Delhi Government to Implement Real-Time Monitoring of Yamuna Water Quality दिल्ली में यमुना के प्रदूषण की रियल टाइम निगरानी होगी, Delhi Hindi News - Hindustan
Hindi NewsNcr NewsDelhi NewsDelhi Government to Implement Real-Time Monitoring of Yamuna Water Quality

दिल्ली में यमुना के प्रदूषण की रियल टाइम निगरानी होगी

दिल्ली सरकार यमुना और उसके नालों के पानी की गुणवत्ता की रियल टाइम निगरानी के लिए 32 जल निगरानी केंद्र स्थापित करने जा रही है। यह प्रणाली प्रदूषण की पहचान और पानी की सफाई के प्रयासों की निगरानी में मदद...

Newswrap हिन्दुस्तान, नई दिल्लीSat, 17 May 2025 07:39 PM
share Share
Follow Us on
दिल्ली में यमुना के प्रदूषण की रियल टाइम निगरानी होगी

नई दिल्ली, प्रमुख संवाददाता। दिल्ली सरकार अब हवा की तरह यमुना और उसमें गिरने वाले नालों के पानी की गुणवत्ता की रियल टाइम निगरानी करेगी। सरकार पहली बार इसके लिए यमुना और उसके नालों पर कुल 32 जल निगरानी केंद्र (वॉटर मॉनिटरिंग स्टेशन) स्थापित करने जा रही है। इन केंद्रों को स्थापित करने के लिए कंपनी के चयन की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। जल निगरानी केंद्र के तहत इन स्थानों पर उपकरण लगाए जाएंगे। सबकुछ ठीक रहा तो इस साल के अंत तक यह काम पूरा हो जाएगा। इसे लगाने में करीब 22 करोड़ रुपये की लागत आएगी। बता दें कि अभी तक यमुना के जल की गुणवत्ता जांच करने के लिए उसका अलग-अलग स्थानों से सैंपल उठाया जाता था।

हर माह एक बार अलग-अलग आठ स्थानों से सैंपल उठाकर जांच की जाती है। एनजीटी के आदेश के बाद सरकार ने इस दिशा में काम शुरू कर दिया है। दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) इस पूरी योजना की निगरानी करेगी। सरकार का कहना है कि यह प्रणाली न केवल प्रदूषण की वास्तविक समय में पहचान में मदद करेगी, बल्कि पानी को साफ करने के प्रयासों की निगरानी में भी अहम भूमिका निभाएगी। यहां लगाए जाएंगे इस परियोजना के तहत यमुना नदी के छह स्थानों पल्ला, आईएसबीटी पुल, आईटीओ पुल, निजामुद्दीन पुल, ओखला बैराज और असगरपुर के पास उपकरण लगाए जाएंगे। आठ केंद्र यमुना के यूपी और हरियाणा वाले हिस्से जैसे डीडी-6, सिंघु बॉर्डर, बहादुरगढ़, यूपी का नाला जो शाहदरा में मिलता है और हिंडन कट वाली जगह पर बनेंगे। वहीं, 18 जल निगरानी केंद्र यमुना में गिरने वाले छोटे बड़े नालों के साथ स्थापित होंगे, जिसमें नजफगढ़, बारापुला, खैबरपास, मेटकॉफ हाउस, शाहदरा ड्रेन भी शामिल है। यह फायदा होगा यमुना और उससे जुड़े नालों पर स्थापित होने वाले जल निगरानी केंद्र पर बीओडी (बॉयोलॉजिकल ऑक्सीजन डिमांड) स्तर, सीओडी (केमिकल ऑक्सीजन डिमांड) का स्तर, डीओ (डिजाल्व ऑक्सीजन) का स्तर, अमोनिया, नाइट्रोजन, फास्फेट जैसे मानकों की निगरानी होगी। अधिकारियों का कहना है कि इसका फायदा यह होगा कि पानी की गुणवत्ता का रियल टाइम तो पता चलेगा ही। साथ ही यह भी जान सकेंगे कि यमुना की सफाई के लिए जो योजनाएं चलाई जा रही हैं उसका क्या लाभ हो रहा है।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।