रूस के खिलाफ यूक्रेन की मदद के लिए सामने आया कनाडा, भेज रहा हथियार; US से रूस बोला- रेड लाइन पार न हो
- रूस के खिलाफ चल रहे यूक्रेन के संघर्ष में कनाडा ने मदद का हाथ बढ़ाया है। कनाडा के विदेश मंत्री के मुताबिक कनाडा, यूक्रेन को हवा से सतह में मार करने वाले रॉकेट और कई वॉरहेड्स की आपूर्ति करेगा।
रूस के साथ चल रहे अपने संघर्ष में यूक्रेन को लगातार नाटो देशों की सहायता मिल रही है। नाटो के सदस्य देश कनाडा ने यूक्रेन की सहायता के लिए 80 हजार से अधिक हवा से सतह पर मार करने वाले रॉकेटों की आपूर्ति करने की बात कही है। कनाडा कि रक्षा मंत्री बिल ब्लेयर ने शुक्रवार को कहा कि कनाडा आने वाले कुछ समय में 80,840 छोटे रॉकेट और साथ ही 1300 हथियार भेजने की योजना बना रहा है। यह रॉकेट हवा से सतह पर सटीक मार करने में सक्षम हैं।कनाडा ने कुछ महीने पहले जून में ही यूक्रेन को 2,160 इन्हीं छोटे CRV7 रॉकेटों की पहली खेप देने की घोषणा की थी। यह रॉकेट मुख्य रूप से इमारतों, टैंकों या सैनिकों पर हमला करने के लिए अलग-अलग प्रकार से वॉरहेड लगाकर डिजाइन किए गए हैं।
ब्लेयर ने कहा कि कनाडा इसके अलावा यूक्रेन को बख्तरबंद गाड़ियों की चेचिस भी दान करेगा, इन गाड़ियों का उपयोग अब कनाडा का सुरक्षा बल नहीं करता है। कनाडा नाटो को सदस्य देश है और वह अन्य सदस्य देशों की तरह ही यूक्रेन की हर संभव मदद करने की कोशिश कर रहा है। फरवरी 2022 में रूस ने यूक्रेन पर आक्रमण किया तभी कनाडा ने इस युद्ध में यूक्रेन को करीब 3.3 बिलियन डॉलर की मदद करने का वादा किया था।
जर्मनी में पश्चिमी देशों की मीटिंग, यूक्रेन को हथियार सप्लाई में होगी तेजी
इधर, जर्मनी में चल रही मीटिंग में अन्य पश्चिमी देश भी यूक्रेन की इस युद्ध में मदद करने के लिए आगे आए हैं। पेटागन की तरफ से की गई इस मीटिंग में सभी देश अपने-अपने हिसाब से यूक्रेन की मदद करने की कोशिश कर रहे हैं। यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की ने अमेरिका समेत अन्य देशों से अपील की है कि वह उन्हें और अधिक हथियार दें और लंबी दूरी वाली मिसाइलों की आपूर्ति करें, जिससे जल्दी से जल्दी रूस के साथ शांति समझौता हो सके।
रूस की अमेरिका को सलाह, रेड लाइन पार न करें
इस मीटिंग पर रूस के विदेश मंत्री लावरोव की तरफ से पहले ही कह दिया गया था कि यूक्रेन को हथियार सप्लाई करके अमेरिका और पश्चिमी देश पहले ही अपनी सीमा पार कर चुके हैं। वह उसे हथियारों की और खेप भेज कर अपनी रेड लाइन पार कर रहे हैं। लावरोव ने कहा कि अमेरिका रूस के प्रति अपनी संयम वाली भावना खोने लगा है। उन्हें समझ लेना चाहिए कि हमारी बर्दाश्त की क्षमता कहां तक है। अगर इसी तरह से वह हथियारों की सप्लाई करते रहे तो यह किसी के लिए अच्छा नहीं होगा।
इससे पहले, रूसी राष्ट्रपति पुतिन यूक्रेन संघर्ष को खत्म करने के लिए बातचीत के संकेत दे चुके हैं उनकी तरफ से कहा गया है कि इस मुद्दे पर चीन, ब्राजील और भारत शांति प्रस्ताव की बात को आगे बढ़ा सकते हैं। समचार एजेंसी तास से बात करते हुए पुतिन ने कहा था कि हम अपने मित्रों का सम्मान करने हैं। उन्होंने कहा कि हमारे साझेदार देश ईमानदारी से इस मुद्दे को सुलझाना चाहते हैं हम उनका स्वागत करते हैं और मैं उनसे इस मुद्दे को लेकर हमेशा उनके संपर्क में रहता हूं।
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