Hindi Newsविदेश न्यूज़Why Iran in huddle with France, UK and Germany on Nuclear talks just Ahead Donald Trump begins second term white House

खोरदाद-15 मिसाइलें तैनात, E-3 तिकड़ी से भी मीटिंग दनादन; ट्रंप के शपथ से पहले खौफ में क्यों ईरान

दूसरी तरफ ईरान, यूरोप के तीन बड़े देशों फ्रांस, जर्मनी और ब्रिटेन की तिकड़ी से ताबड़तोड़ मीटिंग कर रहा है। इन तीनों देशों को E-3 नाम से जाना जाता है। ईरान E-3 से परमाणु वार्ता कर रहा है।

Pramod Praveen एएनआई, नई दिल्लीMon, 13 Jan 2025 03:05 PM
share Share
Follow Us on
खोरदाद-15 मिसाइलें तैनात, E-3 तिकड़ी से भी मीटिंग दनादन; ट्रंप के शपथ से पहले खौफ में क्यों ईरान

इजरायल से जारी तनातनी और अमेरिका में नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह से पहले मिडिल-ईस्ट में बड़ी हचचल है। एक तरफ हमास पर इजरायली बंधकों को रिहा करने का दबाव है, तो दूसरी तरफ ईरान को खौफ है कि अमेरिका उसके परमाणु ठिकानों को निशाना बनाकर हमला कर सकता है। अमेरिका और ईरान दोनों ने ऐसा करने की धमकी दी है। इसे देखते हुए ईरानी सेना और इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कोर (IRGC) ने अपने दो शहरों में स्थित दो प्रमुख परमाणु ठिकानों की सुरक्षा बढ़ा दी है।

आलम यह है कि कोम प्रांत के फोर्डो और खोनब शहरों को मिसाइल शहर के रूप में अभेद्य गढ़ बना दिया गया है, जहां हेवी वाटर रिएक्टर भी है। मेहर समाचार एजेंसी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, ईरान ने खोरदाद-15 एयर डिफेंस सिस्टम मिसाइलों की तैनाती कर रखी है। 

क्या हैं खोरदाद-15 एयर डिफेंस सिस्टम

खोरदाद 15 एयर डिफेंस सिस्टम कथित तौर पर सैयद-3 मिसाइल का उपयोग करके 200 किलोमीटर की दूरी तक ड्रोन, क्रूज मिसाइलों और मानवयुक्त विमानों समेत छह प्रक्षेपास्त्रों का एकसाथ पता लगाने, उन्हें रोकने और निशाना बनाने में सक्षम है। यह डिफेंस सिस्टम 45 किलोमीटर तक की दूरी पर दुश्मन के लड़ाकू विमान को निशाना बना सकता है। खोरदाद 15 ईरान के एयर डिफेंस यूनिट में सबसे नया और सबसे आधुनिक एंटी मिसाइल सिस्टम है।

दूसरी तरफ ईरान, यूरोप के तीन बड़े देशों फ्रांस, जर्मनी और ब्रिटेन की तिकड़ी से ताबड़तोड़ मीटिंग कर रहा है। इन तीनों देशों को E-3 नाम से जाना जाता है। ईरान E-3 से परमाणु वार्ता कर रहा है। सोमवार को भी ई-3 के साथ ईरान की बातचीत होना वाली है। ईरान परमाणु कार्यक्रम पर दो महीने से भी कम समय में दूसरी बार ई-3 से बातचीत करने जा रहा है। इससे पहले नवंबर में जिनेवा में तेहरान इन देशों के साथ बातचीत कर चुका है।

हालांकि, जर्मनी के विदेश मंत्रालय ने कहा है कि यह बातचीत नहीं है बल्कि एक परामर्श भर है। ईरान ने भी द्विपक्षीय बातचीत से इनकार किया है। हालांकि, फ्रांसीसी विदेश मंत्रालय ने कहा है कि ई-3 ईरान के परमाणु कार्यक्रम के कूटनीतिक समाधान की दिशा में काम कर रहा है।

ये भी पढ़ें:नई जंग की आहट! इजरायल और अमेरिकी धमकियों के बीच ईरान ने शुरू किया युद्ध अभ्यास
ये भी पढ़ें:ईरान से भगाए गए 10 हजार से ज्यादा पाकिस्तानी, पासपोर्ट रद्द; सऊदी में भी ऐक्शन
ये भी पढ़ें:ईरानी फौज बनवा रही थीं मिसाइलें, हमने उड़ाई; सीरिया में हमले पर इजरायल का दावा
ये भी पढ़ें:हम से डील कर लीजिए; भारत के आगे क्यों गिड़गिड़ा रहा ईरान, मजबूरी या कोई चाल

सोमवार की बैठक इसलिए अहम है क्योंकि यह ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह से पहले हो रही है। 20 जनवरी को डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ लेने वाले हैं। व्हाइट हाउस में उनके लौटने के मद्देनजर अमेरिका अब ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर नए सिरे से ध्यान केंद्रित कर रहा है। अपने पहले कार्यकाल के दौरान ट्रंप ने अधिकतम दबाव की नीति अपनाई थी और अमेरिका को ऐतिहासिक परमाणु समझौते से अलग कर लिया था।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।

अगला लेखऐप पर पढ़ें