PhD : दो साल पहले यूजीसी नेट पास को भी पीएचडी में दाखिला, जेआरएफ वालों को ज्यादा फायदा
प्रो. राजेंद्र सिंह (रज्जू भय्या) राज्य विश्वविद्यालय (पीआरएसयू) ने पीएचडी दाखिला प्रक्रिया में अहम बदलाव किया। जेआरएफ उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को वेटेज में सर्वाधिक फायदा मिलेगा।

प्रो. राजेंद्र सिंह (रज्जू भय्या) राज्य विश्वविद्यालय (पीआरएसयू) एवं संबद्ध कॉलेजों में दो साल पहले विश्वविद्यालय अनुदान आयोग राष्ट्रीय योग्यता परीक्षा (यूजीसी नेट) उत्तीर्ण अभ्यर्थी भी पीएचडी में दाखिला ले सकेंगे। इससे पहले इसी साल के नेट पास अभ्यर्थियों के लिए दाखिले का विकल्प दिया गया था। पीएचडी में दाखिले के ऑनलाइन आवेदन की अंतिम तिथि 31 मई है।
कुलपति प्रो. अखिलेश कुमार सिंह ने बताया कि इस बार पीएचडी में दाखिला नेट स्कोर के आधार पर होगा, जिसमें 70 प्रतिशत वेटेज नेट स्कोर का होगा और 30 प्रतिशत इंटरव्यू का। इसी की मेरिट पर पीएचडी में विद्यार्थियों को दाखिला मिलेगा।
जेआरएफ (जूनियर रिसर्च फेलोशिप) उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को वेटेज में सर्वाधिक फायदा मिलेगा। नेट उत्तीर्ण उम्मीदवार तीन श्रेणियों के लिए योग्य होते हैं। जिन उम्मीदवारों का नेट पर्सेंटाइल अधिक होगा, वे श्रेणी-1 में होंगे। ये जेआरएफ, सहायक प्रोफेसर के साथ पीएचडी दाखिले व फेलोशिप के लिए भी योग्य होंगे। इन्हें पीएचडी में दाखिले के लिए इंटरव्यू देना होगा, श्रेणी-2 में मध्यम पर्सेंटाइल वाले सहायक प्रोफेसर और पीएचडी दाखिले के लिए योग्य माने जाएंगे। सबसे कम पर्सेंटाइल वाले उम्मीदवार श्रेणी-3 में होंगे। ये सिर्फ पीएचडी दाखिले के लिए योग्य होंगे। पीएचडी में दाखिले के लिए तीनों श्रेणी के अभ्यर्थियों को इंटरव्यू देना होगा।
इन तीनों श्रेणियों के अभ्यर्थियों के नेट पर्सेंटाइल को 70 फीसदी वेटेज में बदला दिया जाएगा। वहीं, 30 फीसदी वेटेज का इंटरव्यू विश्वविद्यालय स्वयं आयोजित करेगा। खास बात यह है कि श्रेणी-1 (जेआरएफ) अभ्यर्थी के नेट पर्सेंटाइल का वेटेज ज्यादा होगा, इसलिए उन्हें दाखिले में फायदा अधिक होगा।
पीएचडी के लिए 24 विषयों में अवसर
पीएचडी प्रवेश के लिए 24 विषयों में आवेदन मांगे गए हैं, जिनमें पुरातत्व एवं प्राचीन इतिहास, हिंदी, संस्कृत, समाजशास्त्र, राजनीतिक विज्ञान, दर्शनशास्त्र, भूगोल, रसायन, गणित, भौतिकी, वनस्पति विज्ञान, जीवविज्ञान, वाणिज्य, कृषि विस्तार, मृदा विज्ञान, कृषि अर्थशास्त्र, सामाजिक कार्य आदि प्रमुख विषय शामिल हैं।