नर्सिंग आफिसर अड़े, टल गई 50 से अधिक सर्जरी
वाराणसी के बीएचयू के सर सुंदरलाल अस्पताल में नर्सिंग आफिसरों की हड़ताल से मरीजों की देखभाल में बाधा आई। इमरजेंसी ऑपरेशन तो हुए, लेकिन लगभग 50 मरीज लौट गए। खेम सिंह के परिवार ने मांग की है कि उनकी...
वाराणसी, कार्यालय संवाददाता। नर्सिंग आफिसरों की हड़ताल से मंगलवार को बीएचयू के सर सुंदरलाल अस्पताल के वार्डों और ट्रामा सेंटर में व्यवस्था चरमरा गई। मरीजों की ड्रेसिंग नहीं हुई। इलेक्टिव ओटी ठप होने से करीब 50 से अधिक मरीज लौट गए। हालांकि इमरजेंसी ऑपरेशन हुए।
उधर अस्पताल परिसर में नर्सिंग आफिसरों के साथ खेम सिंह की पत्नी और उनके माता-पिता भी बैठे। दोपहर में एसडीएम शांतनु सिंह धरना स्थल पर पहुंचे। उन्होंने खेम सिंह के माता-पिता और उनकी पत्नी से धरना खत्म करने की अपील की। उन्होंने कहा कि पोस्टमार्टम हो जाने दीजिए। लेकिन परिजनों का कहना है कि जब तक हमारी मांगे पूरी नहीं होंगी हड़ताल जारी रहेगा।
उधर सहायक कुलसचिव और प्रशासनिक अधिकारी विश्वजीत साहा ने जनसंपर्क अधिकारी के माध्यम से एक पत्र जारी किया है। उन्होंने कहा कि सीसीएस रूल 1965 के तहत मृतक खेम सिंह के परिवार को सभी लाभ मिलेगा। उन्होंने चेताया है कि मरीजों की नर्सिंग सेवा बाधित करना सीसीएस आचरण नियमावली 1964 के विरूद्ध है। इलाज में देरी उनके दर्द को बढ़ाना है। नर्सिंग केयर के अभाव में अगर किसी मरीज को परेशानी होती है तो इसकी नर्सिग ऑफिसरों की होगी।
मौत के बाद खेम सिंह को किया नियमित
मृतक खेम सिंह जीते जिंदगी नियमित नहीं हो सकें। उनकी मौत के बाद बीएचयू प्रबंधन ने उन्हे नियमित किया। नर्सिंग ऑफिसर नियमित करने की मांग पहले दिन से कर रहे हैं। ऐसे में अब उनके परिवार को सीसीएस रूल के तहत सभी योजनाओं का लाभ मिलेगा। उन्हे वेतनमान स्तर-सात पर स्थाई किया गया। है। हालांकि अभी पांच करोड़ रुपए मुआवजा और अनुकंपा नियुक्ति की बात अटकी हुई है।
भाई हुआ अचेत, अस्पताल में भर्ती
धरने के दौरान मंगलवार को खेम सिंह के भाई की तबीयत अचानक बिगड़ गई। उन्हे इमरजेंसी में भर्ती करना पड़ा। खेम सिंह की मां ने कहा कि दो महीना पहले वह मुझसे मिलने गया था। मुझे नहीं पता था कि ये मेरी अंतिम मुलाकात है। उन्होंने कहा कि बेटा दबाव में था। उस पर काम का अधिक लोड था। जिसके कारण उसकी मौत हो गई। पिता भी आईएमएस निदेशक प्रो. एसएन संखवार और सर सुंदरलाल अस्तपाल के एमएस प्रो. केके गुप्ता से मिलने गए थे। उन्होंने मुआवजा, अनुकंपा नौकरी और खेम सिंह को स्थाई करने की मांग की।
चिकित्सा विज्ञान संस्थान को खेम सिंह के परिवार के साथ सहानुभूति है। विश्वविद्यालय स्तर पर जो भी मांग पूरी हो सकती है उसे हम कर रहे हैं। नर्सिंग ऑफिसर से अपील है कि वे काम पर लौट आए। मरीज प्रभावित हो रहे हैं।
प्रो. एसएन संखवार, निदेशक, आईएमएस बीएचएयू
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