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Hindi Newsविदेश न्यूज़Despite interference in presidential elections, Trump wanted better relations with Putin, reveals former advisor

राष्ट्रपति चुनाव में दखल के बावजूद पुतिन से बेहतर संबंध चाहते थे ट्रंप, पूर्व सलाहकार का खुलासा

  • डोनाल्ड ट्रंप के पूर्व सलाहकार ने खुलासा किया है कि पुतिन के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में हस्तक्षेप को लेकर तत्कालीन राष्ट्रपति ट्रंप को बहुत चेतावनी दी गई थीं, लेकिन उसके बावजूद भी उन्होंने कोई बात नहीं सुनी, जिससे रूस और अमेरिका के संबंध जटिल हो गए।

Upendra Thapak लाइव हिन्दुस्तानSun, 25 Aug 2024 11:38 AM
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अमेरिका में पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ऊपर एक नया खुलासा हुआ है। ट्रंप के राष्ट्रपति रहते हुए उनके सलाहकार रहे मैकमास्टर ने खुलासा किया है कि 2016 राष्ट्रपति चुनाव में रूस की तरफ से हस्तक्षेप किया गया था। इसके बारे में तत्कालीन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को उनके सलाहकारों ने चेतावनी भी दी थी, लेकिन इसके बाद भी ट्रंप रूस और राष्ट्रपति पुतिन के साथ बेहतर संबंध बनाने के लिए कुछ भी करने को तैयार थे। ट्रंप के राष्ट्रपति रहते हुए अमेरिका और रूस के संबंध ठीक-ठाक रहे। हालांकि अमेरिका की तरफ से रूस पर उनके राष्ट्रपति चुनाव में हस्तक्षेप करने के आरोप लगते रहे हैं और आगामी चुनाव के लिए भी अमेरिकी अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि इस चुनाव में भी रूसी या ईरानी हस्तक्षेप हो सकता है।

अमेरिका में इस समय राष्ट्रपति चुनाव की सरगर्मी जोरों पर है। ऐसे में ट्रंप के पूर्व सलाहकार की तरफ से ऐसा दावा ट्रंप के लिए मुश्किलें पैदा कर सकता है। हालांकि ट्रंप खुले तौर पर यह स्वीकार कर चुके हैं कि वह रूस या पुतिन को अपना दुश्मन नहीं मानते अगर वह  बाइडेन की जगह राष्ट्रपति होते तो रूस द्वारा यूक्रेन पर किया गया हमला कभी होता ही नहीं।

2017 में ट्रंप के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बने मैकमास्टर वॉल स्ट्रीट जर्नल में छपे अपने लेख में कहते हैं कि एक साल से ज्यादा समय तक ट्रंप के साथ करने के बाद भी में समझ नहीं पा रहा था कि आखिर पुतिन की ट्रंप पर इतनी मजबूत पकड़ का कारण क्या है। पुतिन के बारे राष्ट्रपित ट्रंप से बात करना हमेशा ही एक मुश्किल काम रहा। रूस के तमाम हस्तक्षेपों के बावजूद भी अति आत्मविश्वासी ट्रंप पुतिन के साथ व्यक्तिगत संबंधों को सुधारकर दोनों देशों के बीच के संबंध सुधारने का प्रयास करते रहे। लेकिन रूसी राष्ट्रपति एक केजीबी के जासूस रह चुके हैं वह इंसानों की भावनाओं के साथ अच्छे से जानते हैं। उन्होंने चापलूसी करक और ट्रंप के अंहकार और असुरक्षा की भावना का अच्छे से फायदा उठाया।

सलाहकारों के मना करने के बाद भी ट्रंप ने पुतिन को किया कॉल

मैकमास्टर ने कहा कि 2018 में जब पुतिन चौथे कार्यकाल के लिए चुने गए तो ट्रंप उन्हें बधाई देने के लिए फोन करना चाहते थे। मैंने उन्हें समझाने की कोशिश की कि चुनावों में धांधली हुई है। और अगर आप उन्हें बधाई देते हैं तो आप उनके चुनावों को वैधता प्रदान करते हैं और रूस की छवि को सुधारने का काम कर रहे हैं। हालांकि उन्होंने मेरी सलाह नहीं मानी और पुतिन को फोन किया और उन्हें बधाई भी दी, इसके बाद उन्हें व्हाइट हाउस आने के लिए निमंत्रण भी दिया। उन्होंने कहा कि ट्रंप मुझे इसलिए भी नापसंद करने लगे थे क्योंकि मैं उनके सामने सही को सही बोलने की हिम्मत रखता था। हालांकि इसी हिम्मत की वजह से मुझे बर्खास्त कर दिया गया।

अपने कार्यकाल के दौरान ट्रंप ने 4 राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों को रखा, जबकि राष्ट्रपति बाइडेन ने अपने कार्यकाल में केवल एक ही सुरक्षा सलाहकार रखा है।

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