अयोध्या की मिल्कीपुर में चंद्रशेखर के दांव से अखिलेश को लगेगा झटका! अवधेश के करीबी को उतारा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव के लिए अयोध्या की मिल्कीपुर सीट का उपचुनाव प्रतिष्ठा का सवाल बना हुआ है। इस बीच अखिलेश यादव की मुश्किलें भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद ने बढ़ा दी हैं। चंद्रशेखर आजाद ने मिल्कीपुर से सूरज चौधरी को टिकट देकर मैदान में उतार दिया है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव के लिए अयोध्या की मिल्कीपुर सीट का उपचुनाव प्रतिष्ठा का सवाल बना हुआ है। इस बीच अखिलेश यादव की मुश्किलें भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद ने बढ़ा दी हैं। चंद्रशेखर आजाद ने मिल्कीपुर से सूरज चौधरी को टिकट देकर मैदान में उतार दिया है। सूरज चौधरी कुछ समय पहले तक समाजवादी पार्टी के ही नेता थे। उनकी गिनती अयोध्या से सांसद अवधेश प्रसाद के करीबियों में भी होती थी। सूरज भी मिल्कीपुर से टिकट के दावेदार भी थे। लेकिन जब अखिलेश यादव ने अवधेश प्रसाद के बेटे को टिकट दिया तो सूरज बगावत करके चंद्रशेखर आजाद की आजाद पार्टी में शामिल हो गए थे। सूरज ने पिछले दिनों उन्होंने आजाद पार्टी का एक बड़ा सम्मेलन भी यहां कराया था।
मिल्कीपुर से विधायक रहे सपा ने अवधेश प्रसाद के अयोध्या से सांसद बनने के कारण यहां उपचुनाव हो रहा है। सपा ने अवधेश प्रसाद के बेटे अजीत प्रसाद को बहुत पहले ही प्रत्याशी घोषित कर दिया था। लंबे समय से वह प्रचार में भी जुटे हुए हैं। इस बीच मंगलवार को भाजपा ने अवधेश प्रसाद के जातिगत पासी वोटरों में सेंघमारी के लिए इसी बिरादरी से आने वाले चंद्रभानू को टिकट देकर सपा का खेल बिगाड़ने की कोशिश की कर दी है। अब चंद्रशेखर के आने और सपा के ही बागी के उतरने से सपा को झटका लगने की चर्चा आम हो गई है।
इस सीट को सपा से छीनने के लिए खुद सीएम योगी ने यहां का प्रभार अपने पास रखा है। कई मंत्रियों को पहले ही यहां उतारा गया है। पिछले महीनों में सीएम योगी ने कई दौरे भी यहां के किए हैं। भाजपा की कोशिश मिल्कीपुर जीत कर अयोध्या लोकसभा सीट हारने का बदला लेना है। पिछले महीने हुए नौ में से सात सीटों का उपचुनाव जीतकर भाजपा पहले ही सपा को बड़ी चुनौती दे चुकी है। मिल्कीपुर में 17 जनवरी को नामांकन की अंतिम तारीख है। 5 फरवरी को यहां वोटिंग और 8 फरवरी को रिजल्ट आएगा।