उत्तराखंड में 26 जनवरी को लागू हो सकता है UCC, कम होगा शुल्क-जुर्माना; CM धामी लेंगे फैसला
UCC in Uttarakhand: उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) कानून को लागू करने से पूर्व प्रस्तावित नियमावली में बड़े बदलाव की तैयारी है। शासन के सूत्रों की मानें तो इस पर युद्ध स्तर पर काम चल रहा है।
उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) कानून को लागू करने से पूर्व प्रस्तावित नियमावली में बड़े बदलाव की तैयारी है। शासन के सूत्रों की मानें तो इस पर युद्ध स्तर पर काम चल रहा है। लोगों के लिए इसे सरल बनाने के साथ ही शुल्क और जुर्माने की राशि को कम किया जा रहा है। माना जा रहा है कि 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के अवसर पर सरकार यूसीसी को लागू कर सकती है।
विशेषज्ञ समिति की ओर से तैयार यूसीसी का मसौदा हिंदी में 105 और अंग्रेजी में 120 पेज का है। इसमें कई प्रावधान बहुत ही कठिन भाषा में हैं। तय किया गया है कि इसे सरल भाषा में तैयार किया जाए। इसके साथ ही विवाह पंजीकरण, तलाक, उत्तराधिकार और लिव-इन रिलेशनशिप पंजीकरण के लिए तय दरों को कम किया जाए।
अभी मसौदे में विवाह पंजीकरण के लिए 500 रुपये शुल्क है। इसे 200 या 100 रुपये किया जा सकता है। लेट फीस के तौर पर 200 और 90 दिन बाद पंजीकरण कराने पर 400 से एक हजार रुपये तक शुल्क है। तलाक के मामले में शुल्क 500, 200 और 400 रुपये है। साथ ही लिव-इन रिलेशनशिप पंजीकरण के लिए एक हजार से 25 हजार रुपये तक शुल्क है। अब इन दरों पर नए सिरे से कसरत की जा रही है। बता दें कि आजादी के बाद यूसीसी को लागू करने वाला उत्तराखंड पहला राज्य होगा।
मुख्यमंत्री लेंगे फैसला
यूसीसी की प्रस्तवित नियमावली में किए जा रहे बदलावों के बाद मसौदे को अंतिम रूप से प्रकाशित करने से पहले अनुमोदन के लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के पास भेजा जाएगा। मुख्यमंत्री के अनुमोदन के बाद ही इसका प्रकाशन होगा।
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