Hindustan Special: यूपी के वकील ने छोटे से बगीचे में उगाई 100 तरह की फल-सब्जियां, खूब हो रही तारीफ
फलों सब्जियों पर लगातार बढ़ते जा रहे पेस्टीसाइड के इस्तेमाल से जहां लोग बीमार हो रहे हैं वहीं बिजनौर के मुकेश कुमार का अनोखा प्रयास सभी के लिए मिसाल बन गया है। अपनी छोटी सी 400 गज जगह में बगिया तैयार कर करीब 100 तरह के जैविक फल और सब्जी उगा रहे हैं।
फलों सब्जियों पर लगातार बढ़ते जा रहे पेस्टीसाइड के इस्तेमाल से जहां लोग बीमार हो रहे हैं वहीं बिजनौर के मुकेश कुमार का अनोखा प्रयास सभी के लिए मिसाल बन गया है। अपनी छोटी सी 400 गज जगह में बगिया तैयार कर मुकेश चन्द्र भटनागर करीब 100 तरह के जैविक फल और सब्जी उगा रहे हैं। पेशे से वकील मुकेश की बगिया में सेब, अंजीर, लोकाट, चीकू, संतरा, आम और अमरुद आदि फलों की खुशबू हर तरफ पैली नजर आती है।
पेस्टीसाइड का इस्तेमाल नहीं करने को बनाया लक्ष्य
नई बस्ती बी-14 निवासी मुकेश चन्द्र भटनागर पेशे से अधिवक्ता हैं। बाजार में खतरनाक रसायनों को लेकर बीमारी का खतरा और स्वस्थ खाने की इच्छा ने ही उनको जैविक सब्जी और फल उगाने को प्रेरित किया। बाजार में जैविक फलों के महंगे होने के चलते उन्होंने इसे विकल्प के तौर पर आजमाने का प्रयास किया जो धीरे धीरे उनके लिए मिशन की तरह बन गया। वे अपने घर पर ही फलों से लेकर सब्जी और फूलों को तैयार करने लगे। अपने घर की बगिया में पैदा हो रहे फलों और सब्जी पर उन्होंने कभी भी पेस्टीसाइड का इस्तेमाल नहीं किया। हमेशा प्राकृतिक तरीकों से ही फलों को उगाते हैं। मुकेश चन्द्र भटनागर का कहना है कि वे फल और सब्जी बाजार से खरीदने नहीं जाते बल्कि अपनी बगिया में उगाते हैं। शायद ही कोई ऐसा फल हो जो उनकी बगिया में न लगता हो। करीब 350 से 400 गज की जमीन में ही मुकेश ने इतने सारे फल और सब्जी तैयार करने का कारनामा कर रखा है।
बगिया में सभी मौसमी फलों की बहार
मुकेश चन्द्र भटनागर की बगिया में अंजीर, नाशपाती, आम, सेब, लोकाट, चीकू, लीची, अमरुद की 6 वैरायटी, नींबू, करौंदा, किन्नू, संतरा, पपीता, केला, आम, शहतूत, संतरा नागपुर, माल्टा, देसी आम, चौसा, बनारसी आम, खरबूजा, तरबूज, आडू, जामुन आदि सभी मौसमी फल तैयार होते हैं और फलों के पकने के बाद वह परिवार के साथ उनका आनंद लेते हैं। साथ ही अपने रिश्तेदारों और मिलने वालों को फल खिलाते हैं। इस समय आम, सेब, खरबूजे, चीकू, नाशपाती सहित कई फल पेड़ों पर आ रहे हैं।
सर्दी और गर्मी की सब्जियां करते है पैदा, फूलों से भी महकती है बगिया
फलों के साथ साथ सर्दी और गर्मी के मौसम की सभी सब्जी अपनी बगिया में तैयार करते हैं। इस समय भिंडी, शिमला मिर्च, टमाटर, हरी मिर्च, लौकी, तौरी, जर्मनी सब्जी जकनी आदि पैदा हो रही है। इसके अलावा कई अन्य मौसमी सब्जी भी पैदा करते हैं। इसके अलावा गेंदा, गुलाब, ग्लेडियोलस, गुलदावरी, लिलियम भी लगा रखे हैं। उन्होंने अपनी बगिया में सहजन के पेड़ के साथ हल्दी की बुआई की है।
स्वास्थ्य के लिए जैविक फल और सब्जी बेहद जरूरी- मुकेश
मुकेश चन्द्र भटनागर बताते है कि फलों और सब्जियों पर कीटनाशक पेस्टीसाइड का बहुत इस्तेमाल हो रहा है। जो जानलेवा बीमारियों को दावत देता है। मेरी बगिया में तैयार हो रहे फल और सब्जी पूरी तरह जैविक है। परिवार के सभी सदस्य बाजार के फल और सब्जी नहीं घर में तैयार किए गए फल और सब्जी का सेवन करते हैं। मुकेश चन्द्र भटनागर बताते हैं कि अगर स्वास्थ्य को अच्छा रखना है तो जैविक फल और सब्जी का इस्तेमाल करें।