शिक्षकों के वेतन के बाद जिलों के अफसर-कर्मियों को मिलेगा
राज्य के शिक्षा विभाग ने निर्णय लिया है कि सभी कोटि के शिक्षकों के वेतन भुगतान के बाद ही जिलास्तर के शिक्षा पदाधिकारियों और कर्मियों को वेतन मिलेगा। यह निर्णय शिक्षकों के वेतन में देरी के कारण लिया...

राज्य में सभी कोटि के शिक्षकों के वेतन भुगतान के बाद ही जिलास्तर के शिक्षा पदाधिकारियों और कर्मियों को वेतन मिलेगा। शिक्षकों को वेतन भुगतान में देरी के कारण कारण शिक्षा विभाग ने यह सख्त निर्णय लिया है। इस मामले को लेकर शिक्षा विभाग के निदेशक प्रशासन सुबोध कुमार चौधरी ने गुरुवार को सभी जिला शिक्षा पदाधिकारियों को पत्र भेजा है। शिक्षा विभाग ने निर्देश दिया कि आवंटन उपलब्ध रहने पर जिले में नियुक्त सभी कोटि के शिक्षकों और शिक्षकेतर कर्मियों का वेतन भुगतान ससमय कराएं। शिक्षकों के वेतन भुगतान के बाद ही जिला स्तरीय पदाधिकारियों और संलग्न कार्यालयों में कार्यरत कर्मियों (चतुर्थवर्गीय कर्मियों को छोड़ कर) का वेतन भुगतान किया जाए।
यह भी कहा है कि यदि आवंटन नहीं हो तो शीघ्र ही मुख्यालय की इसकी सूचना दें। निदेशक प्रशासन ने डीईओ से कहा है कि ऐसी सूचनाएं मिल रही हैं कि कई जिलों में आवंटन के बाद भी शिक्षकों का वेतन भुगतान नहीं किया जाता है, जिससे उनके (शिक्षक) परिवार पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। ससमय वेतन नहीं मिलने के कारण शिक्षक सीधे मुख्यालय में संपर्क कर रहे हैं। सभी कोटि के शिक्षकों का ससमय वेतन भुगतान कराना विभाग की प्राथमिकता है और इसकी जवाबदेही पूर्णरूप से जिला शिक्षा पदाधिकारी की है। यदि किसी शिक्षक का तकनीकी कारण प्रान, एचआरएमएस, आधार आदि से वेतन भुगतान नहीं हो रहा है, तो जिला शिक्षा पदाधिकारी मुख्यालय संपर्क कर वेतन भुगतान कराने के लिए जिम्मेदार हैं। किसी भी शिक्षक को वेतन से संबंधित समस्या के लिए मुख्यालय पदाधिकारी से संपर्क करने या मुख्यालय आने की आवश्यकता नहीं है।
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