Challenges at Warislinganj Railway Rack Point Workers and Traders Suffer Due to Lack of Facilities वारिसलीगंज रेलवे रैक प्वाइंट पर सुविधाओं का टोटा, Nawada Hindi News - Hindustan
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वारिसलीगंज रेलवे रैक प्वाइंट पर सुविधाओं का टोटा

वारिसलीगंज रेलवे रैक प्वाइंट पर सुविधाओं की कमी से मजदूरों और व्यापारियों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। चिलचिलाती धूप और बारिश में काम करना बेहद मुश्किल हो गया है। आवश्यक शेड, पेयजल और शौचालय...

Newswrap हिन्दुस्तान, नवादाSat, 17 May 2025 11:50 AM
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वारिसलीगंज रेलवे रैक प्वाइंट पर सुविधाओं का टोटा

वारिसलीगंज, निज संवाददाता दानापुर रेलमंडल अंतर्गत किऊल गया रेल खंड पर स्थित वारिसलीगंज का रेलवे रैक प्वाइंट है। रेल वैगन द्वारा माल ढुलाई से प्रतिवर्ष करोड़ो रुपये का राजस्व का लाभ विभाग को होता है। बावजूद रैक प्वाइंट पर सुविधाओं का टोटा है। केजी रेलखंड के अतिव्यस्त वारिसलीगंज रेलवे रैक प्वाइंट पर शेड नहीं रहने से चिलचिलाती धूप में वहां काम करने वाले मजदूरों संग व्यापारियों को काफी परेशानी उठानी पड़ रही है, जबकि उनका माल भी बर्बाद हो रहा है। यदि मौसम बरसात का हो तब तो प्वाइंट पर रखे सीमेंट आदि में भींगकर खराब हो जाता है। आसमान में बादल देख व्यापारियों का कलेजा दहलता है।

वर्षा होने की स्थिति में उनका माल पानी मे भींगकर खराब हो जाता है। इस वजह से रेलवे को मोटा किराया देने के बाद भी व्यापारियों को नुकसान उठानी पड़ रही है। मजदूर मेट सह नप के बलबापर ग्रामीण मिथिलेश राउत कहते हैं कि नया रेलवे रैक प्वाइंट पर प्रति माह विभिन्न वस्तुओं का करीब 20 से 25 से भी अधिक रैक लगता है। इसको अनलोड करने को ले दो सौ से अधिक मजदूर रैक प्वाइंट पर भीषण गर्मी से लेकर बरसात एवं हाड़ कपा देने वाले ठंड के मौसम में कार्य करते हैं, लेकिन रेलवे प्रशासन द्वारा रैक प्वाइंट पर न तो व्यापारियों के माल की सुरक्षा को ले शेड बनाया गया है और न ही मजदूरों को ले आवश्यक सुविधा पेयजल, शौचालय आदि की व्यवस्था। मजदूरों को कड़ाके की धूप व बरसात से बचने के लिए या तो खड़ी रैक के नीचे पटरी पर या फिर आसपास के पेड़ो के पास सिर छुपाना पड़ता है। जो काफी खतरनाक साबित हो सकता है। ------------------- प्रतिमाह वारिसलीगंज में लगता है 20 से 25 रैक वारिसलीगंज का बना करीब एक किलो से अधिक फुल रैक प्वाइंट विभिन्न राज्यों से अधिकांश सीमेंट का रैक लगता। जबकि अनाज नमक आदि का भी रैक लगते रहता है। दो वर्ष पूर्व नवनिर्मित रैक प्वाइंट को विस्तारित किया गया। किऊल गया रेलखंड का दोहरीकरण कार्य पूरा होने के साथ दोनों पटरियों पर ट्रेनों का आना जाना चालू है। ऐसी स्थिति में ऐसी स्थिति माल ढुलाई कार्य भी तेजी से बढ़ा । पर रैक प्वाइंट पर असुविधाओं के बीच अपनी अपनी जीवकोपार्जन को ले मजदूर हो या फिर व्यापारियों व उनके अधीनस्थ कार्य करने वाले कर्मचारी सभी लोग परेशानी उठाने को मजबूर हैं। जरूरत है जिस प्रकार रैक प्वाइंट का विस्तार किया गया ठीक उसी प्रकार वहां सुविधाएं लोगो को उपलब्ध कराने की। इस बाबत पूछे जाने पर स्टेशन प्रबंधक एके सुमन कहते हैं कि फूल रैक प्वाइंट बनकर चालू हुआ है। रैक शेड, पानी शौचालय आदि की जो वहां कार्य करने वालों को होती है दूर करने की दिशा में विभाग द्वारा कार्य किया जाएगा। जल्द ही मजदूरों एवं वयापारियो की सुविधाएं बहाल होगी।

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