बुजदिल हैं, नकारा हैं, क्षत्रियों के नाम पर कलंक, हमले के बाद करणी सेना पर गरजे रामजीलाल सुमन
रामजीलाल सुमन हमले के बाद करणी सेना पर खूब बरसे। उन्होंने कहा कि बुजदिल हैं, नकारा हैं, क्षत्रियों के नाम पर कलंक हैं। क्षत्रियों का धर्म है कि गरीबों की रक्षा करना है।

रामजीलाल सुमन हमले के बाद करणी सेना पर खूब गरजे। उन्होंने कहा कि बुजदिल हैं, नकारा हैं, क्षत्रियों के नाम पर कलंक हैं। क्षत्रियों का धर्म है कि गरीबों की रक्षा करना है। बगल में भरतपुर के राजा सूरजमल अंग्रेजों से लड़े। कभी किसी गरीब की गर्दन नहीं काटी। ये तथाकथित सेनाएं हैं। उनसे मेरा आग्रह है कि पाकिस्तान में जाकर आतंकियों से लड़ें। तुम करणी सेना हो और तुम्हारे अंदर अगर जज्बा है तो पाकिस्तान जाओ और वहां जाकर जौहर दिखाओ। नहीं तुमको माना जाएगा तुमसे बड़ा नकरा कोई नहीं।
गभाना में अपने काफिले पर हमले के बाद सपा सांसद रामजीलाल सुमन ने सरकार पर बड़ा आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि सरकार जान-बूझकर उनकी हत्या कराना चाहती है। सुनियोजित षड्यंत्र के तहत उन पर जानलेवा हमला किया गया।
एक बयान में सांसद सुमन ने कहा कि राष्ट्रीय अध्यक्ष के निर्देश पर बुलंदशहर के सुनहरा गांव जा रहे थे। गभाना टोल के पास ही करणी सेना के लोग घात लगाए बैठे थे। गाड़ियों पर टायर, काला तेल, स्याही, ईंट पत्थर फेंके गए। कई गाड़ियां क्षतिग्रस्त हुईं। यह जानलेवा हमला था। ऐसा लगता है कि सरकार जान-बूझकर उनकी हत्या कराना चाहती है। सुमन ने कहा कि तीन दिन पहले तय था कि उन्हें बुलंदशहर जाना है। पुलिस-प्रशासन के साथ खुफिया तंत्र को पता था। हाथरस और अलीगढ़ को भी जानकारी थी। इसके बाद भी सुनियोजित षड्यंत्र के तहत हमला किया गया। उत्तर प्रदेश में जिस तरह के तत्वों को शह और संरक्षण मिल रहा है, इससे अनुमान लगाया जा सकता है कि प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति क्या है।
प्रतिपक्ष का राजनीति करना मुश्किल
सांसद सुमन ने कहा कि 12 अप्रैल को आगरा में तलवारें, असलाह लहराए गए। प्रशासन ने उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की। इससे उनके हौसले बुलंद हुए। प्रशासन ने जिन शर्तों के साथ अनुमति दी थी, उनको तोड़ा गया। इसका सीधा मतलब है कि शासन निरंकुश हो गया है। जान-बूझकर ऐसे हालात पैदा किए जा रहे हैं जहां अराजकता हो, कानून और संविधान का राज न हो। जिस प्रकार की स्थिति है उसमें प्रतिपक्ष का राजनीति करना मुश्किल हो जाएगा।
हकीकत छुपाने को बुलंदशहर जाने से रोका
गभाना टोल पर विरोध के बीच काफिला रोकने पर सपा सांसद रामजीलाल सुमन ने कहा कि प्रदेश में दलितों पर अत्याचार की बाढ़ आ गई है। जंगलराज व्याप्त है। रोकथाम के कोई इंतजाम नहीं हैं। प्रशासन कहता है कि हमने कार्रवाई की। लेकिन, वह नाकाफी हैं। कार्रवाई ऐसी होनी चाहिए, जिससे ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो। मुख्यमंत्री कहते हैं कि प्रदेश में अमन चैन है। लेकिन, असल में कानून व्यवस्था की स्थिति ठीक नहीं है। इसके लिए सरकार जिम्मेदार है। किसी भी मामले में मुकदमा दर्ज नहीं हुआ। अगर मुकदमा लिख जाता तो इस प्रकार की घटना नहीं होती। हम बुलंदशहर जाना चाहते थे। लेकिन, स्थानीय प्रशासन ने हमें जानबूझकर व जबरन रोक लिया, ताकि जमीनी हकीकत सामने न आ जाए। रास्ते में कुछ असामाजिक तत्वों ने गाड़ियों पर पथराव किया। उन्होंने सवाल उठाए कि आखिर पुलिस प्रशासन क्या कर रहा था। एलआईयू कहां थी। क्या कोई ऐहतियात बरता गया।