अब गुजरात तट से सिर्फ 170 KM दूर 'बिपरजॉय', IMD ने जारी किया रेड अलर्ट; जानें- क्या दी है चेतावनी?
Cyclone Red Alert: सौराष्ट्र और कच्छ के तटों के लिए एक रेड अलर्ट जारी किया है, जिसमें अधिकारियों को सड़कों,खड़ी फसलों और घरों के नुकसान के साथ-साथ बिजली आपूर्ति, संचार और रेलवे में व्यवधान की आशंका है
Cyclone Biparjoy Red Alert: अरब सागर में उठा चक्रवाती तूफान 'बिपरजॉय' 115 से 125 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गुजरात की ओर बढ़ रहा है। फिलहाल यह गुजरात के कच्छ तट से करीब 170 किलोमीटर ही दूर रह गया है। गुजरात के जखाऊ बंदरगाह से टकराने में अब कुछ ही घंटे रह गए हैं। हालांकि, अभी भी वहां तेज हवा और बारिश का दौर जारी है। इस बीच भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने रेड अलर्ट का मैसेज जारी किया है और सरकारी एजेंसियों को भारी बारिश और बहुत तेज हवा के प्रभाव से बचने की तैयारियों को लेकर सचेत किया है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग के प्रमुख मृत्युंजय महापात्र ने संवाददाताओं से कहा, "अत्यंत गंभीर चक्रवाती तूफान 'बिपरजॉय' के आज शाम जखाऊ बंदरगाह से टकराने की संभावना है। फिलहाल यह लगभग 170 किमी दूर है। इसकी 'लैंडफॉल' प्रक्रिया शाम से शुरू होगी और रात तक जारी रहेगी।"
IMD का रेड अलर्ट: IMD ने सौराष्ट्र और कच्छ के तटों के लिए एक रेड अलर्ट जारी किया है, जिसमें अधिकारियों को सड़कों, खड़ी फसलों और घरों के नुकसान के साथ-साथ बिजली आपूर्ति, संचार और रेलवे में व्यवधान की आशंका है। अइस बीच, अधिकारियों ने बताया कि चक्रवात के बृहस्पतिवार शाम तक गुजरात तट से टकराने और क्षेत्र में तेज हवाओं के साथ भारी बारिश होने की आशंका के मद्देनजर संवेदनशील इलाकों से 74,000 से अधिक लोगों को निकाला गया है, जिनमें कच्छ में समुद्र के किनारे से शून्य और 10 किमी के बीच के 120 गांवों के निवासी शामिल हैं।
आईएमडी के अनुसार, बिपारजॉय के अधिकतम 150 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली हवाओं के साथ एक 'बहुत गंभीर चक्रवाती तूफान (वीएससीएस)' के रूप में जखाऊ बंदरगाह के पास टकराने का अनुमान है। मई 2021 में तौकते चक्रवात के बाद गुजरात से टकराने वाला यह दूसरा चक्रवात होगा।
चक्रवात को लेकर चेतावनी:
आईएमडी प्रमुख ने कहा,"चक्रवात विनाशकारी प्रभाव लाता है। इसकी वजह से वृक्ष और शाखाएं गिरने की आशंका है और छोटी संरचनाएं,जैसे छप्पर, मिट्टी या टीन के घर या एसबेस्टस वाले घरों को गंभीर नुकसान पहुंचने की आशंका है। इसके अलावा तटीय जिलों में ज्वार की लहरें और तेज हवाओं के साथ भारी बारिश की भी संभावना है।"
भारी बारिश का अनुमान
आईएमडी ने कहा है कि गुजरात के कच्छ, देवभूमि द्वारका और जामनगर जिलों में अगले कुछ घंटों में बेहद भारी वर्षा होने की संभावना के साथ तट के पास तूफान के रूप में बारिश की तीव्रता बढ़ जाएगी। सुबह 8.30 बजे के अपडेट में जखाऊ से लगभग 170 किमी पश्चिम-दक्षिण पश्चिम में बिपारजॉय था, जिसके शाम 4 से 8 बजे के बीच सौराष्ट्र और कच्छ को पार करने की संभावना है।
