पाकिस्तान ने अवैध गतिविधियां छिपाने के लिए इस्लाम को बनाया मुखौटा, असदुद्दीन ओवैसी ने खूब लताड़ा
भारत-पाकिस्तान संबंध अभूतपूर्व तनाव के दौर से गुजर रहे हैं। 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले ने दोनों देशों के बीच संकट को गहरा दिया है। भारत ने पाकिस्तान पर हमले को प्रायोजित करने का आरोप लगाया, जिसे पाकिस्तान ने खारिज किया है।

ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने पाकिस्तान पर जमकर निशाना साधा। शुक्रवार को उन्होंने कहा, 'पाकिस्तान यह आसानी से भूल जाता है कि भारत में 23 करोड़ से अधिक मुसलमान रहते हैं। हमारे पूर्वजों ने जिन्ना की ओर से प्रस्तावित 'टू नेशन थ्योरी' को खारिज कर दिया। हमने भारत को अपने देश के रूप में स्वीकार किया और हम यहीं रहेंगे। पाकिस्तान धर्म के नाम पर भारत का विभाजन करना चाहता है। वे भारतीय मुसलमानों, हिंदुओं और अन्य समुदायों के बीच तनाव पैदा करना चाहते हैं। जब वे 'टू नेशन थ्योरी' के बारे में बात करते हैं तो वे अफगानिस्तान सीमा चौकी पर बमबारी क्यों कर रहे हैं, वे ईरानी सीमा चौकी पर बमबारी क्यों कर रहे हैं? पाकिस्तान का डीप स्टेट अपनी सभी अवैध गतिविधियों को छिपाने के लिए इस्लाम को एक मुखौटा के रूप में उपयोग करता आया है।'
असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि पुंछ जो एक सीमावर्ती क्षेत्र है, पाकिस्तानी सेना की गोलाबारी के कारण वहां 16 लोगों की जान चली गई। इनमें 4 छोटे बच्चे थे जिनकी उम्र 10 साल से कम थी। एक मस्जिद के इमाम को गोलीबारी में मार दिया गया, एक गुरुद्वारा क्षतिग्रस्त हो गया, घरों को नुकसान पहुंचा। राजौरी में एक अतिरिक्त जिला विकास आयुक्त की जान चली गई। उन्होंने कहा, 'यही पाकिस्तान करता आया है और यही वह करेगा। इस बार मैं पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद के खिलाफ जो एकता और सर्वसम्मति देख रहा हूं वह जबरदस्त है। देश एकजुट है। हमें एकजुट होकर यह सुनिश्चित करना है कि हमें भारत में पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद को समाप्त करना होगा।'
IMF से पाकिस्तान को कर्ज मिलने पर क्या बोले
अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) पर असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, 'यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि IMF ने 1 बिलियन डॉलर का ऋण मंजूर किया है। मैं इसे वहां के आतंकवादी संगठन को दिया गया ऋण कहूंगा। यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि अमेरिका, कनाडा और जर्मनी चुप रहे हैं, जबकि उन्हें पता है कि यह पाकिस्तान है जो भारत में आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है और उसे वित्तपोषित कर रहा है। इस पैसे का इस्तेमाल कभी भी गरीबी उन्मूलन या पाकिस्तान में पोलियो की दर कम करने के लिए नहीं किया जाएगा। इसका इस्तेमाल भारत के खिलाफ आतंकवादी गतिविधियों के लिए किया जाएगा।'