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उनको जवाब नहीं देता, जो बेवकूफों की तरह बोलते हैं; दिग्विजय सिंह पर क्यों भड़के देवेंद्र फडणवीस

2010 में दिग्विजय सिंह ने कहा था कि पूर्व ATS प्रमुख हेमंत करकरे ने मुंबई हमले से पहले उन्हें टेलीफोन पर बताया था कि मालेगांव बम विस्फोट मामले से निपटने के उनके तरीके को लेकर उन्हें दक्षिणपंथी समूहों से खतरा है।

Pramod Praveen एएनआई, मुंबईFri, 11 April 2025 08:23 PM
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उनको जवाब नहीं देता, जो बेवकूफों की तरह बोलते हैं; दिग्विजय सिंह पर क्यों भड़के देवेंद्र फडणवीस

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह पर हमला बोलते हुए कहा कि मैं उन लोगों को जवाब नहीं देता, जो बेवकूफों की तरह बोलते हैं। मुख्यमंत्री ने 26/11 मुंबई हमले के संबंध में 2010 में की गई दिग्विजय सिंह की विवादास्पद टिप्पणी को लेकर उनपर निशाना साधा है। उन्होंने कहा, “सबसे पहले, मैं उन लोगों को जवाब नहीं देता जो बेवकूफों की तरह बोलते हैं। जब कसाब को फांसी दी गई और उसके बाद, जब डेविड हेडली का बयान हमारी न्यायपालिका में दर्ज किया गया, तो यह पूरी तरह से स्पष्ट हो गया कि यह पूरी साजिश पाकिस्तान में रची गई थी।” उन्होंने कहा, "जो लोग अन्य साजिश सिद्धांतों (26/11 में आरएसएस की भागीदारी के बारे में) का प्रचार करते हैं, मैं उन्हें जवाब नहीं देना चाहता। अब मुख्य साजिशकर्ता हमारी हिरासत में है और अब और भी चीजें सामने आएंगी।"

दरअसल, 2010 में दिग्विजय सिंह ने कहा था कि पूर्व एटीएस प्रमुख हेमंत करकरे ने मुंबई आतंकवादी हमले से पहले उन्हें टेलीफोन पर बताया था कि मालेगांव बम विस्फोट मामले से निपटने के उनके तरीके को लेकर उन्हें दक्षिणपंथी समूहों से खतरा है। सिंह ने कहा था कि करकरे को आरएसएस नेताओं ने निशाना बनाया और उनकी मौत के लिए आरएसएस को जिम्मेदार ठहराया। पूर्व एटीएस प्रमुख हेमंत करकरे मुंबई में 2008 के भयानक आतंकवादी हमलों के बाद कार्रवाई में मारे गए थे।

NIA ने की राणा से पूछताछ

इस बीच, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने 26/11 मुंबई हमले के आरोपी और अमेरिका से प्रत्यर्पित करारप लाए गए तहव्वुर राणा को 18 दिनों की रिमांड पर लेकर पूछताछ कर रही है। जांचकर्ताओं को संदेह है कि भारत भर के कई शहरों के लिए इसी तरह की आतंकी साजिश रची गई थी। साजिश के पूरे दायरे को एक साथ जोड़ने के लिए, अधिकारी राणा को विभिन्न स्थानों पर ले जा सकते हैं, और 17 साल पहले की घटनाओं को फिर से रिक्रिएट कर सकते हैं।

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सूत्रों के अनुसार, NIA 26/11 मुंबई आतंकी हमलों की अपनी जांच का विस्तार कर रही है, जिसमें तहव्वुर राणा को भारत भर में विभिन्न स्थानों पर ले जाने की योजना है। अमेरिका द्वारा भारत को प्रत्यर्पित किए जाने के बाद राणा कल दिल्ली पहुंचा था। देर रात NIA कोर्ट ने उसे 18 दिनों की एनआईए रिमांड पर भेज दिया था।

26/11 मुंबई हमले का मंजर क्या था?

26 नवंबर, 2008 को, लश्कर-ए-तालिबा के 10 आतंकवादियों ने मुंबई के दक्षिणी हिस्से में नागरिकों को निशाना बनाया, जिसमें छत्रपति शिवाजी रेलवे स्टेशन, दो अस्पताल और एक थिएटर शामिल थे। आतंकवादियों ने तीन स्थानों- नरीमन हाउस और लक्जरी होटल ओबेरॉय ट्राइडेंट और ताज महल पैलेस एंड टॉवर पर लोगों को बंधक भी बनाकर रखा था। मुंबई में दो दिनों तक आतंक का बोलबाला रहा और 28 नवंबर को भारतीय सुरक्षा बलों ने नौ आतंकवादियों को ढेर कर और एक अजमल कसाब को जिंदा गिरफ्तार करके स्थिति पर नियंत्रण पाया था।

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