सावधान! क्या आप भी यूज कर रहे HPZ Token ऐप, निवेशकों से धोखाधड़ी में ED ने कुर्क की 278 करोड़ की संपत्ति
ED Action: मामले में प्रवर्तन निदेशालय ने इससे पहले 2022 में 26 और इस साल 18 जगहों पर तलाशी ली थी। मामले में अब तक, कुल आय 455.37 करोड़ रुपये की वसूली धोखाधड़ी से जालसाजों ने की है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने विभिन्न संस्थाओं की 278 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति कुर्क की है। ये कार्रवाई निवेशकों के साथ कथित धोखाधड़ी के मामले में मनी-लॉन्ड्रिंग जांच के दौरान की गई है। इसमें चीन से संबंध रखने वाले संस्थानों को भी शामिल किया गया है। ईडी के अनुसार, ये संस्थाएं "HPZ Token" नामक मोबाइल फोन-आधारित ऐप के माध्यम से निवेशकों को धोखा दे रही थीं। ईडी ने पहले मामले में 176.67 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की थी।
ईडी की जांच कथित तौर पर नागालैंड की राजधानी कोहिमा में साइबर अपराध पुलिस स्टेशन द्वारा 2021 में दर्ज की गई पहली सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) पर आधारित है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि बिटकॉइन में निवेश पर भारी रिटर्न के झूठे वादे पर हजारों निवेशकों को धोखा दिया गया था। जांच एजेंसी के मुताबिक, इस उद्देश्य के लिए "एचपीजेड टोकन" ऐप का इस्तेमाल किया गया था।
पैसे दोगुना करने का देते था झांसा
ईडी ने बताया है कि जालसाज निवेशकों को एचपीजेड टोकन ऐप के माध्यम से निवेश करने को कहते थे और लोभ देते थे कि कंपनी में किया गया उनका निवेश दोगुना रिटर्न देगा। इसी तरह, ऑनलाइन गेमिंग और सट्टेबाजी के लिए भी धोखाधड़ी से निवेशकों से पैसा लगवाते थे। एजेंसी के अधिकारियों के मुताबिक, "57,000 रुपये के निवेश पर तीन महीने तक प्रतिदिन 4,000 रुपये का रिटर्न देने का वादा किया जाता था, लेकिन निवेशकों को पैसे का भुगतान सिर्फ एक बार किया गया और उसके बाद नए फंड की मांग की गई।"
ईडी ने कहा है कि धोखेबाजों और जालसाजों ने डमी निदेशकों/मालिकों वाली विभिन्न शेल कंपनियों के खाते विभिन्न बैंकों में खोले गए और मर्चेंट आईडी बनाई गई थी ताकि अवैध ऑनलाइन गेमिंग, सट्टेबाजी और बिटकॉइन निवेश से प्राप्त धनराशि को धोखाधड़ी कर दूसरे खातों में ट्रान्सफर किया जा सके या उसे रोटेट किया जा के।
इस मामले में ईडी ने इससे पहले 2022 में 26 और इस साल 18 जगहों पर तलाशी ली थी। मामले में अब तक, कुल आय 455.37 करोड़ रुपये की वसूली धोखाधड़ी से जालसाजों ने की है।