Old Bridge Over Koel River Faces Traffic Jam Issues in Medininagar बोले पलामू :नया पुल अधूरी उम्मीद, पुराना बना मुसीबत, Palamu Hindi News - Hindustan
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बोले पलामू :नया पुल अधूरी उम्मीद, पुराना बना मुसीबत

मेदिनीनगर के कोयल नदी पर बने पुराने पुल पर वाहनों की संख्या बढ़ने से जाम लगना आम हो गया है। पुल पर 3000 से अधिक वाहन प्रतिदिन गुजरते हैं, जिससे लोगों को कई घंटों तक जाम में फंसना पड़ता है। प्रशासन ने...

Newswrap हिन्दुस्तान, पलामूSat, 17 May 2025 06:01 PM
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बोले पलामू :नया पुल अधूरी उम्मीद, पुराना बना मुसीबत

नगर निगम क्षेत्र के दो हिस्से को जोड़ने वाला कोयल नदी का पुराना पुल वाहनों की संख्या बढ़ने से अब हांफने लगा है। प्रत्येक दिन पुल पर जाम लगना आम बात हो गई है। पुल पर भारी मालवाहक वाहनों का आवागमन अत्यधिक बढ़ जाने से जाम की समस्या उत्पन्न हो रही है। कोयल नदी पर नए पुल के निर्माण की प्रक्रिया शुरू हो गई है लेकिन प्रशासनिक स्वीकृति के कारण काम शुरू नहीं हो पाया है। हिन्दुस्तान अखबार के बोले पलामू मुहिम के दौरान अपनी पीड़ा को साझा किया और शीघ्र निदान निकालने की मांग की। मेदिनीनगर । पलामू प्रमंडल मुख्यालय सिटी मेदिनीनगर से चैनपुर और रामगढ़ अंचल को जोड़ने के लिए करीब 40 साल पूर्व उत्तर कोयल नदी पर बनाया गया पुल वर्तमान में भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।

अबतक इसका विकल्प खड़ा नहीं हो पाया है। यही कारण है कि चैनपुर और रामगढ़ अंचल ही नहीं, गढ़वा जिले और गढ़वा होकर उत्तरप्रदेश और छत्तीसगढ़ की ओर से आने वाली बड़ी गाड़ियों का आवागमन भी पूरणचंद सेतु से होकर ही रांची से पटना की ओर हो पाता है। मेदिनीनगर कोर सिटी के नावाटोली और चैनपुर अंचल के शाहपुर मोहल्ले के बीच स्थित कोयल नदी पुल का एक हिस्सा 2017 के पूर्वार्द्ध तक ग्रामीण क्षेत्र का अंग था परंतु मेदिनीनगर नगर निकाय को नगर निगम में अपग्रेड करने के बाद यह पुल पूरी तरह शहरी क्षेत्र में आ गया है। पुल के दूसरी तरफ भी मेदिनीनगर नगर निगम का पांच वार्ड की आबादी निवास करती है। इस पुल से प्रतिदिन 3000 से अधिक छोटे-बड़े वाहन गुजरते हैं। इसके कारण पुल पर दिन के नौ बजे से दो बजे तक और रात नौ बजे से 11 बजे तक हमेशा जाम की स्थिति बनी रहती है। आम लोगों को कई घंटों तक जाम खुलने का इंतेजार करना पड़ता है। इस पुल से होकर कई स्कूल बसें भी गुजरती है। जाम के कारण बस में बैठे बच्चों की हालात काफी खराब हो जाती है। बच्चों को भी जाम के कारण कई घंटों तक बस में ही बैठना मजबूरी हो जाती है। बोले पलामू की चर्चा में भाग लेने वाले लोगों ने कहा कि आबादी बढ़ने के साथ वाहनों की संख्या में भी वृद्धि हो गई है। परंतु पुल व सड़क काफी पुराना है। इनकी स्थिति में कोई सुधार नहीं किया गया है। ट्रैफिक व्यवस्था हालत भी ठीक नहीं है। बड़े माल वाहक गाड़ियां के लिए नो इंट्री का बोर्ड लगाया गया है, परंतु इस पर अमल नहीं होने