BPSC Bihar Teacher Exam : बिहार 1.70 लाख शिक्षक भर्ती परीक्षा गुरुवार से शुरू हो गई। पहले ही दिन अभ्यर्थियों की भारी भीड़ के चलते सारी व्यवस्था चरमरा गई। होटल पहले ही मुंहमांगे दामों पर हाउसफुल हो गए थे। मजबूरन परीक्षार्थियों को स्टेशन के प्लेटफॉर्म और बस अड्डों की जमीन पर रात गुजारनी पड़ी। ट्रेनें और बसें खचाखच भरीं नजर आईं। बीपीएससी द्वारा आयोजित की जा रही शिक्षक भर्ती परीक्षा शुक्रवार और शनिवार को भी चलेगी।
बीपीएससी शिक्षक भर्ती परीक्षा देने आए करीब परीक्षार्थियों की भीड़ से बुधवार की रात मुजफ्फरपुर जंक्शन पट गया। प्लेटफॉर्म एक से लेकर चार-पांच तक परीक्षार्थियों को जहां जगह मिली वहीं चादर बिछाकर सो गए। यूटीएस काउंटर हॉल और फुट ओवरब्रिज पर भी लोगों ने रात बिताई। इसकी मुख्य वजह यह थी कि शहर के सभी होटल, विवाह भवन, बैंक्वेट हॉल पहले से ही बुक हो रखे हैं। ऐसे में जिन्हें कहीं जगह नहीं मिली, उन्होंने जंक्शन पर रात बिताना बेहतर समझा।
पटना से आने वाली जयनगर इंटरसिटी एक्सप्रेस, नरकटियागंज इंटरसिटी और हाजीपुर से आने वाली अन्य ट्रेनों में भर-भरकर परीक्षार्थी आए। जिन लोगों को रूट का पता नहीं था, वैसे दरभंगा, मधुबनी के परीक्षार्थी भी मुजफ्फरपुर जंक्शन उतर गए थे और इंक्वायरी काउंटर और महिला हेल्पलाइन पर मधुबनी, दरभंगा आदि जाने का रूट पूछते दिखे। हेल्पलाइन में उन्हें बताया गया कि वे समस्तीपुर जाकर वहां से दरभंगा और मधुबनी जा सकते हैं।
परीक्षार्थी एक दिन पहले ही बुधवार को संबंधित जिले के स्टेशन पर पहुंच गए थे। ठहरने की व्यवस्था न होने के चलते रात में सेंटर के आसपास सो गए।
समस्तीपुर में शिक्षक भर्ती परीक्षा में ताजपुर रोड स्थित एक परीक्षा केंद्र पर पहली पाली में परिक्षर्थियों को अपना बैग व मोबाइल रखने में मुसीबत उठानी पड़ी। परीक्षा केंद्र पर बैग व मोबाइल रखने की व्यवस्था नहीं होने का हवाला देकर बाहर ही सामान रखने को कहा जा रहा था। वही स्कूल के समीप के दुकानदार सामान रखने का मुहमांगा पैसा मांग रहे थे।
बीपीएससी द्वारा आयोजित अध्यापक भर्ती प्रतियोगिता परीक्षा का जिला नियंत्रण कक्ष में अपर सचिव शिक्षा विभाग के साथ बैठकर जिलाधिकारी यसपाल मीणा केंद्रीयकृत सीसीटीवी कैमरा प्रणाली के माध्यम जिले के सभी परीक्षा केन्द्रों का जायजा लिया जा रहा है।
हर एक केन्द्रों पर सघन जांच के बाद परीक्षार्थियों को अंदर जाने की अनुमति मिली। केन्द्रों के मुख्य द्वार पर दंडाधिकारी के साथ बड़ी संख्या में पुलिस बल मौजूद थे। परीक्षा केन्द्रों के आस-पास दण्ड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू होने के कारण भीड़ जमा होने की इजाजत नहीं थी। नौ बजे के बाद न तो किसी अभ्यर्थी को परीक्षा हॉल में प्रवेश की अनुमति मिली और न ही प्रतिबंधित सामग्रियों को ले जाने की इजाजत थी।
परीक्षा हॉल के अंदर मोबाइल, कैलकुलेटर, ब्लूटूथ, वाईफाई गैजेट, इलेक्ट्रॉनिक पेन पेजर, रिस्ट वॉच आदि जैसे इलेक्ट्रॉनिक सामग्री और व्हाइटनर, इरेजर, ब्लेड जैसी चीजें ले जाने की अनुमति नहीं थी।