उत्तराखंड में लिव इन रिलेशन के लिए लेनी होगी माता-पिता की मंजूरी, UCC में एक नियम यह भी
- उत्तराखंड सरकार ने अपने अधिकारियों को यूसीसी पोर्टल से परिचित कराने में मदद करने के लिए प्रशिक्षण देना शुरू कर दिया है। एसडीएम की उपस्थिति में आयोजित प्रशिक्षण में 14 अधिकारियों ने भाग लिया, जो 20 जनवरी को समाप्त होने वाला है।
उत्तराखंड में लिव-इन रिश्तों की शादी का रजिस्ट्रेशन के साथ वीडियो रिकॉड्रिंग अनिवार्य किया गनया है। उत्तराखंड यूपीसी (Uniform Civil Code-यूनीफिॉर्म सिविल कोड) समान नागरिक संहिता के तहत उत्तराखंड की अनिवार्य आवश्यकताओं में से हैं, जिसे राज्य 26 जनवरी से लागू करने की योजना बना रहा है।
उत्तराखंड सरकार ने अपने अधिकारियों को यूसीसी पोर्टल से परिचित कराने में मदद करने के लिए प्रशिक्षण देना शुरू कर दिया है। एसडीएम की उपस्थिति में आयोजित प्रशिक्षण में 14 अधिकारियों ने भाग लिया, जो 20 जनवरी को समाप्त होने वाला है। यूसीसी पोर्टल में तीन हितधारकों के लिए लॉग इन करने के विकल्प हैं - नागरिक, सेवा केंद्र कर्मचारी और अधिकारी शामिल हैं।
पोर्टल द्वारा दी जाने वाली सेवाओं की सूची में शादी, तलाक और लिव-इन पंजीकरण, लिव-इन संबंधों की समाप्ति, बिना वसीयत के उत्तराधिकार और कानूनी वारिसों की घोषणा, वसीयतनामा उत्तराधिकार, आवेदन खारिज होने की स्थिति में अपील, सूचना तक पहुंच और शिकायत पंजीकरण शामिल हैं।
विवाह या लिव-इन संबंध पर आपत्ति जताने वाला कोई तीसरा व्यक्ति शिकायत के माध्यम से ऐसा कर सकता है। गलत सूचनाओं से लड़ने में मदद करने के लिए, एक उप-पंजीयक को शिकायतों के सत्यापन का काम सौंपा गया है।
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