गाजा में नरसंहार के बीच रूस क्यों पहुंचा हमास का डिप्टी, व्लादिमीर पुतिन से कर दी डील
- गाजा में इजरायली सेना के भीषण नरसंहार के बीच हमास के डिप्टी ने रूस का दौरा किया और पुतिन सरकार से डील कर दी। रूसी मंत्रियों से मुलाकात कर आश्वासन दिया है कि रूसी नागरिकों को रिहाई में प्राथमिकता दी जाएगी।
गाजा में पिछले एक साल से इजरायली सेना का हमला जारी है। यूएन और दुनियाभर के देश इजरायली हमले की नरसंहार से तुलना कर रहे हैं। गाजा शहर की हालत श्मशान घाट जैसी हो गई है। हर ओर बर्बादी और तबाही के निशान हैं। हमास आतंकियों को जड़ से खत्म करने की सनक के चलते इजरायल लगातार हमला कर रहा है। इसमें आतंकी ही नहीं आम लोग भी निशाना बन रहे हैं। मरने वालों की तादाद 44 हजार पार कर गई है। इस बीच हमास राजनीतिक ब्यूरो के डिप्टी मूसा अबू मरज़ूक रूस पहुंचे। वहां उन्होंने रूस के सीनियर लीडर्स और व्लादिमीर पुतिन के मंत्रियों से मुलाकात की। क्रेमलिन समर्थित मीडिया का दावा है कि हमास ने पुतिन से डील भी कर दी है। इस डील के बारे में आगे जानते हैं...
हमास के राजनीतिक ब्यूरो के उप प्रमुख मूसा अबू मरज़ूक ने गुरुवार को क्रेमलिन समर्थित मीडिया आउटलेट आरआईए नोवोस्ती को दिए इंटरव्यू में कहा कि समूह ने रूस से वादा किया है कि वह गाजा में कैद दो रूसी नागरिकों की रिहाई को तवज्जो देगा। हालांकि, इसके लिए उसने इजरायल को मनाने की शर्त रखी है। उन्होंने कहा कि यह सबकुछ इजरायल से संघर्ष विराम को लेकर चल रही वार्ता के बाद ही मुमकिन हो सकता है। इजरायली मीडिया जेरुशलम पोस्ट के अनुसार, मरज़ूक ने इशारों ही इशारों में रूस से आश्वासन मांगा है कि अगर इजरायल को गाजा पर हमले करने से रोक दिया जाता है या युद्ध समाप्त कर दिया जाता है तो बंधकों की रिहाई में सबसे पहले रूसी नागरिकों को प्राथमिकता दी जाएगी।
कौन हैं वो दो रूसी नागरिक
हमास जिन दो रूसी नागरिकों की रिहाई की बात कर रहा है, उनके नाम अलेक्जेंडर ट्रोफानोव और मैक्सिन हर्किन हैं। इन्हें पिछले साल इजरायल पर हमास द्वारा हुए हमले के दौरान बंधक बना लिया गया था। ट्रोफ़ानोव वर्तमान में इस्लामिक जिहाद की हिरासत में है और उसे लड़ाई के दौरान पकड़ा गया था। उन्होंने कहा, "उसे इजरायल में बंद फ़िलिस्तीनी कैदियों के बदले में सौंपा जा सकता है।"
मैक्सिन के बारे में मरज़ूक ने कहा कि जब उसे पकड़ा गया तो वह यूक्रेनी नागरिक था, लेकिन हाल के कुछ महीनों में उसका परिवार रूस आकर बस गया और वहां की नागरिकता ले ली। इसलिए वो और उसका परिवार अब रूसी नागरिक हैं। मैक्सिन के बारे में ऐसा दावा किया जा रहा है कि जब उसे पकड़ा गया तो वह इजरायली सेना के लिए काम कर रहा था।
रूस संग हमास लीडर की क्या बात हुई
मरज़ूक ने इस बात पर जोर दिया कि अपने रूसी समकक्षों के सम्मान के लिए हमास ट्रोफानोव और हर्किन की रिहाई को प्राथमिकता देने के लिए तैयार है। बुधवार रात मरज़ूक ने रूसी उप विदेश मंत्री मिखाइल बोगदानोव से मुलाक़ात की। रूसी विदेश मंत्रालय ने कहा कि दोनों पक्षों की मुलाक़ात गाजा में बंधक बनाए गए लोगों की रिहाई के मुद्दे पर केंद्रित थी।
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