तीर्थंकर महावीर यूनिवर्सिटी के सीसीएसआईटी में अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी पर आउटरीच प्रशिक्षण का समापन हुआ। इसरो के स्टार्ट-इसरो कार्यक्रम में 325 विद्यार्थियों को ऑनलाइन प्रशिक्षित किया गया।...
महर्षि पतंजलि विद्या मंदिर के पूर्व छात्रों ग्रुप कैप्टन अंगद प्रताप सिंह और कर्नल अभिषेक सिंह ने छात्र-छात्राओं के साथ संवाद किया। अंगद प्रताप इसरो के मानव रहित अंतरिक्ष उड़ान मिशन के लिए चुने गए...
चंद्रयान-3 की सफलता और विक्रम लैंडर के इस नये प्रयोग ने इसरो को एक नई दिशा में अग्रसर किया है। भविष्य में चांद से पृथ्वी लौटने वाले मिशनों के लिए यह तकनीकी कदम महत्वपूर्ण साबित हो सकता है।
इसरो के पूर्व प्रमुख डॉ. श्रीधर पणिक्कर सोमनाथ ने महाकुम्भ में संगम स्नान किया। उन्होंने बिना किसी प्रोटोकाल के संगम पहुंचे और अपने जूनियर के साथ पैदल गए। स्नान के बाद वे प्रयागराज से वाराणसी गए।
सीएमपी डिग्री कॉलेज में विशेष व्याख्यान में डॉ. एस. सोमनाथ ने इसरो के अंतरिक्ष कार्यक्रम की यात्रा और चंद्रयान-1, 2, 3 जैसे ऐतिहासिक मिशनों पर चर्चा की। उन्होंने गगनयान और अन्य भविष्य के मिशनों की...
नासा और इसरो बहुत जल्द एक खास सैटेलाइट इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन में भेजेंगे। इस सैटेलाइट को नाम दिया गया है निसार। व्हाइट हाउस में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात के बाद पीएम मोदी ने इस बारे में ऐलान किया।
इसरो ने बयान जारी करके कहा, 'ठोस प्रोपेलेंट भारतीय अंतरिक्ष परिवहन प्रणालियों में अहम भूमिका निभाता है और वर्टिकल मिक्सर ठोस मोटर उत्पादन में महत्वपूर्ण उपकरणों में से एक है।'
पीएम मोदी ने कहा, 'मैंने राष्ट्रपति पुतिन की मौजूदगी में मीडिया के सामने कहा था कि यह युद्ध का समय नहीं है। युद्ध के मैदान में समस्याओं के समाधान नहीं निकलते हैं वो टैबल पर चर्चा करके ही निकलता है।'
भारत ने पिछले महीने ऐतिहासिक स्पैडेक्स मिशन से अमेरिका, रूस और चीन की बराबरी कर ली। भारत ने अपना पहला अंतरिक्ष डॉकिंग मिशन सफलतापूर्वक पूरा किया। हाल ही में मिशन से जुड़ी कुछ खबरों पर इसरो ने अब चुप्पी तोड़ी है।
यह जानकारी ऐसे समय सामने आई है जब भारत चंद्रयान-4 मिशन की तैयारी में है। साल 2027 में चंद्रयान-4 लॉन्च होगा, जिसका उद्देश्य चंद्रमा की सतह से चट्टानों के नमूने एकत्र कर पृथ्वी पर लाना है।