Hindi Newsएनसीआर न्यूज़Relief news for 20000 home buyers and 10 thousand farmers in NCR Jaypee Infratech acquisition plan moved one step further

20,000 घर खरीदार और 10 हजार किसानों के लिए राहत भरी खबर, जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण प्लान एक कदम और आगे बढ़ा

यमुना प्राधिकरण ने जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण करने वाली कंपनी सुरक्षा समूह के कुछ प्रमुख प्रस्तावों पर सहमति जताई है। अब इससे संबंधित प्रस्ताव आगामी कैबिनेट बैठक में रखा जाएगा।

Praveen Sharma ग्रेटर नोएडा। हिन्दुस्तान, Sat, 17 Feb 2024 07:19 AM
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जेपी इंफ्राटेक की विभिन्न परियोजनाओं में फंसे करीब 20 हजार फ्लैट खरीदारों एवं 10 हजार किसानों को जल्द राहत की उम्मीद है। यमुना प्राधिकरण ने जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण करने वाली कंपनी सुरक्षा समूह के कुछ प्रमुख प्रस्तावों पर सहमति जताई है। अब इससे संबंधित प्रस्ताव आगामी कैबिनेट बैठक में रखा जाएगा। कैबिनेट से स्वीकृति मिलने के बाद यह एनसीएलटी में जाएगा।

 यमुना प्राधिकरण ने नोएडा सेक्टर-128 और 132 में समूह की आवासीय परियोजना को पूरा करने के लिए एफएआर बढ़ाने, एक्सप्रेसवे पर टोल शुल्क वसूली की अवधि 15 वर्ष बढ़ाने, ग्राम समाज की भूमि पर अतिरिक्त मुआवजा राशि की वसूली न करने के प्रस्ताव पर सहमति जताई है। नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) ने जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण कर रही कंपनी सुरक्षा समूह के पक्ष में फैसला देते हुए यमुना प्राधिकरण के कई दावों को अस्वीकार कर दिया था।

इस पर प्राधिकरण ने एनसीएलएटी में चुनौती दी थी। इसमें मुख्य दावा जेपी इंफ्राटेक से प्रभावित किसानों को 64.7 फीसदी अतिरिक्त मुआवजा के लिए 1689 करोड़ राशि को लेकर था। यमुना प्राधिकरण ने इसके खिलाफ अपील की थी। अब यमुना प्राधिकरण और सुरक्षा समूह के अधिकारियों के बीच कई बिंदुओं पर सहमति बनी है।

इसके अंतर्गत सुरक्षा समूह ने यमुना एक्सप्रेसवे पर जेपी इंफ्राटेक को टोल शुल्क वसूलने की अनुबंध अवधि 36 साल से 15 साल अतिरिक्त बढ़ाने, जेपी इंफ्राटेक को आवंटित की गई किसान की भूमि के अतिरिक्त ग्राम समाज की भूमि पर अतिरिक्त मुआवजा राशि माफ करने, प्रतिवर्ष टोल शुल्क में बदलाव करने आदि की मांग सुरक्षा समूह की ओर से रखी गई थी।

20 हजार फ्लैट खरीदार फंसे

प्राधिकरण सूत्रों के मुताबिक, जेपी समूह की आवासीय परियोजना में 20 हजार फ्लैट खरीदार फंसे हैं। परियोजना अधूरी होने के कारण बॉयर्स पिछले कई सालों से अपने घर का इंतजार कर रहे हैं। वहीं, यमुना एक्सप्रेसवे और लैंड पार्सल (एलएफडी) के लिए हुई जमीन अधिग्रहण से प्रभावित गौतमबुद्ध नगर, बुलंदशहर, अलीगढ़, हाथरस, मथुरा व आगरा के दस हजार किसान परिवार को 64.7 प्रतिशत अतिरिक्त मुआवजा राशि मिलने की आस जगी है। एनसीएलएटी से फैसला आने के बाद फ्लैट खरीदार व किसानों का इंतजार समाप्त हो जाएगा।  

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