अस्पताल में लगातार आ रहे बुखार से पीड़ित मरीज

संतकबीरनगर जिले के अस्पतालों में बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। जिला अस्पताल में प्रतिदिन 300 से 350 मरीज आ रहे हैं। डॉक्टरों ने परिवार के अन्य सदस्यों को संक्रमण से...

Newswrap हिन्दुस्तान, संतकबीरनगरThu, 19 Sep 2024 08:20 AM
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संतकबीरनगर, हिन्दुस्तान टीम। संतकबीरनगर जिले के अस्पतालों में लगातार बुखार से पीड़ित मरीज आ रहे हैं। मौसम में बदलाव व गर्मी कम होने के बावजूद भी सिर दर्द, बेचैनी व बुखार के मरीजों की संख्या में गिरावट नहीं आ रही है। सिर्फ जिला अस्पताल में प्रतिदिन 300 से 350 बुखार के मरीज इलाज के लिए पहुंच रहे हैं। अगर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र व पीएचसी पर उपचार कराने वाले मरीजों की संख्या जोड़ी जाय तो हर दिन लगभग एक हजार सिर्फ बुखार, बदन दर्द व खांसी के मरीज पहुंच रहे हैं। इन मरीजों में से दस प्रतिशत मरीजों को भर्ती करने की भी जरूरत पड़ रही है।

जिला संयुक्त चिकित्सालय में उपचार कराने वाले मरीजों की भीड़ लग रही है। सबसे अधिक भीड़ फिजीशयन चिकित्सक कक्ष के पास लग रही है। यहां पर बुखार, बदन दर्द व खांसी के मरीजों की संख्या ज्यादा रहती है। चिकित्सक इन मरीजों को देखने के बाद ब्लड जांच के लिए पैथोलॉजी भेजते रहे। लेकिन मरीजों को जांच रिपोर्ट लेने में पसीने छूट रहे थे।

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घर के हर सदस्य हो रहे बीमार

जिला अस्पताल के फिजीशियन डा. रमाशंकर सिंह ने बताया कि इस मौसम में अगर परिवार के एक सदस्य को वायरल बुखार होता है तो अन्य लोग भी वायरल से संक्रमित हो जाते हैं। इससे बचाव का बेहतर विकल्प है कि अगर कोई बुखार या वायरल से बीमार होता है तो उससे परिवार के अन्य सदस्य उचित दूरी बनाए। स्वस्थ होने तक मास्क का प्रयोग करें। विशेष तौर पर साफ-सफाई का ध्यान रखें। सामान्य बुखार तीन से चार दिन में ठीक हो जाता है। इस दौरान शरीर में पानी की कमी न होने पाए, इसलिए अधिक से अधिक तरल पदार्थ लेना चाहिए।

[10:18, 19/09/2024] Rajesh G Snt Ht: लाइव के लिए :

सुबह से निकली चटक धूप के साथ बढ़ी उमस

संतकबीरनगर, हिन्दुस्तान टीम।

संतकबीरनगर जिले में गुरुवार को सुबह से ही चटख धूप निकली। वातावरण पूरी तरह से साफ रहा। इसकी वजह से तापमान में भी इजाफा हुआ। हवाएं तीव्र गति से पुरवा चलती रहीं। नतीजतन घर के बाहर लोगों के गर्मी का एहसास नहीं हो रहा था।

अश्विन मास गुरुवार से शुरू हो गया है। यहीं से बारिश का उत्तरायण भी शुरू हो जाता है। गुरुवार का बदला मौसम यह एहसास करा रहा है कि बारिश लगभग समाप्त हो चुकी है। मौसम साफ होने के बाद लोगों ने अपने जरूरी काम काज निपटा रहे हैं। रबी की तैयारी के लिए किसान जुट रहे हैं। ऊंचे स्थान वाले खेतों में लाही के बुवाई की तैयारी हो रही है। तेज धूप निकलने से फसलों के लिए इसे बेहतर माना जा रहा है। धूप की मौजूदगी में पौधे अपना बेहतर भोजन बनाते हैं।

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