झारखंड: प्रमोशन में जारी रखें एससी-एसटी का आरक्षण, हाईलेवल कमेटी ने की सिफारिश, CM सोरेन को सौंपी रिपेार्ट
झारखंड सरकार की उच्च स्तरीय समिति ने सरकारी सेवाओं में एससी, एसटी को प्रमोशन में आरक्षण जारी रखने की अनुशंसा की है। समिति ने अपनी रिपोर्ट में माना है कि झारखंड सरकार में हर स्तर पर प्रोन्नति वाले...
झारखंड सरकार की उच्च स्तरीय समिति ने सरकारी सेवाओं में एससी, एसटी को प्रमोशन में आरक्षण जारी रखने की अनुशंसा की है। समिति ने अपनी रिपोर्ट में माना है कि झारखंड सरकार में हर स्तर पर प्रोन्नति वाले पदों पर एससी और एसटी का प्रतिनिधित्व पर्याप्त नहीं है। यह अनुशंसा मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और मुख्य सचिव सुखदेव सिंह को बुधवार को सौंपी गई रिपोर्ट में की गई है।
समिति का गठन सरकार की सेवाओं और पदों के अधीन प्रोन्नति, प्रशासनिक दक्षता और क्रीमी लेयर में एससी और एसटी के प्रतिनिधित्व की अपर्याप्तता पर अध्ययन रिपोर्ट तैयार करने के लिए किया गया था।
रिपोर्ट के मुताबिक राज्य भर में स्वीकृत प्रोन्नति वाले पदों के विरुद्ध प्रोन्नति प्राप्त कार्यरत कर्मचारियों की संख्या से एससी और एसटी कर्मचारियों का प्रतिशत क्रमश: 4.45 और 10.04 है। यह इनके जनसांख्यिकीय अनुपात से बहुत कम है। इसलिए प्रोन्नति में आरक्षण की वर्तमान नीति जारी रखना जरूरी है। रिपोर्ट कार्मिक की प्रधान सचिव वंदना दादेल, भू राजस्व विभाग के प्रधान सचिव एल खियांग्ते, कल्याण सचिव केके सोन की ओर से सौंपी गई। समिति की अनुशांसा के मुताबिक प्रमोशन में वर्तमान प्रावधान में किसी भी प्रकार की ढील देना या किसी भी खंड को हटाना उचित नहीं होगा। इतना ही नहीं कमेटी ने कहा है कि जेपीएससी तथा जेएसएससी और कार्मिक प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग को भी वर्षवार यह डाटा बेस बनाने की जरूरत है कि कितने एससी, एसटी, ओबीसी ने अनारक्षित श्रेणी के अंतर्गत योग्यता प्राप्त की है। आरक्षण नीति का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करने के लिए एक अलग कोषांग बनाया जाना भी जरूरी है।