Hindi Newsमहाराष्ट्र न्यूज़raj thackeray in crisis of party status and symbol after maharashtra results

राज ठाकरे चले थे किंगमेकर बनने, अब पार्टी बचाने के भी लाले; सिंबल और दर्जे पर लटकी तलवार

  • महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के नेता राज ठाकरे चुनाव नतीजों से पहले खुद को किंगमेकर के तौर पर देख रहे थे। उनका कहना था कि इलेक्शन के बाद भाजपा सरकार बनाएगी और देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री होंगे। इसके साथ ही हम सरकार में किंगमेकर की भूमिका में रहेंगे। इसे उनकी महत्वाकांक्षा के तौर पर देखा गया था।

Surya Prakash लाइव हिन्दुस्तान, मुंबईMon, 25 Nov 2024 04:56 AM
share Share

महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के नेता राज ठाकरे चुनाव नतीजों से पहले खुद को किंगमेकर के तौर पर देख रहे थे। उनका कहना था कि इलेक्शन के बाद भाजपा सरकार बनाएगी और देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री होंगे। इसके साथ ही हम भी राज्य की सरकार में किंगमेकर की भूमिका में रहेंगे। इसे उनकी महत्वाकांक्षा के तौर पर देखा गया था, लेकिन नतीजे आए तो राज ठाकरे को करारा झटका लगा। उनकी पार्टी को राज्य के चुनाव में एक भी सीट नहीं मिल सकी है। यह उनके लिए करारे झटके की तरह है और यहां तक कि क्षेत्रीय दल की मान्यता और पार्टी का सिंबल भी उनके हाथ से जा सकता है।

उनकी पार्टी का सिंबल रेल इंजन रहा है, जो बीते तीन चुनावों में फेल साबित हुआ है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना जब नई बनी थी, तब उसने 2009 में हुए अपने पहले विधानसभा इलेक्शन में 13 सीटें हासिल की थीं। इसके बाद 2014 और 2019 में एक ही विधायक मनसे से चुना गया, लेकिन इस बार तो पार्टी का खाता भी नहीं खुला। राज ठाकरे के बेटे अमित ठाकरे खुद माहिम विधानसभा सीट से बुरी तरह हार गए। वह तीसरे नंबर पर आए हैं। पहले ही चुनाव में अमित ठाकरे को हार का सामना करना पड़ा। इस हार से राज ठाकरे भी सकते में हैं और नतीजों के बाद उन्होंने कहा भी यह मेरे लिए करारे झटके की तरह है।

यही नहीं अब पार्टी के सामने वजूद का ही संकट खड़ा हो गया है। मनसे को राज्य के इलेक्शन में महज 1.55 फीसदी वोट ही मिल सका। नियम के जानकारों का कहना है कि अब मनसे का इलेक्शन सिंबल छिन जाएगा और उसे निर्दलियों को आवंटित होने वाले चिह्नों में से ही कोई चुनना होगा। नियम के अनुसार यदि किसी को दल को शून्य या एक सीट ही मिलती है और वोट 8 फीसदी रहता है तो उसे क्षेत्रीय दल का मिलता है। इसके साथ ही 2 सीट और 6 फीसदी वोट का नियम है। इसके अलावा तीन सीट पाने पर तीन फीसदी वोट को भी क्षेत्रीय दल की मान्यता के लिए आधार माना गया है। मनसे बीते तीन चुनावों में इनमें से किसी भी पैमाने पर खरी नहीं उतरी है।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।

अगला लेखऐप पर पढ़ें