संविधान के लिए खतरा है कांग्रेस; संसद में जमकर विपक्ष पर बरसे केंद्रीय मंत्री ललन सिंह
संसद में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान केंद्रीय मंत्री और जेडीयू सांसद ललन सिंह कांग्रेस समेत पूरे विपक्ष पर बरसे। उन्होने कहा कि संविधान के लिए सबसे बड़ा खतरा कांग्रेस पार्टी है।
लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान पंचायती राज मंत्री और जेडीयू के मुंगेर के सांसद ललन सिंह ने कांग्रेस पर जमकर हमला बोला। साथ ही बिना नाम लिए राहुल गांधी पर भी निशाना साधा। उन्होने कहा कि विरोधी दल के नेता का आज जो भाषण था, और जो वो चुनावी रैलियों में भाषण देते थे। दोनों को मिलाकर देखिएगा, तो लगेगा कि ये भाषण राष्ट्रपति के अभिभाषण पर नहीं बल्कि पब्लिक मीटिंग में दिया गया भाषण जैसा था।
ललन सिंह ने कहा इस तरह के दुष्प्रचार, संवैधानिक संस्थाओं पर हमला है। आज भी संवैधानिक संस्थाओं पर हमला कर रहे। उस समय भी संवैधानिक संस्थाओं पर हमला किया था। तब जनता ने उन्हें रिजेक्ट कर दिया था। जनता ने मोदी जी के सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास के कॉन्सेप्ट को स्वीकार किया। और पूर्ण बहुमत की सरकार बनाने का जनादेश दिया। देश की जनता ने मोदी जी को तीसरे कार्यकाल के लिए जो समर्थन दिया है। उसका स्पष्ट संदेश है कि भ्रष्टाचार पर हमला जारी रखिए। गरीबों के लिए जो काम किए हैं। उस पर जनता ने मुहर लगाई है। विकसित राष्ट्र बनाने का जो संकल्प है। उसको आगे बढ़ाने लिए जनता ने तीसरी बार मोदी जी को अपना समर्थन दिया है।
ललन सिंह ने कहा कि देश की आज अर्थव्यवस्था पांचवें स्थान पर है। मोदी जी का संकल्प है इसे तीसरे पायदान पर पहुंचाने का है। रिन्यू लेबल एनर्जी के जरिए ही ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर हुआ जा सकता है। जेडीयू सांसद ललन सिंह ने कहा कि जब 1971 का चुनाव हो रहा था। कांग्रेस पार्टी का नारा था 'गरीबी हटाओ, देश बचाओ', जिस पर जनता ने भरोसा किया, पूर्ण बहुमत दिया। लेकिन तीन साल ही देश में आपातकाल घोषित कर दिया गया।
उन्होंने कहा कि हम सभी को उठाकर जेल में डाल दिया गया था। आज कांग्रेस पार्टी के लोक संविधान की कॉपी लेकर सदन आ रहे हैं। जिस पार्टी ने देश के संविधान को चकनाचूर किया हो, उसको संविधान लेकर सदन में आने का कोई हक नहीं है। इतिहास में जब लिखा जाएगा तो आपताकाल को कलंकित करने वाला लिखा जाएगा।
ललन सिंह ने कहा कि इसी कांग्रेस ने देश में आपातकाल लगाया था, और ममता बनर्जी ने भी उसका समर्थन किया था। जॉर्ज फर्नांडीज जैसे नेता को ये लोग प्रताड़ित करने का काम किए थे। इसलिए विपक्ष संविधान बचाने की बात न करें तो अच्छा होगा। नेता विरोधी दल का परिवार संविधान विरोधी है। पूरे चुनाव प्रचार के दौरान इन्होंने चुनाव प्रक्रिया पर सवाल खड़ा किया। जैसे लगता है जैसे देश में चुनाव निष्पक्ष हो ही नहीं रहा है।
पंचायती राज मंत्री ने कहा कि चुनाव प्रचार में ये लोग ईवीएम पर सवाल उठाते रहे। नरेंद्र मोदी की सरकार बैलेट पेपर को कभी स्वीकार नहीं करेगी। मोदी जी तो जिस दिन एनडीए की बैठक थी तो सबसे पहले उन्होंने देश के संविधान को नमन किया। संविधान को अगर किसी से खतरा है तो वो कांग्रेस पार्टी से है।