Hindi Newsपंजाब न्यूज़Several farmer leaders taken into custody by Police in Sangrur and Barnala

पंजाब में किसानों पर पुलिस ऐक्शन, पक्का मोर्चा से पहले हिरासत में लिए गए कई नेता

  • पुलिस ने बीकेयू डकोंडा के राज्य अध्यक्ष मनजीत सिंह धनेर के घर पर भी छापेमारी की, लेकिन उनके वहां न मिलने के कारण गिरफ्तारी नहीं हो सकी।

Amit Kumar हिन्दुस्तान टाइम्स, संवाददाता, चंडीगढ़Tue, 4 March 2025 08:47 AM
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पंजाब में किसानों पर पुलिस ऐक्शन, पक्का मोर्चा से पहले हिरासत में लिए गए कई नेता

चंडीगढ़ में किसानों द्वारा घोषित 'पक्का मोर्चे' से एक दिन पहले, पंजाब के बरनाला और संगरूर जिलों में पुलिस ने कई किसान नेताओं को हिरासत में ले लिया है। यह कार्रवाई चंडीगढ़ में चल रहे विरोध प्रदर्शन के आयोजन में शामिल किसान नेताओं के घरों पर की गई छापेमारी के बाद हुई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार, पुलिस ने विभिन्न किसान संगठनों के प्रमुख नेताओं को गिरफ्तार किया है।

इन नेताओं पर पुलिस का ऐक्शन

इनमें भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) कादियां के जिला अध्यक्ष जगसीर सिंह चीनीवाल, बीकेयू उग्रहां के राज्य नेता सिकंदर सिंह मान, क्रांतिकारी किसान यूनियन के मास्टर हरदीप सिंह तल्लेवाल, और केकेयू के जिला नेता मनजीत राज शामिल हैं। इसके अलावा, बीकेयू डकोंडा के ब्लॉक अध्यक्ष जगसीर सिंह सीरा को भी हिरासत में लिया गया है।

पुलिस ने बीकेयू डकोंडा के राज्य अध्यक्ष मनजीत सिंह धनेर के घर पर भी छापेमारी की, लेकिन उनके वहां न मिलने के कारण गिरफ्तारी नहीं हो सकी। संगरूर जिले में भी पुलिस की बड़ी कार्रवाई देखने को मिली। किसान आंदोलन के प्रमुख नेताओं में शामिल जोगिंदर उग्रहां के घर पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया था, लेकिन उनके वहां न मिलने के कारण पुलिस उन्हें हिरासत में नहीं ले पाई।

संगठनों में भारी आक्रोश

इस पुलिस कार्रवाई के बाद किसान संगठनों में भारी आक्रोश देखा जा रहा है। किसान नेताओं का कहना है कि सरकार आंदोलन को कुचलने के लिए दमनकारी नीतियां अपना रही है।

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इससे पहले किसानों की मांगों पर चर्चा के लिए पंजाब सरकार और संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेताओं के बीच सोमवार को वार्ता बीच में ही टूट गई। किसान नेताओं ने दावा किया कि (पंजाब के) ‘नाराज’ मुख्यमंत्री भगवंत मान ‘बिना किसी उकसावे के बैठक से चले गए।’ हालांकि, मान ने कहा कि किसानों से बातचीत के लिए उनके दरवाजे हमेशा खुले हैं, लेकिन आंदोलन के नाम पर जनता के लिए असुविधा और परेशानी खड़ी करने से बचा जाना चाहिए।

मुख्यमंत्री के साथ दो घंटे तक चली बैठक बेनतीजा रहने के बाद संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेताओं ने पांच मार्च से यहां एक सप्ताह तक धरना देने की अपनी योजना पर आगे बढ़ने की घोषणा की। पंजाब सरकार ने एसकेएम नेताओं को उनके नियोजित विरोध प्रदर्शन से पहले यहां पंजाब भवन में मुख्यमंत्री के साथ बैठक के लिए आमंत्रित किया था।

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