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Hindi Newsझारखंड न्यूज़पलामूSevere Flooding in Palamu District Over 900mm Rainfall Recorded in 49 Days

पलामू हुआ सामान्य वार्षिक वर्षापात से ज्यादा बारिश, लबालब आहर-पोखर

पलामू जिले में जुलाई के अंतिम दिन से शुरू हुई बारिश 17 सितंबर तक जारी रही, जिसमें लगभग 900 मिलीमीटर बारिश हुई। कोयल नदी उफान पर है और कई गांव बाढ़ के पानी में घिरे हैं। 17 लोगों को सोन नदी से सुरक्षित...

Newswrap हिन्दुस्तान, पलामूWed, 18 Sep 2024 06:01 PM
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मेदिनीनगर, हिन्दुस्तान टीम। पलामू जिले में जुलाई के अंतिम दिन से शुरू हुई मुसलाधार बारिश 17 सितंबर तक जारी रहा। पिछले 49 दिनों में पलामू जिले में करीब 900 मिलीमीटर बारिश हुई है, यह इस अवधि में सामान्य वर्षापात से करीब 400 मिलीमीटर अधिक है। पलामू जिले में सामान्य वार्षिक वर्षापात 1257.8 मिलीमीटर अनुमानित है जिसके विरुद्ध इस वर्ष अबतक मौसम विभाग के डालटनगंज केंद्र ने 1314 मिलीमीटर बारिश 18 सितंबर तक रिकार्ड किया है। दूसरी तरफ चियांकी स्थित क्षेत्रीय अनुसंधान केंद्र ने जनवरी से लेकर 18 सितंबर तक 1073.4 मिलीमीटर वर्षापात रिकार्ड किया है। मुसलाधार बारिश के कारण कोयल नदी उफान पर है, मेदिनीनगर में भी कोयल अभी खतरनाक स्थिति में है। लगातार दो साल के सुखाड़ के बाद पलामू में अगस्त-सितंबर में हुई भारी बारिश से गांव से लेकर शहर तक के सभी आहर-पोखर लबालब भरे हुए हैं। छोटी-बड़ी सभी नदियां उफनाई हुई है। कोयल नदी के नीचे इलाके में स्थित सहार बिहरा गांव बाढ़ के पानी से घीर गया है जबकि उंटारी प्रखंड के सतबहिनी आदि गांव में सैकड़ों एकड़ में लगी धान की फसल बाढ़ के पानी में डूबा हुआ है। जिले के विभिन्न क्षेत्र में पिछले शनिवार से मंगलवार तक हुई बारिश से दो दर्जन से अधिक ग्रामीणों के घर गिर गए हैं जबकि दर्जनभर से अधिक पहुंचपथ, पुलिया आदि क्षतिग्रस्त हुआ है।

सोन नदी के टीले पर फंस गए 17 लोगों निकाला गया : सोन नदी में बाढ़ आने से पलामू जिले के हुसैनाबाद प्रखंड के देवरी कला गांव स्थित सोन नदी में आई बाढ़ से टीला पर फंस गए 17 लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है। जिला प्रशासन के निर्देशन में हुसैनाबाद के अनुमंडल पदाधिकारी पियूष सिन्हा, देवरी ओपी प्रभारी बबलू कुमार गुप्ता, एएसआई अखिलेश कुमार आदि ने पहल करते हुए सोन नदी में फंसे लोगों को बाहर निकला। देवरी ओपी में पदस्थापित एएसआई अखिलेश कुमार के साथ स्थानीय सहयोग समिति के सचिव अनिल चौधरी, उपेंद्र चौधरी, धनंजय चौधरी, वचन चौधरी आदि ने डीजल चालित नाव की सहायता से फंसे हुए सभी लोगों को सुरक्षित वापस लाया।

पांच लोग अभी रह गए हैं टीला पर : नदी के बीच टिला पर फंस गए देवरी कला गांव की पूनम देवी, विनोद चौधरी, गीता देवी, गुलाबी देवी, मालती देवी, सीमा देवी, कबूतरी देवी के अलावा सात वर्षीय राजू कुमार व पांच वर्षीय शिवानी कुमारी गांव लौटकर राहत की सांस ली है। विनोद चौधरी ने बताया कि टीला पर पानी कम हो गया है। जिनके पशु आदि टीला पर है उन्हें देखने के लिए पांच लोग वहां रुक गए हैं। एसडीओ ने बताया कि करीब एक घंटे सोन नदी के देवरी तट पर रेस्क्यू टीम का इंतजार किया गया। उन्होंने कहा कि जबतक स्थिति सामान्य नहीं हो जाती है, तब तक नाव घाट को बंद रखा जाएगा। उन्होंने पुनः किसी को टीला पर जाने को मना किया है। पूर्व मुखिया रामाशंकर चौधरी व मोहन चौधरी की मांग पर एसडीओ ने बचाव टीम को लगाया।

बेदौलिया स्कूल परिसर में भर गया है पानी : हुसैनाबाद प्रखंड के बेदौलिया गांव स्थित राजकीय उत्क्रमित मध्य विद्यालय परिसर में पानी भर गया है। इससे पठन-पाठन के साथ बच्चों का मध्यान भोजन बनाने में भी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। 2009 में उत्क्रमित हुए स्कूल में 200 बच्चे पढ़ाई करते हैं। प्रभारी हेडमास्टर जयप्रकाश शर्मा, विद्यालय प्रबंधन समिति के अध्यक्षा प्रभादेवी आदि ने बताया कि स्कूल परिसर में पानी भर जाने से अध्यापन कार्य प्रभावित हो रहा है। साथ ही बच्चों के लिए खतरा भी बढ़ गया है।

सगरदीनवा गांव के लोग तीन दिन में फंसे हैं : चैनपुर प्रखंड के सगरदीनवा गांव के तहले नदी पर पुल नहीं रहने के कारण तीन दिनों से प्रखंड मुख्यालय से गांव का संपर्क टूट रहा। बुधवार को तहले नदी में पानी कम होने के बाद आवागमन शुरू हो गया है। गांव के बालेश्वर गुप्ता, वृंदा सिंह, शशिकांत राम, अशोक सिंह आदि ने बताया कि सगरदीनवा गांव तीन टोला में विभक्त है जिसमें 40 परिवार रहते हैं। तहले नदी पर पुल बनाने के लिए कई बार मांग की गई परंतु अब तक पुल नहीं बनाया जा सका है। इससे हर बरसात में परेशानी होती है। गांव के लोग बीमार पड़ते हैं तो करीब 10 से 12 किलोमीटर घूम कर जंगली रास्ते से पहाड़ होकर मरीज को खाट पर लेकर जाना पड़ता है। सलतुआ पंचायत की मुखिया चिंतामणि देवी ने बताया कि पलामू जिला में तीन दिनों से हो रहा लगातार बारिश के कारण तहले नदी उफान पर थी जिस कारण सगरदीनवा गांव के प्रखंड मुख्यालय से संपर्क स्थापित टूट गया था। बुधवार को पानी कम होने के बाद आवागमन शुरू हुआ है। सगरदीनवा जाने वाले सड़क में तहले नदी पर जल्द बनाने की पहल की जाएगी।

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