वीडियो कॉल नहीं हो पाई तो 'बीमार' एकनाथ शिंदे से मिलने ही पहुंच गए भाजपा नेता
- महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन को लेकर कवायदें शुरू हो गई हैं। इस बीच देवेंद्र फडणवीस के एक करीबी नेता ने एकनाथ शिंदे से मुलाकात की है।
महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन को लेकर कवायदें शुरू हो गई हैं। इस बीच देवेंद्र फडणवीस के एक करीबी नेता ने एकनाथ शिंदे से मुलाकात की है। इससे पहले देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे और अजित पवार के बीच वीडियो कॉल पर मीटिंग होनी थी। लेकिन कुछ वजहों से यह मीटिंग नहीं हो पाई। इसके बाद गिरीश महाजन, एकनाथ शिंदे से उनके आवास पर मिलने पहुंचे। मुलाकात के बाद गिरीश महाजन ने कहाकि वह यहां पर राजनीति पर चर्चा करने नहीं आए थे। उनके यहां आने का मकसद एकनाथ शिंदे का हाल-चाल जानना था। महाजन ने कहाकि महायुति गठबंधन में हम सभी एक साथ हैं। एकनाथ शिंदे शपथग्रहण समारोह में मौजूद रहेंगे।
शिंदे से मुलाकात के बाद गिरीश महाजन ने पत्रकारों से बात की। महाजन ने बताया कि उन्होंने पांच-छह दिन पहले ही शिंदे से मुलाकात के लिए अप्वॉइंटमेंट लिया था। लेकिन चूंकि वह बीमार थे और अपने गांव चले गए थे, इसलिए तब मुलाकात नहीं हो पाई थी। महाजन ने एकनाथ शिंदे की तबीयत के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि शिंदे को गले का संक्रमण है और सलाइन लगी हुई है। अब उनके स्वास्थ्य में सुधार हो रहा है। बतौर कार्यवाहक मुख्यमंत्री वह सभी आधिकारिक बैठकों में हिस्सा लेंगे। महाजन के मुताबिक कैबिनेट में जगह और पोर्टफोलियो से जुड़ी चीजों को लेकर वरिष्ठ सदस्यों के बीच बातचीत होगी।
इस बीच महायुति की बैठक को लेकर शिवसेना के एक कार्यकर्ता ने कहाकि पार्टी भाजपा के फोन का इंतजार कर रही है। इस कार्यकर्ता के मुताबिक चूंकि भाजपा काफी आगे निकल चुकी है और उसने पांच दिसंबर को शपथग्रहण का भी ऐलान कर दिया है। ऐसे में हम इंतजार कर रहे हैं कि हमें कब आमंत्रित किया जाएगा। इससे पहले शिवसेना विधायक संजय सिरसाट ने कहा था कि सोमवार शाम या मंगलवार सुबह फडणवीस, शिंदे और अजित पवार की मीटिंग होगी। शिंदे के स्टैंड के बारे में सिरसाट ने कहाकि नए मुख्यमंत्री पर फैसला भाजपा के शीर्ष नेतृत्व द्वारा किया जाएगा। जिस किसी का भी नाम तय होगा, शिवसेना की तरफ से उसे पूरा समर्थन मिलेगा।
नई सरकार में किसे कौन सा मंत्रालय मिलेगा, इस पर चर्चा शपथ ग्रहण के बाद होगा। टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक भाजपा के एक सूत्र ने यह जानकारी दी है। वहीं, शिवसेना विधायक दीपक केसरकर ने कहाकि पार्टी को शपथग्रहण समारोह की जानकारी नहीं दी गई है। उन्होंने कहाकि अगर भाजपा ने हमें जानकारी दी होती तो हम भी वहां जाते। इसके चलते ही मिसअंडरस्टैंडिंग हुई। हालांकि उन्होंने महायुति में होने की बात कही। शिवसेना के एक अन्य कार्यकर्ता ने कहाकि अगर भाजपा अपना मुख्यमंत्री चुनती है तो हमारी पार्टी को डिप्टी सीएम का पद और गृह मंत्रालय मिलना चाहिए। साथ ही पिछली सरकार में मिले सभी नौ मंत्रालय भी हमारे पास रहने चाहिए।