'पाकिस्तान से हमदर्दी' बर्दाश्त नहीं, पहलगाम हमले के बाद तीन राज्यों में 11 गिरफ्तारी; विधायक भी नपे
पहलगाम अटैक में 26 लोगों की मौत हो गई थी। इस हमले को लेकर समर्थन या सहानुभूति प्रकट करने वालों के खिलाफ विभिन्न राज्यों की पुलिस सख्त कार्रवाई कर रही है।

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को लेकर सोशल मीडिया पर की गई टिप्पणियों के चलते असम, मेघालय और त्रिपुरा में अब तक 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने शुक्रवार को जानकारी दी कि राज्य में अब तक आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें एक विपक्षी विधायक भी शामिल हैं।
मुख्यमंत्री सरमा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट करते हुए लिखा, "असम ऐसे किसी भी व्यक्ति को बर्दाश्त नहीं करेगा जो प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से पाकिस्तान का समर्थन करता है या इस जघन्य आतंकी हमले को सही ठहराने की कोशिश करता है।" गिरफ्तार किए गए लोगों में ऑल इंडिया यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) के विधायक अमीनुल इस्लाम भी शामिल हैं, जिन पर राजद्रोह का आरोप लगाया गया है। इसके अलावा, सिलचर के असम विश्वविद्यालय के एक छात्र को भी भड़काऊ सामग्री पोस्ट करने के लिए गिरफ्तार किया गया।
असम में अब तक गिरफ्तार किए गए लोग
- हैलाकांडी: मोहम्मद जबीर हुसैन (पत्रकार)
- सिलचर: मोहम्मद ए.के. बहाउद्दीन (कंप्यूटर साइंस छात्र, असम यूनिवर्सिटी), मोहम्मद जावेद मजूमदार (वकील)
- मोरीगांव: मोहम्मद महाहर मिया उर्फ मोहम्मद मुजिहिरुल इस्लाम
- नगांव: मोहम्मद अमिनुल इस्लाम (AIUDF विधायक)
- शिवसागर: मोहम्मद साहिल अली
इसके अलावा असम पुलिस ने दो और गिरफ्तारियां की हैं –
- मो. जरीफ अली (25 वर्षीय)
- अनिल बानिया (सत्रा मुक्ति संग्राम परिषद के जिला सचिव और छात्र नेता)
उधर, मेघालय में 30 वर्षीय साइमन शायला को गुरुवार को ईस्ट खासी हिल्स जिले से गिरफ्तार किया गया। पुलिस के मुताबिक, उसने एक न्यूज चैनल के वीडियो पर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। उस पर आपराधिक साजिश, धार्मिक विद्वेष फैलाने और राष्ट्रीय अखंडता को खतरे में डालने जैसे आरोप लगे हैं।
त्रिपुरा के धलाई जिले में दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें एक रिटायर शिक्षक शामिल हैं। पुलिस ने बताया कि अम्बासा थाने में भारतीय न्याय संहिता (BNS) की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हाल ही में हुए आतंकी हमले में 26 लोगों की मौत हो गई थी। इस हमले की सोशल मीडिया पर टिप्पणियों के जरिए "समर्थन या सहानुभूति" प्रकट करने वालों के खिलाफ विभिन्न राज्यों की पुलिस सख्त कार्रवाई कर रही है। इस मामले में अन्य गिरफ्तारियों की भी संभावना जताई जा रही है।