डायल 112 पर नीतीश सरकार की बड़ी पहल, सफर के दौरान महिलाओं की सुरक्षा करेगी बिहार पुलिस
- बिहार में नीतीश कुमार की सरकार ने घर से बाहर महिलाओं की सुरक्षा के लिए हेल्पलाइन नंबर 112 पर सुरक्षित सफर सुविधा की शुरुआत की है। 5 सितंबर से इसे पटना समेत छह जिलों में और 15 सितंबर से पूरे बिहार में लागू कर दिया जाएगा।
बिहार में नीतीश कुमार की सरकार ने घर से बाहर महिलाओं की सुरक्षित यात्रा के लिए इमरजेंसी हेल्पलाइन नंबर 112 पर सुरक्षित सफर सुविधा नाम से एक बड़ी पहल की है। राज्य में ट्रेवल के दौरान महिलाएं अगर कोई खतरा या असुरक्षा महसूस कर रही हैं तो इस नंबर पर फोन करके पुलिस से सुविधा मांग सकती है। पुलिस महिला की सुरक्षित यात्रा सुनिश्चित करेगी। इमरजेंसी नंबर 112 की सेवा का संचालन केंद्र सरकार के निर्भया फंड से होता है जिसके तहत औरतों और बच्चों के सामने सुरक्षा के लिए मदद मांगने के कई तरह के विकल्प होते हैं।
बिहार पुलिस की सुरक्षित सफर सुविधा को 5 सितंबर से पहले छह जिलों में और 15 सितंबर से राज्य भर में लागू किया जाएगा। 5 सितंबर से महिलाओं के लिए यह सुविधा पटना, गया, नालंदा, मुजफ्फरपुर, बेगूसराय और भागलपुर में शुरू हो जाएगी। बुधवार को बिहार पुलिस के मुख्यालय में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में एडीजी निर्मल आजाद ने इसकी जानकारी दी। प्रेस कॉन्फ्रेंस में आईजी अनिल कुमार भी मौजूद थे। पुलिस अधिकारियों ने कहा कि बिहार में कहीं भी, कोई भी महिला अगर यात्रा के दौरान असुरक्षित महसूस कर रही हैं तो डायल 112 पर फोन करके सुविधा ले सकती हैं।
डायल 112 नंबर कैसे पुलिस से मदद मांग सकते हैं?
इमरजेंसी हेल्पलाइन नंबर डायल 112 पर फोन से सीधे 112 नंबर डायल करके संपर्क किया जा सकता है। अगर आपके पास स्मार्टफोन है तो उसे बंद या चालू करने वाले बटन (पावर बटन) को लगातार तीन बार दबाने पर भी 112 नंबर पर फोन लग जाता है। अगर मोबाइल फोन साधारण है तो उसके 5 या 9 नंबर के बटन को लगातार दबाए रखने पर भी फोन 112 नंबर पर लग जाता है। 112 इंडिया मोबाइल ऐप को डाउनलोड कर रखे हों तो SHOUT बटन दबा सकते हैं। इससे आप के आस-पास के वालंटियर को भी अलर्ट चला जाएगा जो आपकी मदद के लिए आ सकते हैं।
महिलाओं के खिलाफ अपराध का देश और बिहार का क्या है हाल?
राष्ट्रीय महिला आयोग को महिलाओं के खिलाफ अपराध की वर्ष 2023 में 28811 शिकायतें मिली थीं जिनमें बिहार 1312 मामलों के साथ बिहार चौथे नंबर पर था। 16109 केस के साथ उत्तर प्रदेश एक नंबर पर रहा था। इस साल के जून तक आयोग को मिली 12649 शिकायतों में 6492 केस के साथ यूपी फिर नंबर एक पर है जबकि 586 मामलों के साथ बिहार लगातार चौथे नंबर पर है। बीच में दिल्ली और महाराष्ट्र क्रमशः तीसरे और चौथे नंबर पर लगातार दोनों साल हैं।
राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की देश भर में अपराध पर आखिरी रिपोर्ट 2022 की उपलब्ध है जिसके मुताबिक 2022 में महिलाओं के खिलाफ अपराध के 4 लाख 45 हजार 256 मुकदमे दर्ज हुए थे। इसमें 31 फीसदी से अधिक केस पति या रिश्तेदारों की क्रूरता, 19 परसेंट से अधिक अपहरण या अगवा, 19 परसेंट मुकदमे बदनीयती में महिलाओं पर हमले और 7 फीसदी केस बलात्कार के थे।