पशुपति पारस को साधने में जुटी बीजेपी, दिलीप जायसवाल RLJP दफ्तर जाकर मिले; बिहार में हलचल तेज
बिहार में चार सीटों पर होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले सियासी पारा गर्माया हुआ है। बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस से राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (रालोजपा) के पटना स्थित दफ्तर में जाकर मुलाकात की।
बिहार की चार विधानसभा सीटों पर होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले सियासी हलचल फिर से तेज हो गई है। लोकसभा चुनाव 2024 में एनडीए के अंदर दरकिनार किए गए राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (रालोजपा) के प्रमुख पशुपति पारस एक बार फिर सियासत के केंद्र में आ गए हैं। बिहार बीजेपी के चीफ दिलीप जायसवाल ने गुरुवार को पारस के पार्टी दफ्तर जाकर मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच बहुत देर तक बातचीत हुई। इससे सियासी गलियारों में चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है। बता दें कि पिछले हफ्ते ही भोजपुर जिले की तरारी सीट से विधायक रहे बाहुबली सुनील पांडे ने रालोजपा छोड़कर बीजेपी में शामिल हो गए थे। इसके बाद से पशुपति पारस नाराज बताए जा रहे हैं। तरारी उन चार सीटों में से एक हैं जिन पर आगामी दिनों में उपचुनाव होने हैं। रालोजपा ने सुनील पांडे के सहारे ही बीजेपी से तरारी सीट पर दावा ठोका था।
जानकारी के मुताबिक बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष एवं नीतीश सरकार में मंत्री दिलीप जायसवाल ने रालोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस से मुलाकात की। यह मीटिंग रालोजपा के पटना स्थित प्रदेश कार्यालय में हुई। दोनों नेताओं के बीच करीब एक घंटे तक बातचीत हुई। हालांकि, इसे शिष्टाचार मुलाकात बताया गया है। मगर राजनीतिक हलकों में इसके कई मायने निकाले जा रहे हैं।
दरअसल, इस साल हुए लोकसभा चुनाव के सीट बंटवारे में बीजेपी ने चिराग पासवान के गुट वाली लोजपा (रामविलास) को तरजीह देते हुए पांच सीटें दी थीं। जबकि उनके चाचा पशुपति पारस के गुट वाली रालोजपा को एक भी सीट नहीं मिली। इसके बाद पारस ने नरेंद्र मोदी कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया था। उनके एनडीए छोड़कर जाने के भी कयास लगाए जाने लगे। हालांकि, बाद में उन्होंने चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को समर्थन देने का ऐलान कर दिया था।
बिहार में अगले साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। इससे पहले पशुपति पारस एनडीए में अपनी जगह फिर से हासिल करने में जुटे हैं, ताकि सीट बंटवारे में उन्हें सम्मानजनक हिस्सा मिल सके। इससे पहले बिहार की चार सीटों (तरारी, रामगढ़, बेलागंज और इमामगंज) पर उपचुनाव होना है। निर्वाचन आयोग जल्द ही इसकी घोषणा कर सकते हैं। इस उपचुनाव को बिहार विधानसभा चुनाव का सेमीफाइनल भी माना जा रहा है।
पिछले दिनों पशुपति पारस एक्टिव हुए और उन्होंने बीजेपी से तरारी विधानसभा सीट पर चुनाव लड़ने की मांग कर दी। इस सीट से चार बार विधायक रहे सुनील पांडे उस समय पारस की पार्टी में ही थे। रालोजपा उन्हें ही टिकट देने का मन बना रही थी। मगर हाल ही में उन्होंने रालोजपा को अलविदा कहकर बीजेपी जॉइन कर ली। उनके बीजेपी के टिकट पर उपचुनाव लड़ने की संभावना है। बताया जा रहा है कि पारस इस बात को लेकर बीजेपी नाराज हैं। चर्चा है कि इसी कारण पारस को मनाने के लिए बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल को उनके पास भेजा गया। हालांकि, दोनों नेताओं में क्या बातचीत हुई, इस बारे में दोनों पार्टियों के ओर से आधिकारिक कुछ नहीं कहा गया है।