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फ्री गेहूं-चावल लेने वालों को लग सकता है झटका, राशन राशन कार्डों में नए नाम दर्ज करवाने को काट रहे चक्कर

केंद्र सरकार की एनएफएसए योजना में कार्डधारकों प्रति यूनिट दो किलो गेहूं और तीन किलो चावल मिलता है। अंत्योदय में प्रतिकार्ड मुफ्त 14 किलो गेहूं और 21 किलो चावल, एक किलो चीनी की व्यवस्था है।

देहरादून, हिन्दुस्तान Wed, 17 Jan 2024 12:17 PM
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अंत्योदय और राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के नए कार्ड बनना तो दूर, पुराने कार्डों में नए सदस्यों के नाम भी दर्ज नहीं हो रहे। दरअसल, कोटा फुल होने के कारण 10 महीने से प्रक्रिया बंद है। विभाग की मानें तो केंद्र सरकार भविष्य में जनगणना के बाद ही कोटा बढ़ाएगी। तब तक पात्रों को इंतजार करना होगा।  

केंद्र सरकार की एनएफएसए योजना में कार्डधारकों प्रति यूनिट दो किलो गेहूं और तीन किलो चावल मिलता है। अंत्योदय में प्रतिकार्ड मुफ्त 14 किलो गेहूं और 21 किलो चावल, एक किलो चीनी की व्यवस्था है। इन दोनों योजनाओं में आवेदकों की संख्या ज्यादा है। वर्तमान में जिले में करीब 1.20 लाख एनएफएसए और 15 हजार अंत्योदय के कार्डधारक हैं।

लेकिन मार्च 2023 से दोनों योजनाओं में नए कार्ड की प्रक्रिया पूरी तरह से बंद है। जिसके चलते लोगों को जिला पूर्ति विभाग के चक्कर काटने पड़ रहे हैं। पुराने बने कार्डों में नए सदस्य का नाम भी नहीं जोड़ा जा रहा है। ऐसे में गरीब और पात्र परिवार परेशान हैं।

दूसरे काम भी हो रहे प्रभावित : देहरादून। राशन कार्ड नहीं बनने से गरीब राशन से तो वंचित हो ही रहे हैं। उनके राशन कार्ड से संबंधित अन्य कार्य भी प्रभावित हो रहे हैं। राशन कार्ड नहीं बनने से बैंक, स्कूल-कॉलेज, कोर्ट-कचहरी, मतदान कार्ड, एलपीजी कनेक्शन, जीवन बीमा आदि कार्य भी प्रभावित हो रहे हैं। उधर, विभाग का कहना है कि सफेद कार्ड नहीं बन रहे हैं तो, जरूरतमंद पीले कार्ड बनवा सकते हैं।

अंत्योदय और एनएफएसए कार्डों के लिए जिले में जो लक्ष्य मिला था, वो पूरा हो चुका है। कोटा केंद्र सरकार की ओर से बढ़ाया जाएगा। संभवत: केंद्र सरकार भविष्य में होने वाली जनगणना के बाद ही इसकी प्रक्रिया आगे बढ़ा पाएगी। फिलहाल विभाग नए राशन कार्ड के लिए आवेदन नहीं ले रहा है। जबकि राशन कार्ड में नाम जोड़ने के लिए सदस्यों के नाम ऑनलाइन सुरक्षित रखे जा रहे हैं। 
कैलाश अग्रवाल, जिला पूर्ति अधिकारी
 

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