Hindi Newsदेश न्यूज़Lokayukta Probe team conducts spot investigation in case linked to Karnataka CM Siddaramaiah wife

कर्नाटक CM से जुड़े MUDA घोटाले में ऐक्शन तेज, विवादित भूमि पर उपकरण लेकर पहुंची लोकायुक्त टीम

विवादित भूखंड पर जिस समय जांच टीम पहुंची और जांच की, उस समय इस मामले की शिकायतकर्ता स्नेहमयी कृष्णा भी मौजूद थीं। समाचार एजेंसी ANI ने एक वीडियो साझा किया है, जिसमें दिख रहा है कि लोकायुक्त की टीम भू मापी से जुड़े सामान और उपकरण लेकर विवादित भूखंड पर पहुंची है।

Pramod Praveen लाइव हिन्दुस्तान, मैसुरTue, 1 Oct 2024 03:31 PM
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कर्नाटक लोकायुक्त की टीम ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया और उनकी पत्नी पार्वती बीएम से जुड़े आरोपों की जांच तेज कर दी है। इस सिलसिले में लोकायुक्त की एक जांच टीम मैसूर में विवादित भूखंड पर पहुंची। ये टीम सिद्धरमैया की पत्नी पार्वती बी. एम. द्वारा मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण (MUDA) से आवंटित 14 भूखंडों को लौटाने के फैसले के बाद आई है। यह जांच MUDA द्वारा पार्वती को 14 भूखंडों के आवंटन पर केंद्रित है। इस भूखंड आवंटन ने राज्य की राजनीति में विवाद पैदा कर दिया है।

विवादित भूखंड पर जिस समय जांच टीम पहुंची और जांच की, उस समय इस मामले की शिकायतकर्ता स्नेहमयी कृष्णा भी मौजूद थीं। समाचार एजेंसी ANI ने एक वीडियो साझा किया है, जिसमें दिख रहा है कि लोकायुक्त की टीम भू मापी से जुड़े सामान और उपकरण लेकर विवादित भूखंड पर पहुंची है। इस दौरान जांच टीम ने जमीन की नापी की।

इस बीच मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि उनकी पत्नी पार्वती उनके खिलाफ ‘नफरत की राजनीति’ का शिकार हुई हैं। सिद्धारमैया ने 14 भूखंड लौटाने के पत्नी के कदम पर भी हैरानगी जताई है। उन्होंने कहा कि पार्वती अपने परिवार तक ही सीमित थीं लेकिन नफरत की राजनीति के कारण उन्होंने ‘‘मानसिक यातना’’ झेली। उन्होंने ऑनलाइन किए गए एक पोस्ट में कहा, ‘‘मेरी पत्नी पार्वती ने मैसूर में एमयूडीए के भूमि अधिग्रहण किए बिना जब्त की गई जमीन के मुआवजे के रूप में मिली जमीनें वापस कर दी हैं।’’

सिद्धरमैया ने दावा किया कि राज्य के लोग यह भी जानते हैं कि विपक्षी दलों ने उनके खिलाफ राजनीतिक नफरत पैदा करने के लिए झूठी शिकायत की और उनके परिवार को विवाद में घसीटा। उन्होंने कहा, ‘‘मेरा रुख इस अन्याय के आगे झुके बिना लड़ने का था, लेकिन मेरे खिलाफ चल रही राजनीतिक साजिश से परेशान मेरी पत्नी ने इस जमीन को वापस करने का फैसला किया है, जिससे मैं भी हैरान हूं।’’

सिद्धरमैया ने कहा, ‘‘मेरी पत्नी ने चार दशक के मेरे राजनीतिक जीवन में कभी हस्तक्षेप नहीं किया और अपने परिवार तक ही सीमित रहीं, लेकिन आज वह मेरे खिलाफ नफरत की राजनीति का शिकार हो गईं और मानसिक यातना झेल रही हैं। मैं दुखी हूं। हालांकि, मैं अपनी पत्नी के जमीन वापस करने के फैसले का सम्मान करता हूं।’’

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पार्वती सार्वजनिक रूप से बहुत कम सामने आती हैं। उन्होंने सोमवार को एमयूडीए को पत्र लिखकर अपनी 3.16 एकड़ जमीन के बदले में उन्हें आवंटित 14 भूखंडों को वापस करने की इच्छा जताई, जिसका उपयोग एमयूडीए द्वारा किया गया था। इससे कुछ घंटे पहले प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने लोकायुक्त पुलिस द्वारा उनके खिलाफ दर्ज प्राथमिकी पर संज्ञान लेते हुए एमयूडीए की ओर से उनकी पत्नी को 14 स्थलों के आवंटन में कथित अनियमितताओं को लेकर मुख्यमंत्री के खिलाफ प्रवर्तन मामला सूचना रिपोर्ट (ईसीआईआर) दर्ज की, जो पुलिस की प्राथमिकी के समान होती है।

एमयूडीए जमीन आवंटन मामले में आरोप है कि सिद्धरमैया की पत्नी को मुआवजे के रूप में मैसूर के एक रिहायशी इलाके में जमीन आवंटित की गई थी जिसका मूल्य एमयूडीए द्वारा ‘‘अधिग्रहित’’ उनकी जमीन के संपत्ति मूल्य की तुलना में अधिक था। एमयूडीए ने पार्वती को उनकी 3.16 एकड़ भूमि के बदले में 50:50 अनुपात योजना के तहत भूखंड आवंटित किए थे। (भाषा इनपुट्स के साथ)

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