ट्रंप के टैरिफ ऐलान के बाद भी इस दिग्गज निवेशक को छप्परफाड़ मुनाफा, एलन मस्क से लेकर बेजोस तक को तगड़ा नुकसान
- ट्रंप टैरिफ के चलते दुनियाभर के शेयर बाजार में भारी उथल-पुथल के बीच जहां एक तरफ अधिकतर अरबपतियों को नुकसान हो रहा है। वहीं, वॉरेन बफेट को तगड़ा फायदा हो रहा है। दिग्गज निवेशक ने इस साल अपनी संपत्ति में 12.7 बिलियन डॉलर जोड़े हैं।

Warren Buffett Networth: ट्रंप टैरिफ के चलते दुनियाभर के शेयर बाजार में भारी उथल-पुथल के बीच जहां एक तरफ अधिकतर अरबपतियों को नुकसान हो रहा है। वहीं, वॉरेन बफेट को तगड़ा फायदा हो रहा है। दिग्गज निवेशक ने इस साल अपनी संपत्ति में 12.7 बिलियन डॉलर जोड़े हैं, जिससे उनकी कुल संपत्ति 155 बिलियन डॉलर हो गई है। बता दें कि इस साल की शुरुआत में जब से ट्रंप व्हाइट हाउस लौटे हैं, वॉल स्ट्रीट का बाजार वैल्यू करीब 8 ट्रिलियन डॉलर घट गया है। वहीं, पिछले दो दिनों में अमेरिकी शेयर बाजारों में निवेशकों को 5 ट्रिलियन डॉलर का नुकसान हो गया। बता दें कि डोनाल्ड ट्रंप ने 184 देशों पर टैरिफ लगाने की घोषणा की है। इससे ग्लोबल मार्केट में भूचाल आ गया है।
155 बिलियन डॉलर की कमाई
ट्रंप टैरिक के बावजूद बर्कशायर हैथवे के चेयरमैन और सीईओ कंपनी में अपने निवेश के साथ लाभ में बने हुए हैं। दिग्गज निवेशक वॉरेन बफेट ने इस साल अपनी नेटवर्थ में 12.7 बिलियन डॉलर जोड़कर 155 बिलियन डॉलर की कमाई की है। सबसे दिलचस्प बात है कि यह फायदा उन्हें तब हो रहा है, जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ट्रेड वार के कारण शेयर बाजार अस्थिर हैं। इसके अलावा, उनके टैरिफ लगाने से दुनिया भर में मंदी की आशंकाएं पैदा हो गई हैं। इससे एलन मस्क समेत दुनियाभर के अरबपतियों को तगड़ा नुकसान हुआ है। मस्क को इस साल अब तक 130 बिलियन डॉलर का नुकसान हुआ, इससे उनकी कुल संपत्ति घटकर 302 बिलियन डॉलर रह गई है। दूसरी ओर, जेफ बेजोस ने 45.2 बिलियन डॉलर खो दिए हैं, जिससे उनकी कुल संपत्ति घटकर 193 बिलियन डॉलर रह गई है। ट्रंप की घोषणा के एक दिन बाद गुरुवार को ही ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के 500 सबसे अमीर लोगों की संयुक्त संपत्ति 208 बिलियन डॉलर घट गई, जो इसके 13 साल के इतिहास में चौथा सबसे खराब दिन था।
वॉरेन बफेट को क्यों हो रहा फायदा?
दिग्गज निवेशक ने लंबे समय से बाजार वैल्यूएशन के बहुत अधिक होने की शिकायत की है और प्रमुख अधिग्रहणों पर अपने नकदी का उपयोग करने से परहेज किया है। वॉरेन बफेट ने बाजार में मंदी की भविष्यवाणी की थी। 2024 में उनकी कंपनी ने 134 बिलियन डॉलर की इक्विटी बेची थी और साल के अंत में कंपनी के पास रिकॉर्ड 334 बिलियन डॉलर की नकदी थी। उस समय, बुल मार्केट उग्र थे। फॉर्च्यून की एक रिपोर्ट के अनुसार, बर्कशायर हैथवे ने अपनी अधिकांश नकदी अल्पकालिक ट्रेजरी बिलों में निवेश की है, जिसने न केवल मौजूदा बाजारों में गिरावट से सुरक्षा प्रदान की है, बल्कि कंपनी के निवेशकों को लाभ भी प्रदान किया है। फरवरी में अपने सबसे हालिया लेटर में बफेट ने अपने निर्णय के पीछे के तर्क को स्पष्ट किया। उन्होंने लेटर में निवेशकों को बताया, "ट्रेजरी बिल की पैदावार में सुधार के कारण निवेश आय में अनुमानित बड़ी वृद्धि से हमें मदद मिली और हमने इन अत्यधिक तरल अल्पकालिक प्रतिभूतियों की अपनी होल्डिंग्स में काफी वृद्धि की।"
वॉरेन बफेट ने ऐपल के शेयर बेचे
बर्कशायर हैथवे और वॉरेन बफेट ने जो मुनाफा कमाया, वह भी उन शेयरों से आया है जिन्हें उन्होंने बाजार में गिरावट से पहले बेचा था। बर्कशायर ने पिछले साल ऐपल में अपनी हिस्सेदारी दो तिहाई घटा दी थी। हालांकि, ऐपल अभी भी इसकी सबसे बड़ी स्टॉक होल्डिंग बनी हुई है, लेकिन कंपनी के अधिकांश शेयर बेचे गए। ये स्टॉक बिक्री पिछले साल की पहली तीन तिमाहियों में हुई थी, जब ऐपल अभी भी बढ़त पर था। जबकि ऐपल के शेयर दिसंबर में हाई पर थे, तब से आईफोन निर्माता के शेयर की कीमत में 28 प्रतिशत की गिरावट आई है। कंपनी को और अधिक नुकसान होने का अनुमान है क्योंकि अमेरिकी टैरिफ ने चीन को कड़ी टक्कर दी है, जिसका खामियाजा एप्पल जैसी टेक कंपनियों को भुगतना पड़ सकता है, जिनकी मैन्युफैक्चरिंग यूनिट वहां हैं।
अमेरिकी टैरिफ और बाजार में गिरावट
बता दें कि जब से डोनाल्ड ट्रम्प ने बुधवार को टैरिफ बढ़ाने की घोषणा की है, तब से बाजार में काफी गिरावट आई है। एसएंडपी 500 में 10 प्रतिशत की गिरावट आई है। नैस्डैक और स्मॉल-कैप रसेल 2000 मंदी के दौर में हैं। गुरुवार और शुक्रवार को, निवेशकों ने कुल मिलाकर $5 ट्रिलियन की संपत्ति खो दी है क्योंकि मंदी की आशंकाओं के कारण मंदी का दौर आ गया है। बता दें कि ट्रंप ने अमेरिका के साथ व्यापार करने वाले सभी देशों पर 10 प्रतिशत का बेसलाइन टैरिफ लगाने की घोषणा की है, साथ ही उन देशों के लिए अधिक दंड की घोषणा की है जो उनके अनुसार अमेरिका पर अधिक शुल्क लगाते हैं। चीन पर 34 प्रतिशत टैरिफ लगाया गया है, जबकि भारत पर 26 प्रतिशत शुल्क लगाया गया है।
बजट जानें Hindi News, Business News की लेटेस्ट खबरें, शेयर बाजार का लेखा-जोखा Share Market के लेटेस्ट अपडेट्स Investment Tips के बारे में सबकुछ।