के कारण जाम की स्थिति उत्पन्न होती रहती है। देश को आजादी मिलने और लोकतंत्रात्मक गणराज्य की स्थापना होने के बावजूद 31 वर्षो तक तत्कालीन पलामू जिले के आधे हिस्से के लोगों को नाव से कोयल नदी पार कर जिला मुख्यालय आना पड़ता था। बरसात के दिनों में काफी परेशानी होती थी। चैनपुर अंचल के ग्रामीण बरसात में जिला मुख्यालय से कटे रहते थे। ग्रामीणों की परेशानी को देखते हुए एकीकृत बिहार राज्य में तत्कालीन खान मंत्री पूरनचंद ने कोयल नदी पर पुल बनाने की योजना बनाई। इसे 1981 में पूरा किया गया था। तत्कालीन राजनेता भीष्म नारायण सिंह ने 1981 में पुल का उदघाटन किया था। तब से आज तक इस पुल से ही लोगों का आवागमन हो रहा है। बोले पलामू की चर्चा में भाग लेते हुए लोगों ने बताया कि जिस प्रकार क्षेत्र का विस्तारित कारण किया जा रहा है, उसी प्रकार कोयल नदी पर दूसरा पुल का निर्माण की आवश्यकता है। जब तक कोई दूसरा पुल का निर्माण नहीं हो जाता तब तक स्थिति भयावह बनी रहेगी। लोगों ने बताया कि सबसे अधिक परेशानी बीमार व्यक्ति को लेकर जाने में होती है। कोयल को जाम रहने से दो से तीन घंटा तक जाम में फंसे रहते हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि सुबह आठ बजे तक दोपहर 12 बजे तक एवं शाम छह बजे से लेकर आठ बजे तक प्रतिदिन जाम का सामना करना पड़ता है। इस बीच सड़क किनारे व्यवसाय के लिए लगाये गए दुकान भी काफी प्रभावित हो जाता है। स्थानीय लोगों ने मांग की कि जल्द से जल्द पुल एवं सड़क का निर्माण कराया जाए, ताकि प्रतिदिन होने वाले जाम से छुटकारा मिल सके। इस संबंध में चैनपुर के लोगों ने अधिकारियों को ज्ञापन देते हुए कोयल पुल एवं सड़क निर्माण को लेकर चैनपुर भट्ठी चौक पर सड़क जाम करते हुए प्रदर्शन भी किया था परंतु हालत में कोई सुधार नहीं हुई। कोयल पुल जाम रहने से लोगों की बढ़ी परेशानी मेदिनीनगर का कोयल पुल प्राय: जाम होने से लोगों की काफी परेशानी बढ़ गई है। लोगों को जाम हटने के लिए कई घंटों तक इंतेजार करना पड़ता है, तब जाकर लोग अपने गंतव्य की ओर जा पाते हैं। कोयल पुल के पास ट्रैफिक व्यवस्था है,परंतु वह पर्याप्त नहीं है। कोयल पुल पर अगर कोई वाहन खराब हो जाता है तो तब लोगों की मुश्किलें और भी बढ़ जाती है। लोगों का कहना है कि जो व्यवस्था है, उसमें ट्रैफिक की स्थिति में सुधार कर दिया जाए तो लोगों को प्रतिदिन जाम के सामना नहीं करना पड़ेगा। नो इंट्री के नियमों का सख्ती से हो पालन लोगों का कहना है कि नो इंट्री होने के बाद भी देखा जाता है कि पुल से बड़े वाहन का आवागमन होते रहता है। नो इंट्री सिर्फ शो पीस बनकर रह गया है। सुबह आठ बजे से शाम सात बजे तक बड़े और माल वाहकों के लिए नो इंट्री है। परंतु ऐसा नहीं हो पा रहा है। दिन भर बड़े और मालवाहन के आवागमन के कारण जाम लग जाता है। इसे सख्ती से लागू किया जाए तो लोगों को जाम से थोड़ी राहत मिल सकती है। स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन से नो इंट्री को सख्ती से लागू कराने की मांग की है। छोटे-बड़े वाहन चलाने वाले ड्राईविंग लाईसेंस