बिहार के सभी जिला अस्पतालों में इमरजेंसी इलाज की सुविधा बढ़ेगी, ढाई गुना होगी बेड की संख्या
बिहार के सभी जिला अस्पतालों के इमरजेंसी वार्ड में बेड की संख्या बढ़ाई जाएगी। इससे हादसों में गंभीर रूप से घायल मरीजों को इलाज की बेहतर सुविधा मिल सकेगी।
बिहार के जिला अस्पतालों के आपातकालीन (इमरजेंसी) वार्ड में बेडों की संख्या ढाई गुना तक बढ़ जाएगी। राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने यह निर्णय आकस्मिक मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए लिया है। अभी राज्य के 36 जिला अस्पतालों में इमरजेंसी बेड की संख्या लगभग 400 है। इसे बढ़ाकर एक हजार से अधिक किया जाना है। बढ़ोतरी के बाद हर जिला अस्पताल की इमरजेंसी में कम से कम 20 बेड हो जाएंगे। इनमें गंभीर मरीजों के लिए इलाज की विशेष सुविधा सहित न्यूनतम पांच बेड होंगे। साथ ही प्रत्येक जिला अस्पताल में कम से कम एक ऑपरेशन थियेटर होगा। इसमें तत्काल आवश्यकतानुसार ऑपरेशन कर मरीजों की जान बचाई जा सकेगी।
पहले औसतन 15 से 20 इमरजेंसी के मरीज अस्पताल आते थे। अब रोजाना 30 से 40 इमरजेंसी वाले मरीज जिला अस्पताल पहुंच रहे हैं। किसी-किसी जिला अस्पताल में तो रोजाना 50 केस आ रहे हैं। किस जिला अस्पताल में कितने बेड बढ़ाने हैं, इसकी रिपोर्ट ली जा रही है। माना जा रहा है कि अगले चार से 6 माह में सभी जिला अस्पतालों में आपातकालीन बेड बढ़ जाएंगे।
इन बेड के बढ़ने से जिले में ही मरीजों को बेहतर इलाज की सुविधा मिलेगी। खासकर सड़क हादसों समेत अन्य दुर्घटना के कारण गंभीर रूप से घायल हुए मरीजों की जान बचाई जा सकेगी। जिला अस्पतालों में सड़क दुर्घटना के मरीजों को बचाने के लिए इंटीग्रेटेड इमरजेंसी (समेकित आकस्मिक) और ट्रॉमा सेंटर विकसित किया जाना है।
पटना जिला अस्पताल में 20 बेड होंगे
बांका जिला अस्पताल में अभी 20 इमरजेंसी बेड है। इसे बढ़कर 44 करने की तैयारी है। भोजपुर में इमरजेंसी बेड की संख्या 22 तक बढ़ेगी। पटना के जिला अस्पताल में अभी 15 इमरजेंसी बेड हैं, जिसे बढ़ा कर 20 किया जाएगा। सभी जिला अस्पतालों में न्यूनतम पांच रेड बेड होंगे, जबकि 15 येलो बेड होंगे।
अस्पताल में तीन तरह के बेड
अस्पताल में तीन तरह के बेड होते हैं। गंभीर मरीजों को रेड (लाल) बेड पर रखा जाता है। कम गंभीर मरीज को येलो (पीला) बेड पर रखा जाता है। सामान्य मरीज को रखे जाने वाले बेड को ग्रीन (हरा) बेड कहा जाता है।
डॉक्टर और स्वास्थ्यकर्मी भी बढ़ाने की तैयारी
इमरजेंसी बेड बढ़ाने के साथ ही अस्पतालों में डॉक्टरों और आवश्यक स्वास्थ्यकर्मियों की भी संख्या बढ़ाने की तैयारी की जा रही है। जिला अस्पतालों में भी विशेषज्ञ चिकित्सकों की नियुक्ति की तैयारी चल रही है। राज्य में लगभग चार हजार चिकित्सकों की नियुक्ति की तैयारी चल रही है। इनमें 3523 विशेषज्ञ चिकित्सा पदाधिकारी, 396 सामान्य चिकित्सा पदाधिकारी, सामान्य चिकित्सा पदाधिकारी संविदा के आधार पर 1290, 64 दंत चिकित्सक शामिल हैं। वहीं, 6298 नर्स और 15089 एएनएम की नियुक्ति की जानी है।