चर्च में घुसा और जय श्री राम के लगाए नारे, मजाकिया तरीके से गाए गैर-ईसाई गीत; फैला तनाव
- एफआईआर में कहा गया, ‘आकाश सागर वेदी क्षेत्र में घुस आया और गैर-ईसाई नारे लगाए। उसने मजाकिया तरीके से गैर-ईसाई गीत गाए। यह जानबूझकर और वीडियो में दिखाई देने वाले 2 अन्य लोगों के साथ मिलीभगत से किया गया था।’
मेघालय में चर्च के अंदर ‘जय श्री राम’ के नारे लगाने का मामला सामने आया है। सामाजिक कार्यकर्ता एंजेला रंगड़ ने सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर आकाश सागर के खिलाफ इसे लेकर एफआईआर दर्ज कराई है। उस पर एपिफेनी चर्च में आपराधिक रूप से घुसपैठ करने और जानबूझकर चर्च की धार्मिक पवित्रता को भंग करने के आरोप लगा है। रंगड़ ने गुरुवार को लैतुमखरा थाने में दर्ज प्राथमिकी में कहा कि उन्हें फेसबुक और इंस्टाग्राम पर सागर के वीडियो मिले, जिसमें वह पूर्व नियोजित तरीके से चर्च की धार्मिक पवित्रता को भंग करते हुए दिखाई दे रहे हैं।
एफआईआर में कहा गया, 'आकाश सागर वेदी क्षेत्र में घुस आया और गैर-ईसाई नारे लगाए। उसने मजाकिया तरीके से गैर-ईसाई गीत गाए। यह कृत्य जानबूझकर और वीडियो में दिखाई देने वाले 2 अन्य लोगों के साथ मिलीभगत से किया गया था। सांप्रदायिक विद्वेष पैदा करने, अल्पसंख्यक संस्कृति का अपमान करने और धार्मिक स्वतंत्रता के सभी संवैधानिक अधिकारों का उल्लंघन करने के मकसद से यह हरकत की गई। इससे नफरत की बहुसंख्यक संस्कृति स्थापित करने की कोशिश झलकती है।'
'भय की संस्कृति पैदा करने का प्रयास'
सामाजिक कार्यकर्ता ने कहा, 'यह वीडियो भय की संस्कृति पैदा करता है और सार्वजनिक अव्यवस्था पैदा करने के लिए उत्तरदायी है। इसके अलावा इन वीडियो को धार्मिक बहुसंख्यकवाद और नफरत को बढ़ावा देने वाले हैंडल से साझा किया जा रहा है। मैं आपसे इस आपराधिक कृत्य और आपराधिक साजिश में शामिल व्यक्ति के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई करने की अपील करती हूं। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म से इन वीडियो, उनके निर्माता और इन्हें साझा करने वाले लोगों व समूहों पर प्रतिबंध लगाने के लिए भी कहती हूं। इस व्यक्ति पर मामला दर्ज किया जाना चाहिए। यह सुनिश्चित करने के लिए कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए कि शांति को खतरा पहुंचाने वाले ऐसे आपराधिक कृत्य फिर से न हों।'
तत्काल कार्रवाई करने की अपील
मेघालय में हिंदू धार्मिक संगठनों की शीर्ष संस्था केंद्रीय पूजा समिति ने जानबूझकर चर्च की धार्मिक पवित्रता का उल्लंघन करने और अपमान करने के लिए सागर की निंदा की है। सीपीसी अध्यक्ष नबा भट्टाचार्य ने जिला प्रशासन से मामले की जांच करने और कानून के अनुसार तत्काल कार्रवाई शुरू करने की अपील की। साथ ही, अपराधी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का आग्रह किया गया। उन्होंने कहा, 'मेघालय राज्य में रहने वाले सभी धर्मों के लोगों के बीच धार्मिक सद्भाव को बनाए रखने के लिए देश भर में जाना जाता है। इसे किसी भी कीमत पर किसी व्यक्ति के ऐसे गैर-जिम्मेदाराना कृत्य से प्रभावित नहीं होने दिया जाना चाहिए, जो विभिन्न धर्मों और आस्थाओं के लोगों के बीच अद्वितीय सदियों पुराने भाईचारे को बाधित करता है।'