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Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़Why Akhilesh Yadav planning to counter BJP by counting PDA death in UP Police Encounters

मुठभेड़ पर बीजेपी का शिकार कर पाएगी एसपी? अखिलेश पीडीए का एनकाउंटर क्यों गिनने लगे

  • सुलतानपुर के ज्वैलर्स से सवा करोड़ से ऊपर की लूट के केस में 5 सितंबर को एनकाउंटर में मंगेश यादव के मारे जाने के बाद से उत्तर प्रदेश पुलिस और स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) समाजवादी पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के निशाने पर है। अखिलेश सात दिन में आठ ट्वीट कर चुके हैं।

Ritesh Verma लाइव हिन्दुस्तान, लखनऊWed, 11 Sep 2024 12:42 PM
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लोकसभा चुनाव में पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक के पीडीए समीकरण से भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को उत्तर प्रदेश में पछाड़ने वाले समाजवादी पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अब यूपी पुलिस और एसटीएफ के हाथों मुठभेड़ में मारे गए लोगों में पीडीए की गिनती करके माहौल गरमा दिया है। अखिलेश यादव ने गुरुवार को संवाददाता सम्मेलन बुलाया है जिसमें वो पुलिस एनकाउंटर पर अपने सवालों को और तीखा कर सकते हैं। मंगलवार को उन्होंने एनकाउंटर में मारे गए 207 लोगों का एक ग्राफ शेयर कर दावा किया था कि इसमें 125 पीडीए के लोग थे। अखिलेश ने हालांकि ग्राफ में ये साफ नहीं किया कि ये डेटा कितने साल का है। 

यूपी पुलिस के एनकाउंटर में पीडीए का एंगल खोजने के बाद अखिलेश काफी आक्रामक तेवर में चल रहे हैं। यूपी में विधानसभा चुनाव कम से ढाई साल दूर है लेकिन लोकसभा चुनाव में यूपी में बीजेपी पर मिली जीत से उत्साहित अखिलेश एनकाउंटर में मरने वालों की जाति गिनकर पीडीए के हथियार से बीजेपी का शिकार करने की रणनीति पर आगे बढ़ते दिख रहे हैं। कल बुलाई गई पीसी उसी दिशा में एक कदम है। 5 सितंबर को मंगेश के एनकाउंटर के बाद से अखिलश यादव ने पुलिस मुठभेड़ पर सात दिन में आठ ट्वीट किए हैं। सपा को एनकाउंटर में पीडीए की गिनती से पिछड़ों को भाजपा से अपनी तरफ मोड़ने की राजनीतिक संभावना दिख रही है। 

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अखिलेश ने पहले ही दिन ट्वीट करके जाति देखकर जान लेने का आरोप लगाया था और कहा था कि जाति देखकर मुख्य आरोपी को सरेंडर करने दिया गया और बाकी के पैर में गोली मारी गई। उसी दिन एक और ट्वीट करके अखिलेश ने दावा किया कि मंगेश यादव को दो दिन पहले पुलिस ने घर से उठाया था और झूठे एनकाउंटर में मारने का दावा किया है। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से मामले का संज्ञान लेने का आग्रह किया था। फिर अखिलेश ने 7 सितंबर को ट्वीट करके पूछा कि जब सारे आरोपी पकड़े जा चुके हैं तो लूट का माल क्यों नहीं बरामद हुआ। बताते चलें कि जिस सोनार की दुकान से लूट हुई थी, उन्होंने दावा किया है कि लूट का ज्यादातर सोना नहीं मिला है। 

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अखिलेश ने इसी दिन मंगेश की बहन का बिलखता वीडियो शेयर कर कोर्ट और मानवाधिकार आयोग से संज्ञान लेने की अपील की। इस वीडियो में मंगेश यादव की बहन कह रही है कि मंगेश 28 अगस्त को फीस जमा करने उसके स्कूल गया था। 1 अगस्त की रात में पुलिस 2 बजे रात में आई और भाई को ले गई। बोली थी कि पूछताछ करके छोड़ देंगे। फिर छोड़े नहीं और ले जाकर मार दिए।

अखिलेश ने पांचवां ट्वीट 10 सितंबर को किया और कहा कि लोग कह रहे हैं कि अदालत में जाओ लेकिन क्या कोर्ट से किसी की जान वापस मिल सकती है। इस दिन अखिलेश ने कुल तीन ट्वीट इस मसले पर किए। छठे ट्वीट में अखिलेश यादव ने एनकाउंटर में पीडीए का एंगल लाया और लिखा- “भाजपा राज में एनकाउंटर का आंकड़ा गैर कानूनी हत्याओं की नाइंसाफी का भी आंकड़ा है और साथ ही पीडीए के विरुद्ध हुए अन्याय का भी।” फिर यादव ने एनकाउंटर में 207 की मौत का ग्राफ शेयर किया और बताया कि इसमें 145 पीडीए समूह के थे। मुठभेड़ पर ये सातवां ट्वीट था।

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अखिलेश ने आज बुधवार (11 सितंबर) को फर्जी एनकाउंटर पर आठवां ट्वीट किया है और कहा कि भाजपा सरकार ने सच का ही एनकाउंटर कर दिया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि भाजपा राज में एनकाउंटर का एक पैटर्न सेट हो गया है कि पहले किसी को उठाओ, फिर झूठी मुठभेड़ की कहानी बनाओ, ⁠फिर दुनिया को झूठी तस्वीरें दिखाओ, फिर हत्या के बाद परिवार के सच बताने पर तरह-तरह के दबाव व प्रलोभन से उन्हें दबाओ। 

मंगेश यादव एनकाउंटर में शामिल एसटीएफ टीम पर उठ रहे हैं सवाल

योगी आदित्यनाथ सरकार ने मंगेश यादव एनकाउंटर पर सवाल उठने के बाद मजिस्ट्रेट जांच का आदेश दिया है। एनकाउंटर टीम को लीड कर रहे एसटीएफ के डीएसपी डीके शाही समेत कुछ और पुलिस वालों के चप्पल में दिखने पर भी लोग सवाल उठा रहे हैं। मंगेश का परिवार कह रहा है कि वो 28 अगस्त को 10 बजे से 2 बजे तक बहन के स्कूल फीस जमा करने गया था। पुलिस कह रही है कि वो उसी दोपहर 12.15 बजे ज्वैलर्स लूट में शामिल था। मुख्यमंत्री अखिलेश के हमलों का जवाब यह कहकर दे रहे हैं कि जब कोई डकैत मारा जाता है तो लगता है कि उनकी दुखती रग पर हाथ रख दिया हो। योगी यह भी कह रहे हैं कि सपा की सरकार में जो जितना बड़ा गुंडा होता था, उसे उतना ही बड़ा ओहदा मिलता था।

 

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