छह लेन वाला गोरखपुर-सिलीगुड़ी एक्सप्रेस-वे, बिहार के इन 8 जिलों से होकर गुजरेगी सड़क; जमीन अधिग्रहण शुरू
गोरखपुर-सिलीगुड़ी एक्सप्रेस-वे से न केवल बिहार में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई बढ़ेगी बल्कि इससे परिवहन व्यवस्था अधिक सशक्त और प्रभावी होगी। इस परियोजना की कुल लागत 37,645 करोड़ निन्र्धायरित की गई है, जिसमें बिहार के हिस्से की लागत 27,552 करोड़ अनुमानित है।

गोरखपुर-सिलीगुड़ी एक्सप्रेस-वे के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। इस छह लेन सड़क के लिए 100 मीटर की चौड़ाई में जमीन अधिग्रहण होगा। जल्द ही इसका टेंडर कर दिया जाएगा। सरकार की कोशिश है कि विधानसभा चुनाव के पहले इस एक्सप्रेस-वे का शिलान्यास कराकर निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाए। उत्तर बिहार के लिए यह परियोजना काफी उपयोगी साबित होने वाली है। अधिकारियों से मिली जानकारी के अनुसार पिछले दिनों केंद्र सरकार ने गोरखपुर -सिलीगुड़ी 6 लेन ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे परियोजना को स्वीकृति प्रदान की थी।
इसके बाद इस एक्सप्रेस-वे के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। जल्द ही इसके लिए काला (भू-अर्जन के लिए सक्षम प्राधिकार) गठित किया जाएगा। इसके बाद जमीन अधिग्रहण के लिए अधिसूचना जारी की जाएगी। इस एक्सप्रेस-वे की कुल लंबाई 568 किलोमीटर है। इसमें से बिहार में यह 417 किलोमीटर होगा। राज्य सरकार इस एक्सप्रेस-वे को बिहार के परिवहन नेटवर्क को आधुनिक बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका मानकर चल रहा है।
इससे न केवल बिहार में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई बढ़ेगी बल्कि इससे परिवहन व्यवस्था अधिक सशक्त और प्रभावी होगी। इस परियोजना की कुल लागत 37,645 करोड़ निर्धारित की गई है, जिसमें बिहार के हिस्से की लागत 27,552 करोड़ अनुमानित है।
बिहार के आठ जिलों से होकर गुजरेगा एक्सप्रेस-वे
यह ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे बिहार के आठ जिले पश्चिम चंपारण, पूर्वी चंपारण, शिवहर, सीतामढ़ी, मधुबनी, सुपौल, अररिया और किशनगंज से होकर गुजरेगी। राज्य के 39 प्रखंडों और 313 गांवों से होकर गुजरने वाली इस सड़क के बन जाने से आसपास के क्षेत्रों में रहने वाले नागरिकों को सीधा लाभ मिलेगा। साथ ही, उत्तर बिहार में आर्थिक विकास के नए अवसर पैदा होंगे।