की नियमित जांच करने की जरूरत है। ताकि नाबालिक और बिना लाईसेंस के लोग वाहन नहीं चला सकें। ट्रैफिक नियमों की जानकारी नहीं रहने के कारण कुछ लोग जैसे-तैसे वाहन चलाकर पुल को जाम कर देते हैं। जिससे ट्रैफिक पुलिस को जाम हटाने में काफी मशक्कत करनी पड़ती है। व्यवस्था दुरुस्त करने की मांग आवागमन के लिए कोयल नदी दोनों छोर पर ट्रैफिक व्यवस्था दुरूस्त करने की जरूरत हैं,ताकि बेहतरकीब तरीके से टेंपों चालक और अन्य वाहनों को नियंत्रित किया जा सके। स्थानीय लोगों ने बताया कि कुछ दिन पूर्व यातायात प्रभारी द्वारा टैंपू स्टैंड कोयल पुल के निकट लगाने को लेकर सख्ती बरती गई थी तो कुछ हद तक जाम से कुछ राहत मिली थी। परंतु व्यवस्था पुराने तरीके से पुन: चलने के कारण लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। पुल बनाने के लिए डीपीआर तैयार पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों का कहना है कि नया कोयल नदी पुल बनाने की प्रक्रिया के लिए डीपीआर बनाकर तैयार है परंतु यहां जो अधिकारी स्वीकृत करेंगे वह पद फिलहाल रिक्त है। अधिकारी के पद स्थापना के बाद कार्य हो सकेगा। स्थल जांच आदि की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। अधिकारी के पोस्टिंग के बाद तकनीकी स्वीकृति इसके बाद प्रशासनिक स्वीकृति मिलने पर काम शुरू किया जाएगा। अधिकारियों ने कहा कि योध सिंह नामधारी महिला कॉलेज से शाहपुर विवेकानंद चौक, पूरनचंद चौक, चैनपुर थाना भट्ठी मोड, नेउरा होते हुए नावाडीह तक के लिए डीपीआर तैयार कर लिया गया है। स्वीकृति के बाद काम शुरू किया जाएगा। समस्याएं 1. कोयल पुल अक्सर जाम से लोगों की परेशानी काफी बढ़ी हुई है। रात में भी आम लोगों को काफी परेशानी हो रही है। 2. कोयल नदी पुल पर जमे मिट्टी, बालू आदि की सफाई भी नहीं कराई जाती है। स्ट्रीट लाइट की भी समुचित व्यवस्था नहीं है। 3. कोयल पुल पर बढ़ते ट्रैफिक दबाव को कम करने की दिशा में नया पुल का निर्माण अबतक शुरू नहीं किया गया है। हर साल समस्या और बढ़ रही है। 4. नो इंट्री का सख्ती से अनुपालन नहीं होने के कारण दिन में भी मालवाहन ट्रक, हाईवा आदि पुल से पार करने लगते हैं। सुझाव 1. कोयल नदी पुल पर जल्द से जल्द दूसरा पुल बनाने की जरूरत है ताकि जाम से निजात पाया जा सके। 2. सड़क चौड़ीकरण की जरूरत है पुराने समय से बने सड़क पर ही वर्तमान में आवागमन किया जा रहा है। 3. चैनपुर प्रखंड के चेड़ाबार में कोयल नदी पर बने पुल पर पहुंच पथ बनाने की जरूरत है ताकि उसे क्षेत्र के लोग आसानी से आवागमन कर सकें। 4. कोयल नदी पुल पर जाम रहने से परेशानी का सामना करना पड़ता है। जाम रोकने के लिए नया पुल शीघ्र बनाया जाए। इनकी भी सुनिए कचहरी रोड से चैनपुर चौक तक सड़क चौड़ीकरण एवं कोयल नदी पुल पर दूसरा पुल निर्माण की सख्त जरूरत है।