चिटफंड घोटाला केस: ईडी ने कब्जे में ली झारखंड की इस कंपनी की संपत्ति
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को कहा कि उसने झारखंड की आभूषण कंपनी की 1.01 करोड़ रुपये की संपत्ति धनशोधन मामले की जांच के सिलसिले में अपने कब्जे में ले ली है। एजेंसी के मुताबिक, ईडी ने दिसंबर...
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को कहा कि उसने झारखंड की आभूषण कंपनी की 1.01 करोड़ रुपये की संपत्ति धनशोधन मामले की जांच के सिलसिले में अपने कब्जे में ले ली है। एजेंसी के मुताबिक, ईडी ने दिसंबर 2019 में इन संपत्तियों को कुर्क किया था और हाल में संबंधित न्यायिक अधिकारी ने इस संबंध में धनशोधन (निषेध) अधिनियम (पीएमएलए) के तहत वैकल्पिक आदेश जारी किया। ईडी ने बयान में बताया कि डीजेएन ज्वेलर्स प्राइवेट लिमिटेड की 11 अचल संपत्तियों (जिसकी कुल कीमत करीब 1.01 करोड़ रुपये है) का कब्जा उसने चिटफंट घोटाले के सिलसिले में लिया है।
ये संपत्ति कंपनी के सीएमडी जीतेंद्र मोहन सिन्हा, विपिन कुमार सिन्हा, राम किशुन ठाकुर और विशाल कुमार सिन्हा के स्वामित्व में थी। ईडी ने बताया कि ये संपत्ति फ्लैट, दुकाने और प्लॉट के रूप में है जो राज्य की राजधानी रांची और दो अन्य जिलों लातेहार और गढ़वा में स्थित है।
केंद्रीय एजेंसी ने आरोप लगाया, 'डीजेएन कॉमोडिटीज एमसीएक्स, मुंबई में विशाल कुमार सिन्हा की स्वामित्व वाली कंपनी के तौर पर पंजीकृत है। सिन्हा ने अन्य मालिकों/निदेशकों के साथ मिलकर ग्राहकों के साथ धोखाधड़ी करने की साजिश रची और ऑफलाइन कारोबार के लिए डीजेएन कॉमोडिटीज के नाम से सॉफ्टवेयर विकसित किया।' एजेंसी ने कहा, 'डीजेएन कॉमोडिटीज लोगों से ऑनलाइन कारोबार के नाम पर ऑफलाइन तरीके से पैसे जमा कराती थी और हर महीने अधिक ब्याज देने का वादा करती थी।'