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पांच साल बाद फिर शुरू होगी कैलाश मानसरोवर यात्रा

नोट-- एक बॉक्स जोड़ा गया है नंबर गेम 2020 में सीमा पर झड़प के

Newswrap हिन्दुस्तान, नई दिल्लीMon, 28 April 2025 11:29 PM
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पांच साल बाद फिर शुरू होगी कैलाश मानसरोवर यात्रा

बीजिंग, एजेंसी। भारत और चीन के बीच कई वर्षों के कूटनीतिक गतिरोध के बाद सकारात्मक पहल हुई है। चीन के विदेश मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि भारत के तीर्थयात्री इस गर्मी में पांच साल बाद कैलाश मानसरोवर की यात्रा कर सकेंगे। चीन के तिब्बत क्षेत्र में कैलाश पर्वत और मानसरोवर झील बौद्ध और हिंदू धर्म सहित कई धर्मों के श्रद्धालुओं के लिए महत्वपूर्ण है, लेकिन भारतीय तीर्थयात्री वर्ष 2020 से कोविड महामारी और दोनों देशों के बीच तनाव के कारण सीमा पार करने में असमर्थ थे।

चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गुओ जियाकुन ने कहा, ‘भारतीय श्रद्धालुओं की तीर्थयात्रा चीन और भारत के बीच सांस्कृतिक आदान-प्रदान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। उन्होंने इस वार्षिक कार्यक्रम को फिर से शुरू करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि चीन दोनों देशों के नेताओं के बीच बनी सहमति को ईमानदारी से लागू करने के लिए भारत के साथ काम करने को तैयार है।

दोनों देशों के संबंधों में आई थी खटास

ज्ञात हो कि सीमा पर सैनिकों के बीच 2020 में हुई झड़प के बाद दोनों देशों के संबंधों में खटास आ गई थी। पिछले साल भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग की मुलाकात के बाद से कई उच्च स्तरीय बैठकें हो चुकी हैं। चीन और भारत बीजिंग में एक बैठक के दौरान अपनी सीमा पर छह सूत्रीय सहमति पर पहुंचे, जिसमें उन्होंने तिब्बत में भारतीय तीर्थयात्रियों की यात्रा को फिर से शुरू करने पर भी सहमति व्यक्त की।

पांच और दस जत्थों में तीर्थयात्री यात्रा करेंगे

पिछले सप्ताह नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय ने घोषणा की थी कि यह यात्रा जून से अगस्त तक दो मार्गों, उत्तराखंड में लिपुलेख दर्रा और सिक्किम में नाथू ला दर्रे के रास्ते होगी। विदेश मंत्रालय ने कहा कि लिपुलेख दर्रे और नाथू ला दर्रे को पार करते हुए क्रमश: पांच जत्थों और 10 जत्थों (प्रत्येक में 50 श्रद्धालु) में तीर्थयात्री यात्रा करेंगे।

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