शहर का विस्तारित कारण तो किया गया है पर पुरानी पद्धति के अनुसार अब तक आवा गमन की व्यवस्था लागू है जल्द से जल्द कोयल नदी पर दूसरा पुल निर्माण और सड़क चौड़ीकरण करने की जरूरत है ताकि जाम से निजात पाया जा सके। -त्रिपुरारी जायसवाल कोयल पुल पर जाम की समस्या का समाधान निकालने के लिए पुलिस काफी गंभीर है। यातायात सामान्य रखने के लिए पुलिस की अतिरिक्त प्रतिनियुक्त की गई है। इससे रोजाना लगनेवाले जाम में कमी आई है। नो इंट्री के दौरान माल वाहक वाहनों को पुल से शहर में प्रवेश पूरी तरह रोकने का निर्देश दिया गया है। नो इंट्री खुलने के दौरान भी सतर्क रखने का निर्देश दिया गया है। -मणि भूषण प्रसाद, एसडीपीओ कोयल नदी पर दूसरे पुल का निर्माण हो परिवार में यदि कोई बीमार पड़ जाते हैं तो उन्हें अस्पताल ले जाने में काफी दिक्कत होती है। उ जल्द से जल्द पर दूसरा पुल निर्माण कराया जाए ताकि जाम से निजात पाया जा सके। -पप्पू जायसवाल जाम रहने के कारण समय से कोई काम नहीं हो पता निर्धारित जगह जाने के लिए आधे घंटा पूर्व घर से निकालना पड़ता है। गर्मी में जाम में फंसने पर लोगों की तबीयत भी खराब हो जाती है। - भोला मंसूरी सुबह एवं शाम कोयल नदी पर हमेशा जाम लगा रहता है जिस कारण काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। लोग निर्धारित जगह पर नहीं पहुंच पाते हैं जिससे उन्हें नुकसान होता है। -मोहम्मद इस्लाम यातायात पुलिस को सभी छोटे एवं बड़े वाहन के नियमित जांच करने की जरूरत है ताकि नाबालिक वाहन ना चला सके। साथ नो इंट्री का भी सख्ती से पालन किया जाए। -रवि रंजन कुमार सुबह-शाम जाम लगने से स्कूली बच्चों को परेशानियों का सामना करना पड़ता है। कभी-कभी दो से तीन घंटे तक स्कूली बच्चे जाम में फंस जाते हैं जिससे अभिभावक काफी परेशान होते हैं। -बकरीद मियां नगर निगम क्षेत्र का विस्तार तो कर दिया गया पर पुरानी पद्धति के अनुसार ही अब तक आवागमन जारी है जब तक सड़क कचौड़ी कारण नहीं किया जाएगा तब तक इसी तरह की समस्या बनी रहेगी। -पंकज शर्मा प्रतिदिन जाम होने के कारण काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। जाम के कारण समय से काम पर नहीं जा पाते जिस कारण हमेशा समस्या का सामना करना पड़ता है। -कमरुद्दीन अंसारी आपातकालीन स्थिति में जाम रहने से काफी परेशानी होती है। सुबह और शाम जाम लगने से लोग समय घर नहीं पहुंच पाते हैं तो परिजनों को चिंता सताने लगती है। -वसीम खान कोयल नदी पुल जाम रहने के कारण घंटों इंतजार करना पड़ता है जिस कारण भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। जल्द कोयल नदी पर दूसरे पुल का निर्माण हो। -गुड्डू पासवान नो एंट्री को सख्ती से लागू करने की जरूरत है ताकि सुबह एवं शाम मालवाहक एवं बड़े वाहन का आवागमन बंद रहे ताकि लोग आसानी से आवागमन कर सके। -विजय सिंह पुल पर अक्सर जाम रहने रहने के कारण व्यवसाय पर काफी असर पड़ता है। सड़क किनारे व्यवसाय करनेवालों को नुकसान होता है। बड़े वाहन के आवागमन से डस्ट उड़ते रहता है जो परेशानी का कारण है। -शंकर साव परीक्षा के दौरान छात्रों को भारी परेशानी के सामना करना पड़ता है जाम के कारण कई बार परिक्षार्थी समय से स्कूल नहीं पहुंच पाए जिस कारण परीक्षा देने से वे वंचित हो जाते हैं। -करेश यादव

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