मुलायम के जाने के बाद मैनपुरी ने पूरी की उनकी सबसे बड़ी इच्छा, अखिलेश-शिवपाल और रामगोपाल को सौंपा जिम्मा
मैनपुरी ने मुलायम की सबसे बड़ी अधूरी इच्छा भी पूरी कर दी और आगे का जिम्मा अखिलेश, शिवपाल और रामगोपाल पर डाल दिया। यह इच्छा थी परिवार के एका की। गुजरे 7 साल में परिवार ने कई उतार-चढ़ाव देखे हैं।
Mainpuri By-election 2022: देश की सियासत में सपा के संस्थापक मुलायम सिंह यादव का कद बहुत बड़ा था और मैनपुरी से उनका रिश्ता बेहद खास। यही वजह रही कि इस साल 10 अक्टूबर को उनके निधन के बाद मैनपुरी में घर-घर शोक मना और जब मौका अपना नया सांसद चुनने का आया तो मैनपुरी की जनता ने मुलायम की बहू डिंपल को रिकॉर्ड मतों से जिताकर लोकसभा में भेज दिया। लेकिन इसके साथ मैनपुरी ने मुलायम की सबसे बड़ी अधूरी इच्छा भी पूरी कर दी और आगे का जिम्मा अखिलेश, शिवपाल और रामगोपाल यादव पर डाल दिया। यह इच्छा थी परिवार के एका की।
गुजरे सात साल में शिवपाल और अखिलेश यादव के रिश्तों में कई उतार चढ़ाव आए। कभी दूर हुए। कभी पास आए। कभी तंज किया कभी शिकायत तो कभी परिवार के एका पर जोर....पर अब लगता है कि एकजुटता का फायदा दिखने पर चाचा भतीजे ने पूरी तरह साथ चलने का मन बना लिया है। मुलायम को इस एका का बहुत इंतजार था वह खुद इसे नहीं देख पाए पर उनके जाने के बाद अब पूरा परिवार एक हो गया दिखता है।
इसका संकेत इस बात से मिलता है कि शिवपाल ने अपनी उस पार्टी का विलय कर दिया जो उन्होंने सपा से अलग होकर 2018 में बनाई थी। इसी पार्टी के जरिए वह 2019 का लोकसभा चुनाव लड़े। तल्खी का दौर तब धीमा होता गया, जब नेताजी दिवंगत हो गए। उस शोक की घड़ी में शिवपाल ने छोटे भाई और चाचा का फर्ज निभाया तो अखिलेश भी उस दुख की घड़ी में चाचा के नजदीक दिखे। खास बात यह है कि शिवपाल के साथ आने के साथ ही अखिलेश के दूसरे चाचा और पार्टी में प्रोफेसर साहब के नाम से मशहूर रामगोपाल यादव भी परिवार के एका के पक्ष में दिखते हैं। उन्होंने भी मैनपुरी में नामांकन से लेकर प्रचार तक परिवार की एकता की बात की और नतीजे आने के बाद 2024 में भी सपा गठबंधन की मजबूती दिखने का ऐलान किया।
नेता प्रतिपक्ष बन सकते हैं शिवपाल
अगर सब कुछ सही रहा तो शिवपाल यादव को विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष बनाया सकता है। यह पद अभी अखिलेश यादव खुद संभाले हुए हैं। माना जा रहा है कि अखिलेश यादव अब कन्नौज से लोकसभा चुनाव लड़ेंगे। डिंपल यादव मैनपुरी से पहली महिला सांसद बनीं हैं। वह स्वाभाविक तौर पर मैनपुरी में फिर लड़ेंगी। ऐसे में सपा विधानसभा में शिवपाल यादव को यह जिम्मेदारी सौंप सकती हैं। शिवपाल विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष पहले भी रह चुके हैं।
अखिलेश बोले-चाचा की होगी बड़ी भूमिका
सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा है कि चाचा शिवपाल की पार्टी में बड़ी भूमिका होगी। उनके साथ में आने से अब समाजवादी आंदोलन को और मजबूती मिलेगी।