मौसम विभाग ने कहा है कि पोरबंदर, राजकोट, मोरबी और जूनागढ़ जिलों में कुछ स्थानों पर भारी से बहुत भारी वर्षा हो सकती है, जबकि सौराष्ट्र और उत्तरी गुजरात में भारी से बहुत भारी वर्षा होगी। बिपरजॉय से पाकिस्तान के मांडवी और कराची तटों पर भी असर पड़ने की आशंका जताई गई है।
बाढ़ की चेतावनी
IMD ने सौराष्ट्र और कच्छ तटों के साथ-साथ समुद्री जल स्तर को लेकर भी चेतावनी जारी की है और कहा है कि चक्रवाक ते दौरान और बाद तक समंदर में ऊंची लहरें उठ सकती हैं और इससे तटीय इलाकों में बाढ़ आ सकती है। विभाग ने कहा है कि शुक्रवार तक ऐसी ही दशा रह सकती है।
आईएमडी ने गुजरात में कच्छ, देवभूमि द्वारका, पोरबंदर, जामनगर और मोरबी जिलों में भी तूफान के बढ़ने की चेतावनी दी है, और कुछ स्थानों पर समुद्री ज्वार के बाद निचले इलाकों में बाढ़ आने की आशंका जताई है।
निकासी प्रक्रिया
गुजरात के राहत आयुक्त आलोक पांडे ने कहा कि तटीय इलाकों से लोगों को निकालने का काम पूरा कर लिया गया है। गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री ऋषिकेश पटेल ने कहा कि कच्छ जिले में तट से शून्य से पांच किलोमीटर की दूरी में 72 गांव, जबकि तट से पांच से 10 किलोमीटर के दायरे में 48 गांव स्थित हैं। मंत्री ने कहा, ''हमने इन तटीय गांवों से लगभग 40,000 लोगों को निकालकर सुरक्षित जगह पहुंचाया है।''
गुजरात सरकार ने बताया कि अब तक आठ तटीय जिलों-कच्छ, जामनगर, मोरबी, राजकोट, देवभूमि द्वारका, जूनागढ़, पोरबंदर और गिर सोमनाथ में 74,345 लोगों को अस्थायी आश्रय शिविरों में ले जाया गया है।
NDRF की क्या तैयारी
सरकार के मुताबिक, एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल) की 15 टीम, एसडीआरएफ (राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल) की 12 टीम, राज्य सड़क एवं भवन विभाग की 115 टीम और राज्य बिजली विभाग की 397 टीम विभिन्न तटीय जिलों में तैनात की गई हैं। अधिकारियों ने बताया कि स्थानीय प्रशासन और पुलिस के अलावा, एनडीआरएफ की चार टीम और एसडीआरएफ, सेना, तटरक्षक बल तथा बीएसएफ (सीमा सुरक्षा बल) की पांच टीम चक्रवात के बाद राहत एवं बचाव कार्यों के लिए तैयार हैं।
उन्होंने कहा, ''चक्रवात के बाद के काम जैसे बिजली आपूर्ति, मोबाइल नेटवर्क और अन्य बुनियादी ढांचे की बहाली के लिए हमने विस्तृत व्यवस्था की है।'' इस बीच, देवभूमि द्वारका के प्रसिद्ध द्वारकाधीश मंदिर और गिर सोमनाथ के सोमनाथ मंदिर को बृहस्पतिवार को दर्शनार्थियों के लिए बंद रखने का फैसला किया गया है।
आईएमडी ने कहा कि चक्रवात की दस्तक के दौरान समुद्र में खगोलीय ज्वार से लगभग दो-तीन मीटर ऊंची तूफानी लहरें उठने के कारण प्रभावित जिलों के निचले इलाकों में पानी भरने की संभावना है। विभाग के अनुसार, कुछ जगहों पर तीन से छह मीटर ऊंची लहरें उठ सकती हैं।
पश्चिम रेलवे ने कहा है कि यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एहतियात के तौर पर 76 ट्रेन को रद्द कर दिया गया है, जबकि 36 को बीच रास्ते में समाप्त कर दिया गया है और 31 को चुनिंदा स्टेशन पर संचालित करने का फैसला लिया गया है।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।