ऑपरेशन के बहाने महिला की निकाल ली किडनी, 5 साल बाद दोबारा दर्द उठने पर पता चला, 6 डॉक्टरों पर केस दर्ज
बुलंदशहर में महिला ने मेरठ के छह डॉक्टरों पर धोखाधड़ी कर ऑपरेशन के दौरान उसकी किडनी निकालकर बेचने का आरोप लगाया है। कोर्ट के आदेश पर छह डॉक्टरों के खिलाफ मानव अंग तस्करी से संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज हुआ है।
यूपी के बुलंदशहर से एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। जहां बुगरासी कस्बे की रहने वाली महिला ने मेरठ के छह डॉक्टरों पर धोखाधड़ी कर ऑपरेशन के दौरान उसकी किडनी निकालकर बेचने का आरोप लगाया है। कोर्ट के आदेश पर महिला ने छह डॉक्टरों के खिलाफ मानव अंग तस्करी से संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया है।
बुगरासी कस्बा निवासी 43 साल कविता पत्नी जयदेव ने बताया कि बीमार होने पर वह 2017 में मेरठ के एक प्राइवेट अस्पताल में उपचार के लिए गई थी। 20 मई साल 2017 को उसका ऑपरेशन हुआ। 24 मई को छुट्टी दे दी गई। आरोप है कि दवा खाने के बावजूद तबीयत ठीक नहीं हुई। 25 मई 2022 को फिर से जांच कराई, तो उसमें एक किडनी नहीं पाई गई। 28 अक्टूबर 2022 को उसने अन्य डॉक्टर को दिखाया और अल्ट्रासाउंड कराया तो जांच में उसकी बाईं किडनी गायब मिली। पीड़िता ने कई अधिकारियों से शिकायत की लेकिन सुनवाई नहीं हुई। अंततः कोर्ट की शरण ली। महिला की शिकायत पर छह डॉक्टरों और अन्य कर्मचारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया।
पीड़िता कविता का आरोप है कि 2022 में जब वह किडनी निकाले जाने की शिकायत लेकर अस्पताल पहुंची, तो उससे अभद्रता की गई। दस्तावेज छीन लिए और धमकी दी गई। आरोप यह भी है कि जब पीड़िता ने कोर्ट की शरण ली तो आरोपियों ने उसके घर पर आदमी भेजकर शिकायत वापस न लेने पर जान से मारने की भी धमकी दी। नरसेना थाना प्रभारी चंदगीराम सिंह ने बताया कि बुलंदशहर एसीजेएम तृतीय के आदेश पर छह डॉक्टरों सहित अन्य कर्मचारियों के खिलाफ मानव अंग प्रत्यारोपण संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।
हाईकोर्ट में करेंगे अपील
उधर, अस्पताल प्रबंधक का कहना है कि पूरा मामला झूठे तथ्यों पर आधारित है। उपभोक्ता फोरम में भी ये मामला विचाराधीन है। वह कोर्ट के फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील करेंगे।