एमडीएम में शिकायत के बाद शुरू की गई गुणवत्ता की जांच
सहरसा में 516 विद्यालयों के छात्रों को दिये जा रहे पका पकाया भोजन में अनियमितताओं की शिकायतों के बाद जांच शुरू की गई है। पीएम पोषण जिला कार्यक्रम पदाधिकारी ने गुणवत्ता की जांच का आदेश दिया है। कई...

सहरसा हिन्दुस्तान संवाददाता। स्वयं सेवी संस्था द्वारा जिले के पांच प्रखण्ड के 516 विद्यालयों के छात्र छात्राओं को उपलब्ध कराये जा रहे पका पकाया भोजन में अनियमितता की शिकायत के बाद जांच शुरू कर दी गई है। पीएम पोषण जिला कार्यक्रम पदाधिकारी ने इसके लिए आदेश पत्र जारी कर मध्याह्न भोजन की गुणवत्ता की जांच का निर्देश दिया है। जानकारी अनुसार जिले के कई विद्यालयों के छात्रों की शिकायत मिल रही थी कि पका पकाया भोजन सही नहीं दिया जा रहा है। घटिया भोजन के विरोध में कई विद्यालयों के छात्रों द्वारा जबतक प्रदर्शन भी किया जा चुका है। जिसके बाद विभाग ने जांच का निर्णय लिया और इसके लिए आदेश जारी कर दिया गया है।
जिला कार्यक्रम पदाधिकारी द्वारा जारी पत्र के अनुसार जिलान्तर्गत कार्यरत स्वयं सेवी संस्था के द्वारा प्रखंड- कहरा, सोनवर्षा, सौरबाजार, सत्तरकटैया एवं नवहट्टा के केन्द्रीकृत रसोईघर से जिलान्तर्गत कुल 516 विद्यालयों में पका पकाया मध्याहन भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। स्वयं सेवी संस्था के द्वारा विद्यालयों में उपलब्ध कराये जाने वाले मध्याहन भोजन की गुणवत्ता को लेकर आए दिन विद्यालय के प्रधानाध्यापक व प्रभारी प्रधानाध्यापक के द्वारा वाट्सएप्प, समाचार पत्र इत्यादि के द्वारा शिकायत प्राप्त हो रहे हैं। साथ ही कुछ विद्यालयों में मध्याहन भोजन में कीड़ा इत्यादि मिलने की भी शिकायतें प्राप्त हो रही है। इसलिए प्रतिदिन प्रातः 7 बजे प्रखण्ड साधन सेवी प्रखंडाधीन केन्द्रीकृत रसोईघर पर उपस्थित होकर स्वयं सेवी संस्था के द्वारा तैयार किये जा रहे मध्याह्न भोजन को चखते हुए गुणवत्ता की जाँच कर केन्द्रीकृत रसोईघर के निरीक्षण-सह-गुणवत्ता पंजी पर मंतव्य दर्ज कराने का निर्देश दिया गया है। कहते पदाधिकारी : केन्द्रीकृत रसोईघर के निरीक्षण-सह-गुणवत्ता पंजी पर मंतव्य दर्ज कराने का निर्देश दिया गया है। जांच में गड़बड़ी की शिकायत पर कार्रवाई की जाएगी। उज्जवल कुमार, डीपीओ, जिला पीएम पोषण
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