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एम्स में बिना लाइसेंस के चल रही पांच कैंटीन बंद कराई

फोटो- ------- - एसडीएम और खाद्य सुरक्षा तथा औषधि विभाग के छापे में हुआ

Newswrap हिन्दुस्तान, गोरखपुरThu, 12 Sep 2024 08:24 PM
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गोरखपुर, कार्यालय संवाददाता। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में चल रही कैंटीन में खाने में कीड़े मिलने के बाद गुरुवार को एसडीएम सदर दीपक सिंह के नेतृत्व में खाद्य सुरक्षा एवं औषधि विभाग की संयुक्त टीम जांच के लिए पहुंची थी। टीम को जांच के दौरान टीम को कैंटीन चलाने के एक भी कागजात जिम्मेदार नहीं दिखा सके। अचानक हुई छापेमारी में कैंटीन में हर जगह अनियमितता मिली। टीम ने दो कैंटीन से सैंपल लेकर प्रयोगशाला में जांच की बात कही है। कागजात और लाइनेंस न दिखाने पर सभी कैंटीन को अग्रिम आदेश तक बंद कर दिया गया है।

एम्स के इन और आउट एरिया में पुष्पा फूड सेंटर के नाम से पांच कैंटीन संचालित की जा रही है। इनका संचालन दिल्ली निवासी सूरज सिंह, राकेश दूबे और अमरनाथ कश्यप जेम पोर्टल के जरिए मिले लाइसेंस के आधार पर करते हैं। इसी साल जुलाई में कार्यकारी निदेशक व सीईओ की मौजूदगी में कैंटीन का शुभारंभ किया गया था। वर्तमान में एम्स की ओपीडी, प्रशासनिक भवन व प्रशासनिक भवन के सटे के अलावा गेट नंबर-दो व नर्सिंग होस्टल के पास कुल पांच कैंटीन चलाई जा रही है। कैंटीन में खाने की गुणवत्ता को लेकर कई बार शिकायतें मिल चुकी है। खाने में कीड़े, पराठे में कीड़े मिलने के साथ एक्सपायरी डेट की नमकीन से लेकर पानी बेचे जाने की भी शिकायत बुधवार को आई थी। इसके बाद एम्स के निदेशक ने डीएम को मामले को अवगत कराया।

डीएम के निर्देश पर एसडीएम सदर दीपक सिंह खाद्य विभाग की टीम के साथ गुरुवार दोपहर में छापेमारी की। टीम ने पहले प्रशासनिक भवन की कैंटीन पर छापा मारा। इसके बाद टीम ओपीडी कैंटीन में पहुंची। यहां खाने की गुणवत्ता बेहतर नहीं मिली। इस बीच जैसे ही टीम प्रशासनिक भवन से सटे कैंटीन पर पहुंची। वहां सना आटा पॉलिथीन में फर्श पर रखा हुआ मिला। उसके आसपास धूल की गदंगी थी। तेल, मसाला, ग्रेवी, घी सब्जी अनहाइजनिक तरीके से रखे गए थे। एम्स जैसे स्वास्थ्य संस्थान के कैंटीन की इस तरह की हालत देखकर अधिकारी भी सकते में आ गए।

टीम ने आंटा, पनीर, मसाला और ग्रेवी का लिया सैंपल : छापे के दौरान खाद्य विभाग की टीम ने पुष्पा कैंटीन के किचेन से गूथे आंटा, फ्रीज में रखे पनीर, समोसा मसाला व तैयार ग्रेवी का नमूना संग्रह कर सील बंद कर ले लिया। सभी सैंपल जांच के लिए प्रयोगशाला भेजी जाएंगी।

कैंटीन संचालन का नहीं दिखा सके कागजात

जब खाद्य टीम ने कैंटीन मैनेजर इन्द्रेश पाठक से कैंटीन संचालन के कागजात एवं लाइसेंस मांगा तो वह मौके पर कोई कागजात नहीं दिखा पाए। पूछताछ में पता चला कि फर्म दिल्ली के पते के लाइसेंस पर चलाई जा रही है। इस दौरान मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी एचएम त्रिपाठी ने अनियमितताएं देखते हुए मैनेजर पर नाराजगी व्यक्त की। अधिकांश कर्मचारी अप्रशिक्षित मिले। बताया कि मामले में सुसंगत धाराओं में कार्रवाई की जाएगी।

अग्रिम आदेश तक कैंटीन के संचालन पर रोक

एसडीएम सदर दीपक सिंह ने बताया कि पुष्पा फूड सेंटर में मिले भारी अनियमितता तथा कागजात के अभाव में अगले आदेश तक सभी पांचों कैंटीन के संचालन पर रोक लगा दी गई है। एसडीएम ने बताया कि एम्स जैसे बड़े स्वास्थ्य संस्थान में बिना लाइसेंस के इतना बड़ा कैंटीन कैसे चल रहा था यह समझ से परे हैं। तीन माह के कार्यकाल में इसकी लगातार जांच होनी चाहिए थी, जो नहीं की गई। कहीं न कहीं एम्स प्रशासन की यह चूक है।

पानी व खाने के लिए तरस गए डॉक्टर और तीमारदार

इस बीच जैसे ही टीम कैंटीन में जांच के लिए पहुंची, वैसे ही सभी डॉक्टर और तीमारदारों को कैंटीन से बाहर कर दिया गया। इसके बाद से डॉक्टर और तीमारदार पानी और खाने के लिए तरस गए। बताया जा रहा है कि सबसे अधिक दिक्कत रात में ड्यूटी पर तैनात डॉक्टरों को हुई है। रात में किसी तरह उन्होंने बाहर से खाने के लिए सामान मंगवाया।

एम्स में सभी कैंटीन की जांच प्रशासन स्तर से की गई है। सभी कैंटीन बंद कर दी गई हैं। प्रशासन ने कैंटीन से कई तरह के सैंपल लिए हैं। कैंटीन में खाने को लेकर कई बार शिकायतें आई थी। इसकी जानकारी फर्म को दी गई थी। लेकिन, इसके बाद भी सुधार नहीं हो रहा था। मामले में एम्स भी अपने स्तर से पत्राचार करेगा।

- डॉ.अरुप मोहंती, मीडिया प्रभारी, एम्स

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