगा में डिस्चार्ज भी बढ़ाया जा रहा है।
अखिलेश यादव ने कहा कि जनता बेहाल है और सरकार अपने कार्यों में मस्त है। प्रदेश के दर्जनों जिलों के सैकड़ों गांव बाढ़ और भारी बरसात से प्रभावित हैं तथा जनजीवन तबाह है।
मुरादाबाद में रामगंगा और कोसी के कहर से 50 से ज्यादा गांवों में दुश्वारियां बरकरार हैं। कोसी का जल स्तर घटने से कुछ राहत यह मिली की बरेली मुरादाबाद राष्ट्रीय राजमार्ग से पानी उतर गया। गांवों के पहुंच वाले रास्ते डूबे हुए हैं।
इस सीजन में वाराणसी में पहली बार गंगा का जलस्तर चेतावनी बिंदु के पार पहुंचा है। सोमवार की सुबह यह चेतावनी बिंदु (70.262 मीटर) के पार होकर खतरे के निशान (71.262 मीटर ) के पास 70.72 मीटर पर पहुंच चुका था। रविवार को चार सेमी प्रतिघंटे की रफ्तार थी।
यूपी में बारिश का कहर कुछ कम हुआ है। रविवार को पश्चिमी उत्तर प्रदेश को छोड़कर ज्यादातर जिलों में बारिश नहीं हुई। कहीं-कहीं बूंदाबांदी हुई। बारिश तो थम गई पर राज्य के कई हिस्सों में बाढ़ कहर बनकर टूट पड़ी है।
उरई से पुलिस की अलग छवि पेश करने वाली तस्वीरें सामने आई हैं। यहां बाढ़ से घिरे एक गांव में अचानक एक बुजुर्ग की तबीयत खराब हो गई तो उन्हें बचाने के लिए UP पुलिस तुरंत एक्टिव हो गई। पुलिस सूचना मिलते ही नाव से गांव में पहुंची।
गंगा के जलस्तर में बढ़ोतरी से तटवर्ती इलाकों के लोग बाढ़ की आशंका से भयभीत हैं। हालांकि शनिवार दिन में बढ़ाव की दर 10 सेंमी थी, जो रात 8 बजे तक आठ सेमी प्रतिघंटा हो गई। नदी का जलस्तर 69.50 मीटर पर था। यह खतरा निशान से 1.762 मीटर नीचे है।
प्रयागराज में गंगा-यमुना का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है। शुक्रवार रात बड़े हनुमान मंदिर परिसर में गंगा जल का प्रवेश हो गया। लगातार हो रही बढ़ोतरी के कारण कछारी इलाकों में खलबली मच गई है। छोटा बघाड़ा के कछारी मकानों में लोग समान समेटने लगे हैं।
फिरोजाबाद में एक परिवार में मौत के बाद श्मशानघाट में जलभराव ने लोगों के कदम रोक लिए। इसी बीच जलभराव में युवा पहुंच गए और शव के साथ साथ अंत्येष्टि का सामान पहुंचवाया तब शव दाह संस्कार की प्रक्रिया पूरी हो पाई।
UP Floods: यूपी और राजस्थान के बॉर्डर पर बह रही पार्वती नदी का जलस्तर बढ़ रहा है। वहीं चंबल और उटंगन नदी भी उपान पर हैं। ऐसे में यूपी के कई इलाकों में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। यहां तक की हाईवे भी जलमग्न हो गए और वाहन तैर रहे हैं।
यूपी में बारिश से अब मौसम में बदलाव हो रहा है। ब्रज में बुधवार को घंटों हुई बारिश में हर जिला हलकान रहा। इस दौरान जिलों में 20 से 50 मिमी तक बारिश रिकॉर्ड की गई। आगरा में बारिश के रेड अलर्ट के चलते गुरुवार को सभी बोर्डे 12वीं तक के स्कूलों की छुट्टी घोषित कर दी गई है।
भारी बारिश और डैम से पानी छोड़ जाने के कारण यूपी में फर्रुखाबाद से वाराणसी तक गंगा में भारी उफान देखने को मिल रहा है। वाराणसी में 24 घंटे में पानी डेढ़ मीटर तक चढ़ गया है।
प्रयागराज में यमुना का जलस्तर एकबार फिर तेजी से बढ़ रहा है। बुधवार रात आठ बजे नैनी में यमुना का जलस्तर ढाई सेमी प्रति घंटा बढ़ रहा है। संगम के पास गंगा भी तेजी से बढ़ रही हैं। छतनाग में वृद्धि देख गंगा के फिर बड़े हनुमान मंदिर के करीब पहुंचने की संभावना है।
एशिया के विशालतम जलाशयों में से एक रिहंद बांध में तेजी से बढ़े जलस्तर के कारण आठ साल बाद सात गेट खोल दिए गए हैं। इसके दबाव से ओबरा बांध के भी पांच फाटक खोलने पड़े। सोन नदी में पानी गिराया जा रहा है।
सरयू और राप्ती के पानी से ग्रामीणों की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। बाढ़ से घिरे गांव के लोगों को कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। 21 गांव बाढ़ से घिरे हुए हैं।
हरिद्वार से गंगा में दो लाख क्यूसेक पानी छोड़ने के कारण पश्चिम यूपी के कुछ इलाकों में बाढ़ की आशंका बढ़ गई है। गंगा का जल बुलंदशहर के लाल महादेव घाट से 30 फीट नगर में घुस गया है। खादर क्षेत्र की फसलें जलमग्न होने से ग्रामीणों की चिंता बढ़ गई है।