Solar Eclipse: सूर्य ग्रहण और शनि अमावस्या एक ही दिन: जानें इस दिन क्या करें और क्या नहीं
- Shani Amavasya par kya kare kya nahi: मार्च में शनि अमावस्या व सूर्य ग्रहण का दुर्लभ संयोग बन रहा है। जानें इस दिन शुभ फलों के लिए क्या करें और क्या नहीं-

Shani amavasya Upay 2025: 29 मार्च 2025 को शनि अमावस्या और पहला सूर्य ग्रहण का विशेष संयोग बन रहा है। वैदिक ज्योतिष में शनि अमावस्या और सूर्य ग्रहण का विशेष ज्योतिषीय महत्व है क्योंकि दोनों घटनाएं मानव जीवन को प्रभावित करती हैं। हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, इस खास दिन कुछ बातों का ध्यान रखने से लोगों को जीवन में शुभ फलों की प्राप्ति हो सकती है और परेशानियों से राहत मिल सकती है। जानें शनि अमावस्या व सूर्य ग्रहण के दिन शुभ फलों के लिए क्या करें और क्या नहीं-
शुभ फलों की प्राप्ति के लिए शनि अमावस्या के दिन करें ना ये काम-
1. शनि अमावस्या के दिन शनिदेव की कृपा प्राप्त करने के लिए कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए। इस दिन गाय, कुत्ते और कौवे आदि को नुकसान पहुंचाने से बचना चाहिए।
2. इस दिन व्यक्ति को गुस्से, छल और गलत तरीकों से पैसा कमाने से भी बचना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से शनि दोष के अशुभ प्रभाव कम होते हैं।
3. चैत्र अमावस्या या शनिश्चरी अमावस्या के दिन बाल, नाखून और रोटी काटना अशुभ माना जाता है। मान्यता है कि ऐसा करने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
4. इस दिन लोगों को मांस और शराब जैसे मांसाहारी भोजन के सेवन से भी बचना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से शनिदेव के अशुभ प्रभाव कम होते हैं।
शनि अमावस्या व सूर्य ग्रहण के दिन करें ये उपाय-
1. शनिश्चरी अमावस्या के दिन जरूरतमंद लोगों को भोजन, कपड़े और तेल का दान करना चाहिए। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, ऐसा करने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं।
2. शनि कृपा पाने के लिए शनिश्चरी अमावस्या के दिन पीपल के पेड़ की पूजा करनी चाहिए और सरसों के तेल का दीपक जलाएं। मान्यता है कि ऐसा करने से शुभ परिणाम मिलते हैं।
3. मान्यता है कि अमावस्या के दिन हनुमान चालीसा का पाठ करने से शनिदेव के नकारात्मक प्रभाव कम होते हैं।
4. सूर्य ग्रहण के दौरान मंत्रों का जाप और ध्यान करने से जीवन में सकारात्मक ऊर्जा बढ़ती है।
सूर्य ग्रहण का समय- वैदिक पंचांग के अनुसार, साल का पहला सूर्य ग्रहण 29 मार्च 2025 को दोपहर 02 बजकर 20 मिनट पर प्रारंभ होगा और शाम 06 बजकर 16 मिनट पर समाप्त होगा। हालांकि यह ग्रहण भारत में नजर नहीं आएगा। जिसके कारण सूतक काल के नियम लागू नहीं होंगे।
इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। इन्हें अपनाने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।
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