केके पाठक ने दिया टेंशन? होली के बाद ईद पर शिक्षकों की ट्रेनिंग, इमारत ए शरिया ने CM को पत्र लिखा
में शिक्षा विभाग ने 8 से 13 अप्रैल के बीच फिर से राज्य के 19000 शिक्षकों को आवासीय ट्रेनिंग पर जाने का फरमान जारी कर दिया है। बड़ी संख्या में मुस्लिम शिक्षक भी है जो रोजा रखते हैं। बीच में ईद भी है।
केके पाठक के शिक्षा विभाग का एक नया फरमान आया है। इस फरमान से मुस्लिम शिक्षकों का टेंशन बढ़ गया है। शिक्षा विभाग में ईद के दिन भी आवासीय ट्रेनिंग का कार्यक्रम रख दिया है। परेशान शिक्षकों की गुहार पर इमारत-ए-शरिया फुलवारी शरीफ की ओर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ शिक्षा मंत्री और मुख्य सचिव को पत्र लिखा गया है। सरकार से ट्रेनिंग को आगे बढ़ाने का आग्रह किया गया है।
दरअसल बिहार में शिक्षा विभाग ने 8 से 13 अप्रैल के बीच फिर से राज्य के 19000 शिक्षकों को आवासीय ट्रेनिंग पर जाने का फरमान जारी कर दिया है। इसमें बड़ी संख्या में मुस्लिम शिक्षक भी है जो रोजा रखते हैं। इसी बीच मुसलमानों का सबसे बड़ा त्यौहार ईद भी पड़ता है। दरअसल 10 या 11 अप्रैल को ईद मनाया जाएगा। सरकार की ओर से 11 अप्रैल को इसकी छुट्टी दी गई है। लेकिन उसे दरकिनार करते हुए ट्रेनिंग करने का आदेश दिया गया है। यह कार्यक्रम राज्य के 6 लाख शिक्षकों को एससीईआरटी ट्रेनिंग के तहत रखा गया है।
ईद के दिन ट्रेनिंग के फैसले से परेशान शिक्षकों ने इमारत-ए- शरिया फुलवारी शरीफ पटना से गुहार लगाई उसके बाद वहां के प्राभारी नाजिम मौलाना शिबली अल कासमी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ शिक्षा मंत्री और मुख्य सचिव को पत्र लिखा है। पत्र में कहा गया है कि ईद के मौके पर देशभर में छुट्टियां रहती हैं। यह त्योहार मुसलमान का सबसे बड़ा पर्व है। इस दिन मुस्लिम शिक्षक ट्रेनिंग कैसे ले सकते हैं। ईद में दूर दराज से लोग अपने घर पहुंचते हैं। घर से बाहर जाकर ट्रेनिंग लेने का फरमान गैरवाजिव है। इमारत-ए-शरिया ने सरकार से आग्रह किया है कि ट्रेनिंग की तारीख को आगे बढ़ाया जाए ताकि मुस्लिम शिक्षक परिवार के साथ ईद के मौके पर खुशियां मना सकें।
इससे पहले होली में 19 हजार शिक्षकों की ट्रेनिंग रखी गयी थी। यहां तक कि होली के दिन 25 अप्रैल को स्कूलों को भी खोल दिया गया। शिक्षक तो पहुंचे पर छात्र नहीं आए। बड़ी संख्या में शिक्षक होली के हुड़दंगियों का शिकार बने। इसके लिए शिक्षक संगठन और बीजेपी नेता गिरिराज सिंह के साथ जदयू के नीरज कुमार ने काफी विरोध किया। लेकिन शिक्षा विभाग ने किसी की नहीं सुनी।