पैरों तले देंगे रौंद... अब क्यों गुर्रा रहा ईरान, नए साल पर खामेनेई की अमेरिका को खुली चेतावनी
खामेनेई ने यह चेतावनी ऐसे वक्त में दी है, जब अमेरिका में सत्ता परिवर्तन होने वाला है। डोनाल्ड ट्रंप 20 जनवरी को राष्ट्रपति पद की शपथ लेने वाले हैं। माना जा रहा है कि ट्रम्प के शपथ ग्रहण के बाद ईरान-अमेरिका संबंधों में और गिरावट आ सकती है।
ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने ताजा घटनाक्रम में अमेरिका को खुली चेतावनी दी है और कहा है कि सीरिया में उसके सैन्य अड्डों को पैरों तले रौंद दिया जाएगा। खामेनेई ने सोमवार को एक शहीद कमांडर के सम्मान में आयोजित समारोह में भाषण देते हुए ये बातें कहीं। बाद में सोशल मीडिया एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट में उन्होंने सीरिया में अमेरिकी सैन्य ठिकानों के बारे में खुली चेतावनी जारी की।
एक्स पर खामेनेई ने लिखा, "आज, अमेरिका लगातार सीरिया में ठिकाने बना रहा है। इन ठिकानों को निस्संदेह सीरियाई युवाओं के पैरों तले रौंद दिया जाएगा।" खामेनेई ने अमेरिका को यह धमकी भरा संदेश अमेरिकी सैनिकों द्वारा पूर्व रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कुद्स फोर्स कमांडर कासिम सुलेमानी की मौत की पांचवीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित एक समारोह में दिया।
खामेनेई ने यह चेतावनी ऐसे वक्त में दी है, जब अमेरिका में सत्ता परिवर्तन होने वाला है। डोनाल्ड ट्रंप 20 जनवरी को राष्ट्रपति पद की शपथ लेने वाले हैं। माना जा रहा है कि ट्रम्प के शपथ ग्रहण के बाद ईरान-अमेरिका संबंधों में और गिरावट आ सकती है। हालांकि, दोनों देशों के बीच लंबे समय से तनातनी की रिश्ते रहे हैं। ट्रंप के पहले कार्यकाल में भी दोनों देशों के बीच संबंध तनावपूर्ण थे।
एक्स पर श्रृंखलाबद्ध कई पोस्टों में खामेनेई ने सीरिया में अमेरिका की मौजूदगी की आलोचना की है। अमेरिका ने विद्रोहियों द्वारा दिसंबर की शुरुआत में सीरियाई राष्ट्रपति बशर अल-असद और उनके शासन के खत्म करने के बाद तेजी से अपनी सेना की तैनाती वहां की है। ईरान इंटरनेशनल की एक रिपोर्ट के अनुसार, खामेनेई ने अमेरिकी ठिकानों को "सीरियाई युवाओं द्वारा रौंदे जाने" का जो उल्लेख किया है, वह उनके उस बयान के बाद आया है जिसमें उन्होंने सीरिया के युवाओं को 11 और 23 दिसंबर को विद्रोहियों के खिलाफ लड़ने और देश पर फिर से कब्जा हासिल करने के लिए प्रोत्साहित किया था।
खामेनेई ने उन देशों पर भी निशाना साधा है, जिन्होंने बदलते हालात में अपनी सेनाएं हटा ली हैं और कहा है कि उन्हें याद रखना चाहिए कि एक दिन इस तरह वे भी सीरिया बन सकते हैं और उनकी देश पर भी विदेशियों का कब्जा हो जाएगा। ईरानी सर्वोच्च नेता ने कहा कि अंतिम जीत सत्य की और सत्य के लिए लड़ने वालों की होती है। ईरान के सरकारी समाचार आउटलेट, इस्लामिक रिपब्लिक न्यूज़ एजेंसी के मुताबिक, खामेनेई ने कहा, "जो लोग आज बेकाबू हो रहे हैं, उन्हें एक दिन ईमान वालों के पैरों तले रौंद दिया जाएगा।"
बता दें कि सीरिया में असद शासन के पतन से पहले ही अमेरिका ने अपना सैन्य विस्तार करना शुरू कर दिया था। दमिश्क में अब अमेरिकी सैनिकों की उपस्थिति दोगुनी होकर 2,000 के करीब हो चुकी है। गौरतलब है कि 2015 में इस्लामिक स्टेट समूह से लड़ने के लिए अमेरिकी सैनिकों ने पहली बार सीरिया में प्रवेश किया था। तब वहां 900 सैनिक तैनात किए गए थे।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।